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बिजनेस

सेंसेक्स, निफ्टी में 1 फीसदी से अधिक गिरावट 

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मुंबई| देश के शेयर बाजारों में पिछले सप्ताह प्रमुख सूचकांक सेंसेक्स और निफ्टी में एक फीसदी से अधिक गिरावट रही। बंबई स्टॉक एक्सचेंज (बीएसई) का 30 शेयरों पर आधारित संवेदी सूचकांक सेंसेक्स पिछले सप्ताह 1.23 फीसदी या 351 अंकों की गिरावट के साथ शुक्रवार को 28,112.31 पर बंद हुआ। इसी तरह, नेशनल स्टॉक एक्सचेंज (एनएसई) का 50 शेयरों पर आधारित संवेदी सूचकांक निफ्टी 1.03 फीसदी या 88.3 अंकों की गिरावट के साथ 8,521.55 पर बंद हुआ।

पिछले सप्ताह सेंसेक्स के 30 शेयरों में से 10 में तेजी रही, जिनमें प्रमुख रहे इंफोसिस (8.72 फीसदी), हीरो मोटोकॉर्प (3.34 फीसदी), महिंद्रा एंड महिंद्रा (2.32 फीसदी), एचडीएफसी (2.06 फीसदी) और एनटीपीसी (2.03 फीसदी)।

सेंसेक्स के 20 शेयरों में गिरावट रही, जिनमें प्रमुख रहे ल्युपिन (15.32 फीसदी), सन फार्मा (11.69 फीसदी), वेदांता (8.87 फीसदी), टाटा स्टील (6.75 फीसदी) और आईसीआईसीआई बैंक (5.32 फीसदी)।

गत सप्ताह मिडकैप और स्मॉलकैप सूचकांकों में भी करीब आधा फीसदी गिरावट रही। मिडकैप 0.64 फीसदी या 72.19 अंकों की गिरावट के साथ 11,147.99 पर और स्मॉलकैप 0.41 फीसदी या 48.25 अंकों की गिरावट के साथ 11,668.12 पर बंद हुआ।

संसद के मानसून सत्र के प्रथम सप्ताह में सुधार की दिशा में कोई विशेष प्रगति नहीं हुई, क्योंकि विपक्ष द्वारा विदेश मंत्री सुषमा स्वराज और राजस्थान तथा मध्य प्रदेश के मुख्यमंत्रियों के त्यागपत्र की मांग की वजह से संसद की गतिविधियां प्रभावित होती रहीं।

भारत मौसम विज्ञान विभाग ने 23 जुलाई को जारी बयान में कहा कि वर्तमान मानसूनी सत्र में देश भर में बारिश दीर्घावधि औसत से सात फीसदी कम रही। विभाग ने कहा कि देश के अन्य हिस्से में जहां बारिश औसत से कम रही है, वहीं पश्चिमोत्तर भारत में यह औसत से छह फीसदी अधिक रही है।

इस बीच जल संसाधन मंत्रालय ने 24 जुलाई को कहा कि 16 जुलाई तक देश के 91 बड़े जलाशयों में कुल 58.96 अरब घन मीटर जल को भंडार था, जो कुल क्षमता का 37 फीसदी है और गत वर्ष की समान अवधि के मुकाबले 115 फीसदी अधिक और गत 10 साल के औसत से 108 फीसदी अधिक है।

 

बिजनेस

जियो ने जोड़े सबसे अधिक ‘एक्टिव सब्सक्राइबर’- ट्राई

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नई दिल्ली| भारतीय दूरसंचार नियामक प्राधिकरण (ट्राई) के नवीनतम आंकड़ों के मुताबिक, रिलायंस जियो ‘एक्टिव सब्सक्राइबर’ जोड़ने के मामले में सबसे आगे है। सितंबर महीने में जियो ने करीब 17 लाख ‘एक्टिव सब्सक्राइबर’ जोड़े। समान अवधि में भारती एयरटेल ने 13 लाख तो वोडाफोन आइडिया (वीआई) ने 31 लाख के करीब ग्राहक गंवा दिए। ‘एक्टिव सब्सक्राइबर’ जोड़ने के मामले में जियो लगातार दूसरे महीने नंबर वन बना हुआ है। एयरटेल और वोडाआइडिया के ‘एक्टिव सब्सक्राइबर’ नंबर गिरने के कारण पूरे उद्योग में सक्रिय ग्राहकों की संख्या में गिरावट देखी गई, सितंबर माह में यह 15 लाख घटकर 106 करोड़ के करीब आ गई।

बताते चलें कि टेलीकॉम कंपनियों का परफॉर्मेंस उनके एक्टिव ग्राहकों की संख्या पर निर्भर करता है। क्योंकि एक्टिव ग्राहक ही कंपनियों के लिए राजस्व हासिल करने का सबसे महत्वपूर्ण जरिया है। हालांकि सितंबर माह में पूरी इंडस्ट्री को ही झटका लगा। जियो, एयरटेल और वीआई से करीब 1 करोड़ ग्राहक छिटक गए। मतलब 1 करोड़ के आसपास सिम बंद हो गए। ऐसा माना जा रहा है कि टैरिफ बढ़ने के बाद, उन ग्राहकों ने अपने नंबर बंद कर दिए, जिन्हें दो सिम की जरूरत नहीं थी।

बीएसएनएल की बाजार हिस्सेदारी में भी मामूली वृद्धि देखी गई। इस सरकारी कंपनी ने सितंबर में करीब 15 लाख वायरलेस डेटा ब्रॉडबैंड ग्राहक जोड़े, जो जुलाई और अगस्त के 56 लाख के औसत से काफी कम है। इसके अलावा, बीएसएनएल ने छह सर्किलों में ग्राहक खो दिए, जो हाल ही की वृद्धि के बाद मंदी के संकेत हैं।

ट्राई के आंकड़े बताते हैं कि वायरलाइन ब्रॉडबैंड यानी फाइबर व अन्य वायरलाइन से जुड़े ग्राहकों की कुल संख्या 4 करोड़ 36 लाख पार कर गई है। सितंबर माह के दौरान इसमें 7 लाख 90 हजार नए ग्राहकों का इजाफा हुआ। सबसे अधिक ग्राहक रिलायंस जियो ने जोड़े। जियो ने सितंबर में 6 लाख 34 हजार ग्राहकों को अपने नेटवर्क से जोड़ा तो वहीं एयरटेल मात्र 98 हजार ग्राहक ही जोड़ पाया। इसके बाद जियो और एयरटेल की बाजार हिस्सेदारी 32.5% और 19.4% हो गई। समान अवधि में बीएसएनएल ने 52 हजार वायरलाइन ब्राडबैंड ग्राहक खो दिए।

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