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छत्तीसगढ़ : चुनावी साल में जमीनी स्तर तक पहुंचने में जुटे रमन

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रायपुर, 31 मार्च (आईएएनएस)| छत्तीसगढ़ के एक शिक्षक सत्यानंद प्रधान का 2017 के एक हादसे में पैर टूट गया था, जिसके कारण उन्हें चलने में काफी दिक्कतों का सामना करना पड़ा। उन्होंने कुछ महीने पहले जमीन का एक टुकड़ा खरीदा, जो उनके नाम पर पंजीकृत हुआ, लेकिन उसके मालिकाना हक के लिए उन्हें लंगड़ा-लंगड़ा कर स्थानीय राजस्व कार्यालय के कई चक्कर लगाने पड़े।

उन्होंने निरंतर अंतराल पर कार्यालय के चक्कर लगाए, लेकिन अधिकारी बहाने बना-बना कर उसमें देरी करते रहे।

पांच महीने से जारी उनका संघर्ष समाप्त होने का नाम नहीं ले रहा था, लेकिन मुख्यमंत्री रमन सिंह ने प्रधान के गांव खैरखुता का अघोषित दौरा किया।

यह दौरा मुख्यमंत्री के लोक सुराज अभियान का हिस्सा था। इस अभियान को उनके अधिकारी एक जमीनी स्तर से जुड़ा अभियान करार दे रहे हैं। जहां अंतिम पंक्ति में खड़े व्यक्ति से जुड़ी समस्याएं सुनी जाती हैं और विकासशील कदम उठाए जाते हैं।

समाधान शिविर इस पहल का हिस्सा है।

दुखी और अंसतुष्ट प्रधान ने महासमुंद जिले के खैरखुता में अपनी दुखभरी कहानी मुख्यमंत्री को सुनाई।

रमन ने तुरंत ही प्रधान की समस्या के समाधान का आदेश दिया।

शिक्षक की तरह ही हजारों लोग ऐसे हैं, जिन्हें मुख्यमंत्री के इस कार्यक्रम का फायदा पहुंचा है। यह राज्य नक्सलियों के कारण भारी सुरक्षा चुनौतियों का सामना कर रहा है।

रमन सिंह ने एक दौरे के दौरान आईएएनएस को बताया कि कार्यक्रम का मकसद शासन को बेहतर बनाना और राज्य व केंद्र सरकार द्वारा उठाए गए विभिन्न कल्याणकारी उपायों पर प्रत्यक्ष प्रतिक्रिया लेना है।

उन्होंने कहा, सामाजिक परीक्षण का इससे अच्छा तरीका नहीं हो सकता। यह नीति निर्माण, नियम सुधार की नींव रखने और प्रशासन प्रबंध में मदद करता है।

भाजपा के मुख्यमंत्रियों में सबसे लंबा कार्यकाल बिता चुके रमन ने कहा, यह विचार लोगों के साथ बातचीत और उनकी प्रतिक्रिया जानने के लिए गांवों और शहरों में शासन के हर स्तर को एक साथ लाने के लिए है, ताकि भविष्य में नीति तैयार करने के लिए लोगों की जरूरतों को उसमें पूर्ण रूप से जगह दी जा सकें ।

रमन के इस अभियान में उनके साथ मुख्य सचिव अजय सिंह और उनके निजी सचिव तथा उनके कार्यालय के एक-दो अधिकारी भी हैं।

लोग चौपाल जैसी एक बैठक में जमा होते हैं। जिले के सभी विभागों के अधिकारी बुलाए जाते हैं। ग्रामीण शासन से जुड़ीं अपनी समस्याएं एक-एक कर रखते हैं, और संबंधित विभाग समस्याएं सुनते हैं, तथा यथासंभव तत्काल उसका समाधान करते हैं।

जमीनी स्तर पर पहुंचने का यह अभियान राज्य विधानसभा चुनाव से पहले शुरू किया गया है। रमन सिंह इसके जरिए इस बार लगातार चौथी बार मुख्यमंत्री बनने की कोशिश में जुटे हुए हैं।

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नेशनल

दिल्ली की हवा में घुला जहर, कई इलाकों में AQI 900 तक पहुंचा

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नई दिल्ली। राजधानी दिल्ली में वायु प्रदूषण की स्थिति एक बार फिर खराब हो गई है। वायु गुणवत्ता बहुत खराब श्रेणी में पहुंच गई है। दो दिन से हल्की हवा चलने की वजह से दिल्ली में वायु की गुणवत्ता में थोड़ा सुधार देख जा रहा था, लेकिन राजधानी गैस चैंबर बन गई है। दिल्ली के कई इलाकों में एयर क्वालिटी इंडेक्स (AQI) 400 से भी ज्यादा दर्ज किया जा रहा है।

दिल्ली के अलग-अलग इलाकों में AQI

आनंद विहार- 372
अशोक विहार- 398
अलीपुर- 393
बवाना- 414
बुराड़ी- 370
मथुरा रोड- 333
द्वारिका- 356
IGI एयरपोर्ट- 349
जहांगीरपुरी- 397
आईटीओ- 327
लोधी रोड- 310
मुंडका- 418
मंदिर मार्ग- 358
ओखला- 356
पटपड़गंज- 383
पंजाबी बाग- 389
आर के पुरम- 373
रोहिणी- 393
विवेक विहार- 383
वजीरपुर- 421
नजफगढ़- 956

 

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