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बिजनेस

जीडीपी विकास दर 6.75-7.5 फीसदी तक रहेगी : आर्थिक सर्वेक्षण-2

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नई दिल्ली, 11 अगस्त (आईएएनएस)| चालू वित्त वर्ष में देश के सकल घरेलू उत्पाद (जीडीपी) की विकास दर 6.75 फीसदी से 7.5 फीसदी तक होने का अनुमान लगाया गया है। सरकार के आर्थिक सर्वेक्षण-दो में शुक्रवार को यह जानकारी दी गई। वित्त मंत्रालय द्वारा सदन पटल पर रखे गए आर्थिक सर्वेक्षण 2016-17 भाग दो में कहा गया है, अर्थव्यवस्था ने अभी तक अपनी गति हासिल नहीं की है और इसमें अभी काफी संभावनाएं हैं।

मुख्य आर्थिक सलाहकार (सीईए) अरविन्द सुब्रह्मण्यम द्वारा लिखित इस सर्वेक्षण में कहा गया है कि कृषि राजस्व और गैर-खाद्यान्न कीमतों, कृषि ऋण छूट, राजकोषीय समेकन और बिजली व दूरसंचार क्षेत्रों की लाभप्रदता में आई कमी जैसे कारकों के कारण अपस्फीति की प्रवृत्ति पैदा हुई है।

सर्वेक्षण में कहा गया है, इनमें संकटग्रस्त कृषि राजस्व, गैर-खाद्यान्न कीमतों में गिरावट, कृषि ऋण छूट, राजकोषीय समेकन और बिजली व दूरसंचार क्षेत्रों की लाभप्रदता में आई कमी जैसे कारकों के कारण दोहरी-बैलेंस शीट (टीबीएस) समस्या को और बढ़ा रही है।

नवंबर में की गई नोटबंदी के कारण भारतीय अर्थव्यवस्था में ठहराव आ गया और इस साल मार्च में खत्म हुई चौथी तिमाही के दौरान सकल घरेलू उत्पाद (जीडीपी) में तेज गिरावट दर्ज की गई और यह सात फीसदी से घटकर 6.1 फीसदी पर आ गया, जबकि समूचे वित्त वर्ष 2016-17 में भी तदनुसार गिरावट दर्ज की गई।

नोटबंदी के कारण प्रचलन में जारी नोट में भी बड़ी गिरावट दर्ज की गई। सर्वेक्षण में कहा गया है कि 31 मार्च को खत्म हुए पिछले वित्त वर्ष में प्रचलन में जारी नोट में 19.7 फीसदी की गिरावट दर्ज की गई, जबकि रिजर्व नकदी में 12.9 फीसदी की गिरावट रही।

सर्वेक्षण में यह भी कहा गया है कि बैंकों से ऋण उठाव में भी लगातार गिरावट दर्ज की गई।

सर्वेक्षण में विकास दर धीमा पड़ने तथा अर्थव्यवस्था के कुछ क्षेत्रों में ऋणग्रस्तता में तेजी को लेकर चिंता व्यक्त की गई है, जिससे बैंकों की संपत्तियों की गुणवत्ता पर असर पड़ रहा है।

सर्वेक्षण में कहा गया है कि बैंकों के फंसे हुए कर्जे (गैर निष्पादित परिसंपत्तियां या एनपीए) साल 2016 के सितंबर में 9.2 फीसदी के अनुपात में थे, जो साल 2017 के मार्च में बढ़कर 9.5 फीसदी के अनुपात तक आ गए हैं।

सर्वेक्षण में यह भी कहा गया है कि 2018 के मार्च तक खुदरा मुद्रास्फीति भारतीय रिजर्व बैंक (आरबीआई) की मध्यम अवधि के लक्ष्य चार फीसदी से नीचे रहने का अनुमान है। जून में खुदरा महंगाई पिछले पांच सालों के सबसे निचले स्तर 1.54 फीसदी पर दर्ज की गई थी।

इसलिए आरबीआई द्वारा प्रमुख ब्याज दरों में आगे भी कमी करने की उम्मीद जताई गई है।

आरबीआई ने इसी महीने प्रमुख ब्याज दरों में 25 आधार अंकों की कटौती की थी, जो पिछले साल अक्टूबर के बाद पहली बार की गई कटौती थी।

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प्रादेशिक

एस्सार ग्रुप के सह-संस्‍थापक शशि रुइया का 80 साल की उम्र में निधन

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मुंबई। एस्सार ग्रुप के सह-संस्‍थापक शशि रुइया का 80 साल की उम्र में निधन हो गया है। रुइया के पार्थिव शरीर को प्रार्थना और श्रद्धांजलि के लिए वालकेश्वर के बाणगंगा में रखा जाएगा। अंतिम संस्कार यात्रा रुइया हाउस से शाम 4 बजे हिंदू वर्ली श्मशान के लिए निकलेगी।

शशि रुइया ने अपने भाई रवि रुइया के साथ मिलकर एस्सार की स्थापना की थी। वह करीब एक महीने पहले अमेरिका से इलाज करा लौटे थे। मंगलवार को दोपहर 1 बजे से 3 बजे तक उनका पार्थिव शरीर रुइया हाउस में अंतिम दर्शन के लिए रखा जाएगा। शाम चार बजे रुइया हाउस से शवयात्रा हिंदू वर्ली श्मशान घाट के लिए रवाना होगी।

उद्योगपति शशि रुइया ने अपने पिता नंद किशोर रुइया के मार्गदर्शन में 1965 में अपने व्यावसायिक दुनिया में कदम रखा। उन्होंने अपने भाई रवि के साथ मिलकर 1969 में चेन्नई बंदरगाह पर एक बाहरी ब्रेकवाटर का निर्माण कर एस्सार की नींव रखी। इसके बाद एस्सार ग्रुप ने इस्पात, तेल रिफाइनरी, अन्वेषण और उत्पादन, दूरसंचार, बिजली और निर्माण सहित विभिन्न क्षेत्रों में विस्तार किया।

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