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प्रादेशिक

जेल से छूटते ही विजय बहादुर की होगी सपा में वापसी!

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विजय बहादुर यादव, समाजवादी पार्टी, चिनहट, बाधामऊ में जमीन कब्जा

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विजय बहादुर यादव, समाजवादी पार्टी, चिनहट, बाधामऊ में जमीन कब्जा

samajwadi party

बीकेटी विधानसभा क्षेत्र की जनता में मजबूत पकड़ का मिलेगा फायदा

लखनऊ। दो दिन पहले समाजवादी पार्टी से निकाले गए पूर्व जिला पंचायत अध्यक्ष विजय बहादुर यादव की पार्टी में वापसी के कयास लगने लगे हैं। दो बार जिला पंचायत के अध्यक्ष पद पर कब्जा करने वाले विजय बहादुर की जनता के बीच मजबूत पकड़ को देखते हुए समाजवादी पार्टी जेल से बाहर आते ही उन्हें पार्टी में वापस ले सकती है।

यह अलग बात है कि मामला पार्टी हाईकमान से जुड़ा होने की वजह से पार्टी का कोई भी नेता इस मसले पर टिप्पणी करने बच रहा है।

चिनहट के बाधामऊ में जमीन कब्जा करने के दौरान दो पक्षों में मारपीट हो गई। इस घटना के बाद पूर्व जिला पंचायत अध्यक्ष विजय बहादुर यादव ने अपने सैकड़ों समर्थकों के साथ फैजाबाद रोड मुख्य मार्ग पर जाम लगाकर प्रदर्शन शुरू कर दिया।

ईद के दिन हुए मुख्य मार्ग पर हुए इस जाम प्रदर्शन की वजह से जिला प्रशासन के अधिकारियों में हड़कंप मच गया। मामला समाजवादी पार्टी से जुड़ा होने के कारण इसकी जानकारी पार्टी के वरिष्ठ नेताओं समेत अन्य को दी गई।

घटना की जानकारी मुख्यमंत्री को होते ही वह हरकत में आए और आनन-फानन में उन्होंने पूर्व जिला पंचायत अध्यक्ष को गिरपतार करने का आदेश दिया; आदेश मिलते ही हरकत में आए पुलिस प्रशासन ने जमीन कब्जाने और विपक्षियों से मारपीट करने के आरोपी पूर्व जिला पंचायत अध्यक्ष विजय बहादुर यादव के खिलाफ मुकदमा दर्ज कर उन्हें गिरपतार कर लिया।

इस मामले में जाम प्रदर्शन करने वाले करीब डेढ़ सौ अज्ञात लोगों के खिलाफ मामला दर्ज किया गया। पूर्व जिला पंचायत अध्यक्ष को गिरपतार कर जेल भेज दिया। मारपीट, जमीन कब्जा और जान से मारने की धमकी में दर्ज मुकदमें के बाद गिरपतार किए गए पूर्व जिला पंचायत अध्यक्ष विजय बहादुर यादव के साथ जेल में भी सख्त रवैया अपनाया जा रहा है।

रविवार को जिला जेल में पूर्व जिला पंचायत अध्यक्ष विजय बहादुर यादव से मुलाकात करने वालों को तांता लगा हुआ था। सुबह से ही जेल परिसर में पूर्व जिला पंचायत अध्यक्ष के समर्थकों का जमावड़ा लगने लगा था। जेल प्रशासन के अधिकारियों ने शासन का हवाला देते हुए किसी भी आगंतुक की मुलाकात जेल के अंदर नहीं कराई।

तर्क दिया जा रहा था कि शासन का निर्देश है कि विजय बहादुर को जेल में किसी प्रकार की कोई अतिरिक्त सुविधाएं मुहैया नहीं कराई जाएं। उधर मुलाकात करने आए सपा नेताओं में कयास लगाए जा रहे थे कि जेल से छूटते ही विजय बहादुर यादव की समाजवादी पार्टी में वापसी हो जाएगी। नेताओं का तर्क था कि जनता में मजबूत पकड़ होने की वजह से उन्हें जल्दी ही वापस ले लिया जाएगा।

उत्तर प्रदेश

संभल हिंसा: 2500 लोगों पर केस, शहर में बाहरी की एंट्री पर रोक, इंटरनेट कल तक बंद

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संभल। संभल में जामा मस्जिद के सर्वे के दौरान रविवार को भड़की हिंसा के बाद सोमवार सुबह से पूरे शहर में तनाव का माहौल है। हिंसा प्रभावित इलाकों में कर्फ्यू जैसे हालात हैं। प्रशासन ने स्थिति नियंत्रण में लाने के लिए कड़े कदम उठाए हैं। डीआईजी मुनिराज जी के नेतृत्व में पुलिस बल ने हिंसा प्रभावित इलाकों में फ्लैग मार्च किया। शहर के सभी प्रमुख चौराहों पर बैरिकेडिंग की गई है, और प्रवेश मार्गों पर पुलिस तैनात है। पुलिस ने अभी तक 25 लोगों को गिरफ्तार कर लिया है। इसमें दो महिलाएं भी शामिल हैं। इंटरनेट अब कल तक बंद रहेगा।

इसके अलावा कोई भी बाहरी व्यक्ति, अन्य सामाजिक संगठन अथवा जनप्रतिनिधि जनपद संभल की सीमा में सक्षम अधिकारी की अनुमति के बिना एक दिसंबर तक प्रवेश नहीं करेगा। ये आदेश तत्काल प्रभाव से लागू होगा। इस आदेश का उल्लंघन भारतीय न्याय संहिता, 2023 की धारा 223 के अंतर्गत दंडनीय अपराध होगा। इसके अलावा संभल और आसपास के क्षेत्रों में इंटरनेट बंद कर दिया गया है। साथ ही स्कूलों को बंद करने का भी आदेश जारी किया गया है। हिंसा मामले में 25 लोगों को गिरफ्तार किया गया है। इनके साथ 2500 लोगों पर भी केस दर्ज किया गया है। साथ ही पुलिस की तरफ से दुकानों को बंद नहीं किया गया है।

इसके साथ ही संभल पुलिस ने समाजवादी पार्टी के सांसद जियाउर्रहमान बर्क और विधायक नवाब इकबाल महमूद के बेटे सुहैल इकबाल पर एफआईआर दर्ज की है। दोनों नेताओं पर संभल में हिंसा भड़काने के मामले में एफआईआर दर्ज की गई है। उल्लेखनीय है कि रविवार (24 नवंबर) की सुबह संभल की शाही जामा मस्जिद का सर्वेक्षण किया गया था। इस दौरान मस्जिद के पास अराजक तत्वों ने सर्वेक्षण टीम पर पथराव कर दिया। देखते ही देखते माहौल बिगड़ता चला गया। पुलिस ने हालात को काबू करने के लिए आंसू गैसे के गोले छोड़े और अराजक तत्वों को चेतावनी भी दी। हालांकि, हिंसा के दौरान चार लोगों की मौत हो गई।

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