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प्रादेशिक

एमपीः राशन की दुकान में लगी आग, 15 की मौत

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मध्य प्रदेश। छिंदवाड़ा जिले की एक सहकारी समिति में राशन बांटते समय केरोसिन (मिट्टी के तेल) में अचानक आग लग गई। अमरवाड़ा क्षेत्र के अंतर्गत हर्रई के बारगी सहकारी समिति केंद्र में हुए इस हादसे में कम से कम 15 लोगों की जलकर मौत हो गई।

जिले के पुलिस अधीक्षक गौरव तिवारी ने बताया, इस हादसे में कम से कम 15 लोगों की जलने से मौत हो गई है। जिनमें से 12 पुरुष और तीन महिलाएं हैं। उन्होंने कहा कि बारगी गांव में हुए इस हादसे के समय राशन लेने के लिए करीब तीन दर्जन से ज्यादा लोग कमरे के अंदर मौजूद थे, वहीं करीब सैंकड़ों ग्रामीण बाहर लाइन में लगे थे।

इससे पहले कि लोग कुछ समझा पाते आग ने पूरे कमरे को अपनी चपेट में ले लिया। उन्होंने कहा कि आग लगने के कारण का अब तक पता नहीं चल पाया है। इस दौरान मची अफरा-तफरी से कमरे में मौजूद लोग बाहर भी नहीं निकल पाए।
तिवारी ने बताया कि खबर मिलते ही तत्काल पुलिस प्रशासन के साथ-साथ फायर ब्रिगेड मौके पर पहुंची और आग पर काबू पाया गया। वहीं हादसे में गंभीर रूप से घायल हुए लोगों को तत्काल एम्बुलेंस की मदद से जिला अस्पताल में भेजा गया और उनका इलाज जारी है। उन्होंने कहा कि पुलिस घटना के कारणों की जांच कर रही है।

इसी बीच, मध्य प्रदेश के मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने बारगी सहकारी समिति केंद्र में हुए इस हादसे पर गहरा दुख व्यक्त करते हुए कहा, आग के इस हादसे का समाचार अत्यधिक व्यथित एवं पीड़ादायी है। उन्होंने भगवान से मृतकों की आत्मा को शांति देने और घायलों को जल्द स्वस्थ करने की प्रार्थना की है। चौहान ने मुआवजे के तौर पर मृतकों के परिजन को चार-चार लाख रुपये तथा घायलों को 50-50 हजार रुपये की राशि देने की घोषणा की है।

वहीं छिंदवाड़ा के कलेक्टर जेके जैन के अनुसार इस हादसे में 14 लोगों की मौत हुई है, जिनमें 11 पुरुष और 3 महिलाएं हैं। उन्होंने कहा कि इस हादसे में तीन लोग भी घायल हुए हैं, जिनमें से दो की हालत गंभीर है, जिन्हें पड़ोस के नरसिंहपुर जिले के एक अस्पताल भेज दिया गया है, जबकि एक घायल का उपचार हर्रई तहसील स्थित अस्पताल में ही चल रहा है। उन्होंने बताया कि राज्य सरकार ने मृतकों के अंतिम संस्कार के लिए 10-10 हजार रुपये की अतिरिक्त राहत राशि भी स्वीकृत की है। उन्होंने ने इस मामले में न्यायिक जांच के आदेश दिए हैं।

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उत्तर प्रदेश

संभल हिंसा: 2500 लोगों पर केस, शहर में बाहरी की एंट्री पर रोक, इंटरनेट कल तक बंद

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संभल। संभल में जामा मस्जिद के सर्वे के दौरान रविवार को भड़की हिंसा के बाद सोमवार सुबह से पूरे शहर में तनाव का माहौल है। हिंसा प्रभावित इलाकों में कर्फ्यू जैसे हालात हैं। प्रशासन ने स्थिति नियंत्रण में लाने के लिए कड़े कदम उठाए हैं। डीआईजी मुनिराज जी के नेतृत्व में पुलिस बल ने हिंसा प्रभावित इलाकों में फ्लैग मार्च किया। शहर के सभी प्रमुख चौराहों पर बैरिकेडिंग की गई है, और प्रवेश मार्गों पर पुलिस तैनात है। पुलिस ने अभी तक 25 लोगों को गिरफ्तार कर लिया है। इसमें दो महिलाएं भी शामिल हैं। इंटरनेट अब कल तक बंद रहेगा।

इसके अलावा कोई भी बाहरी व्यक्ति, अन्य सामाजिक संगठन अथवा जनप्रतिनिधि जनपद संभल की सीमा में सक्षम अधिकारी की अनुमति के बिना एक दिसंबर तक प्रवेश नहीं करेगा। ये आदेश तत्काल प्रभाव से लागू होगा। इस आदेश का उल्लंघन भारतीय न्याय संहिता, 2023 की धारा 223 के अंतर्गत दंडनीय अपराध होगा। इसके अलावा संभल और आसपास के क्षेत्रों में इंटरनेट बंद कर दिया गया है। साथ ही स्कूलों को बंद करने का भी आदेश जारी किया गया है। हिंसा मामले में 25 लोगों को गिरफ्तार किया गया है। इनके साथ 2500 लोगों पर भी केस दर्ज किया गया है। साथ ही पुलिस की तरफ से दुकानों को बंद नहीं किया गया है।

इसके साथ ही संभल पुलिस ने समाजवादी पार्टी के सांसद जियाउर्रहमान बर्क और विधायक नवाब इकबाल महमूद के बेटे सुहैल इकबाल पर एफआईआर दर्ज की है। दोनों नेताओं पर संभल में हिंसा भड़काने के मामले में एफआईआर दर्ज की गई है। उल्लेखनीय है कि रविवार (24 नवंबर) की सुबह संभल की शाही जामा मस्जिद का सर्वेक्षण किया गया था। इस दौरान मस्जिद के पास अराजक तत्वों ने सर्वेक्षण टीम पर पथराव कर दिया। देखते ही देखते माहौल बिगड़ता चला गया। पुलिस ने हालात को काबू करने के लिए आंसू गैसे के गोले छोड़े और अराजक तत्वों को चेतावनी भी दी। हालांकि, हिंसा के दौरान चार लोगों की मौत हो गई।

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