Connect with us
https://aajkikhabar.com/wp-content/uploads/2020/12/Digital-Strip-Ad-1.jpg

मुख्य समाचार

मंदसौर गोलीकांड का दोषी आखिर कौन : माकपा

Published

on

Loading

भोपाल, 20 जून (आईएएनएस)| मध्य प्रदेश के मंदसौर में किसान गोली कांड की जांच रिपोर्ट विधानसभा के पटल पर रखे जाने से पहले मीडिया में आने पर बवाल मचा हुआ है। मीडिया रपट के आधार पर मार्क्सवादी कम्युनिस्ट पार्टी (माकपा) ने सवाल उठाया है कि गोलीकांड के लिए पुलिस या सीआरपीएफ दोषी नहीं है तो दोषी कौन है। माकपा के राज्य सचिव जसविंदर सिंह ने बुधवार को बयान जारी कर कहा, यदि गोली चालन के लिए पुलिस या सीआरपीएफ दोषी नहीं है तो फिर दोषी कौन है? गोलीकांड के बाद मुख्यमंत्री के उपवास की समाप्ति पर घोषणा की गई थी कि दोषियों को बख्शा नहीं जाएगा। अब जब सरकार के जांच आयोग ने किसी को दोषी ही करार नहीं दिया है, तो मुख्यमंत्री किसको सजा देंगे?

माकपा राज्य सचिव ने कहा है, गोलीकांड के बाद मुख्यमंत्री ने कहा था कि यह कांड अफीम माफियाओं की ओर से कराया गया था और इसकी साजिश कोटा में बैठ कर रची गई थी। जांच आयोग ने इस साजिश का भी पर्दाफाश नहीं किया है, तो जाहिर है कि मुख्यमंत्री जैसे गरिमामय पद पर बैठा व्यक्ति सत्य नहीं बोल रहा था।

सिंह ने मीडिया रपट के आधार पर कहा है, जांच आयोग ने न तो पुलिस को और न ही प्रशासन को दोषी करार दिया है, लेकिन यह टिप्पणी जरूर की है कि गोलियां हवा में और जमीन में नहीं चलाई गईं। इससे जाहिर है कि भीड़ को भगाने की कोशिश नहीं की गई।

माकपा के अनुसार, कम से कम इस गलती के लिए कोई तो दोषी होगा ही, जांच आयोग के द्वारा कम से कम उसे तो दोषी ठहराया ही जाना चाहिए था।

जसविंदर ने आगे कहा, माकपा शुरू से ही मांग करती रही है कि जांच आयोग उच्च न्यायालय के किसी सेवारत न्यायाधीश की अध्यक्षता में होना चाहिए था और जांच आयोग का मुख्यालय पिपलिया मंडी होना चाहिए था, ताकि प्रभावित किसान अपना पक्ष आसानी से दर्ज करवा पाते। एक साजिश के तहत मृतकों को न्याय से वंचित करने और दोषियों को बचाने के लिए ही आयोग का मुख्यालय इंदौर स्थापित किया गया था।

माकपा ने कहा है, भाजपा के कार्यकाल में 108 निर्दोष पुलिस की गोली से मारे गए हैं। यह भाजपा सरकार के जनविरोधी रवैए को रेखांकित करता है। माकपा ने सभी किसान संगठनों और जनवादी आंदोलन व सामाजिक आंदोलनों से इस जांच रिपोर्ट का विरोध करने का आह्वान किया है।

Continue Reading

मुख्य समाचार

पाकिस्तान के खैबर पख्तूनख्वा में बड़ा आतंकी हमला, 38 लोगों की मौत

Published

on

Loading

पख्तूनख्वा। पाकिस्तान के खैबर पख्तूनख्वा में बड़ा आतंकी हमला हुआ है। इस हमले में 38 लोगों की मौत हो गई है। यह हमला खैबर पख्तूनख्वा के डाउन कुर्रम इलाके में एक पैसेंजर वैन पर हुआ है। हमले में एक पुलिस अधिकारी और महिलाओं समेत दर्जनों लोग घायल भी हुए हैं। जानकारी के मुताबिक उत्तर-पश्चिमी पाकिस्तान के अशांत प्रांत खैबर पख्तूनख्वा में आतंकियों ने शिया मुस्लिम नागरिकों को ले जा रहे यात्री वाहनों पर गोलीबारी की है। यह क्षेत्र में हाल के वर्षों में इस तरह का सबसे घातक हमला है। मृतकों की संख्या में इजाफा हो सकता है।

AFP की रिपोर्ट के मुताबिक इस हमले में 38 लोगों की मौत हुई है. पैसेंजर वैन जैसे ही लोअर कुर्रम के ओचुट काली और मंदुरी के पास से गुजरी, वहां पहले से घात लगाकर बैठे आतंकियों ने वैन पर अंधाधुंध गोलियां बरसानी शुरू कर दीं. पैसेंजर वैन पाराचिनार से पेशावर जा रही थी। पाकिस्तान की समाचार एजेंसी डॉन के मुताबिक तहसील मुख्यालय अस्पताल अलीजई के अधिकारी डॉ. ग़यूर हुसैन ने हमले की पुष्टि की है.

शिया और सुन्नी मुसलमानों के बीच तनाव 

अफगानिस्तान की सीमा से लगे कबायली इलाके में भूमि विवाद को लेकर शिया और सुन्नी मुसलमानों के बीच दशकों से तनाव बना हुआ है। किसी भी समूह ने घटना की जिम्मेदारी नहीं ली है। जानकारी के मुताबिक “यात्री वाहनों के दो काफिले थे, एक पेशावर से पाराचिनार और दूसरा पाराचिनार से पेशावर यात्रियों को ले जा रहा था, तभी हथियारबंद लोगों ने उन पर गोलीबारी की।” चौधरी ने बताया कि उनके रिश्तेदार काफिले में पेशावर से यात्रा कर रहे थे।

Continue Reading

Trending