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बिजनेस

भारत में विद्युत वाहनों का नंबर वन निर्यातक बनने की क्षमता : गडकरी

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नई दिल्ली, 22 दिसम्बर (आईएएनएस)| केंद्रीय मंत्री नितिन गडकरी ने शुक्रवार को कहा कि गुणवत्तायुक्त उत्पाद और नई प्रौद्योगिकीयों में शोध देश को विद्युत वाहन (ईवी) उद्योग में दुनिया का नंबर एक निर्यातक बना सकता है।

सड़क परिवहन व राजमार्ग, पोत परिवहन और जल संसाधन, नदी विकास और गंगा संरक्षण मंत्री गडकरी ने शुक्रवार को पांचवे ‘ईवी एक्सपो 2017’ का यहां उद्घाटन करते हुए यह बातें कही।

उन्होंने कहा, आनेवाले समय में भारत विद्युत वाहनों में दुनिया का नंबर 1 निर्यातक बनने जा रहा है और यहां के वाहन नेपाल और बांग्लादेश के बाजारों में दिखेंगे।

गडकरी ने वाहन निर्माताओं से कहा कि उनके पास देश को आत्मनिर्भर बनाने और यहां तक कि चीन में अपने उत्पादों का निर्यात करने की क्षमता है।

गडकरी ने ई-वाहन निमार्ताओं से आग्रह किया कि वे उद्योग के बेहतर और टिकाऊ भविष्य के लिए मानकों और गुणवत्ता बनाए रखें।

गडकरी ने कहा, मेरा मानना है कि इस देश के गरीब रिक्शा चालकों को जो कि सवारियों को बहुत शारीरिक श्रम से साइकिल रिक्शा पर ढोते थे, उनके लिए ई-रिक्शा लाकर इस अमानवीय प्रथा से मुक्ति दिलाना मेरे जीवन का सबसे बड़ा काम होगा। मैं विद्युत वाहन उद्योग का धन्यवाद करता हूं कि उन्होंने ई-रिक्शा उपलब्ध करा कर लाखों लोगों को काम दिलाने के साथ साथ उनको शोषणमुक्त कराया है।

उन्होंने कहा, इस देश में 1 करोड़ लोग जो अभी भी साइकिल रिक्शा से माल और सवारी ढोते हैं, उन तक ई-रिक्शा पहुंचाना इस उद्योग के सामने बहुत बड़ा अवसर है जिसका उन्हें पूरा लाभ उठाना चाहिए। मैं विद्युत वाहन उत्पादकों को अपनी गुणवत्ता और मापदंड का ख्याल रखने की सलाह दूंगा ताकि यह उद्योग काफी तरक्की कर सके।

उन्होंने कहा, पेट्रोल की 80 रुपये कीमत और डीजल के 60 रुपये के मुकाबले, जब विद्युत वाहन को चलाने की कीमत सिर्फ 8 रुपया है और वह भी बिना प्रदूषण के, तो कौन नहीं इसे अपनाना चाहेगा। मेरा मानना है कि अगले दो सालों में विद्युत वाहनों की मांग में जबरदस्त बढ़ोतरी होगी।

ईवी एक्सपो के संयोजक राजीव अरोरा ने कहा, यह हमारा पांचवां ईवी एक्सपो है। आज सरकार की इलेक्ट्रिक वाहन समर्थक नीतियों से प्रोत्साहित होकर भारत में यह उद्योग बहुत तेजी से आगे बढ़ने के कगार पर है। बहुत जल्द हम वातावरण अनुकूल इलेक्ट्रिक वाहनों का उपयोग परिवहन, सामान ढोने के साथ साथ निजी उपयोग में भी देखने लगेंगे जिससे प्रदूषण से जूझ रहे हमारे शहरों को भी कुछ राहत मिलेगी। इस एक्सपो में नवीनतम प्रौद्योगिकी के साथ साथ अगली पीढ़ी के इलेक्ट्रिक वाहनों का भी अनावरण होगा।

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बिजनेस

जियो ने जोड़े सबसे अधिक ‘एक्टिव सब्सक्राइबर’- ट्राई

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नई दिल्ली| भारतीय दूरसंचार नियामक प्राधिकरण (ट्राई) के नवीनतम आंकड़ों के मुताबिक, रिलायंस जियो ‘एक्टिव सब्सक्राइबर’ जोड़ने के मामले में सबसे आगे है। सितंबर महीने में जियो ने करीब 17 लाख ‘एक्टिव सब्सक्राइबर’ जोड़े। समान अवधि में भारती एयरटेल ने 13 लाख तो वोडाफोन आइडिया (वीआई) ने 31 लाख के करीब ग्राहक गंवा दिए। ‘एक्टिव सब्सक्राइबर’ जोड़ने के मामले में जियो लगातार दूसरे महीने नंबर वन बना हुआ है। एयरटेल और वोडाआइडिया के ‘एक्टिव सब्सक्राइबर’ नंबर गिरने के कारण पूरे उद्योग में सक्रिय ग्राहकों की संख्या में गिरावट देखी गई, सितंबर माह में यह 15 लाख घटकर 106 करोड़ के करीब आ गई।

बताते चलें कि टेलीकॉम कंपनियों का परफॉर्मेंस उनके एक्टिव ग्राहकों की संख्या पर निर्भर करता है। क्योंकि एक्टिव ग्राहक ही कंपनियों के लिए राजस्व हासिल करने का सबसे महत्वपूर्ण जरिया है। हालांकि सितंबर माह में पूरी इंडस्ट्री को ही झटका लगा। जियो, एयरटेल और वीआई से करीब 1 करोड़ ग्राहक छिटक गए। मतलब 1 करोड़ के आसपास सिम बंद हो गए। ऐसा माना जा रहा है कि टैरिफ बढ़ने के बाद, उन ग्राहकों ने अपने नंबर बंद कर दिए, जिन्हें दो सिम की जरूरत नहीं थी।

बीएसएनएल की बाजार हिस्सेदारी में भी मामूली वृद्धि देखी गई। इस सरकारी कंपनी ने सितंबर में करीब 15 लाख वायरलेस डेटा ब्रॉडबैंड ग्राहक जोड़े, जो जुलाई और अगस्त के 56 लाख के औसत से काफी कम है। इसके अलावा, बीएसएनएल ने छह सर्किलों में ग्राहक खो दिए, जो हाल ही की वृद्धि के बाद मंदी के संकेत हैं।

ट्राई के आंकड़े बताते हैं कि वायरलाइन ब्रॉडबैंड यानी फाइबर व अन्य वायरलाइन से जुड़े ग्राहकों की कुल संख्या 4 करोड़ 36 लाख पार कर गई है। सितंबर माह के दौरान इसमें 7 लाख 90 हजार नए ग्राहकों का इजाफा हुआ। सबसे अधिक ग्राहक रिलायंस जियो ने जोड़े। जियो ने सितंबर में 6 लाख 34 हजार ग्राहकों को अपने नेटवर्क से जोड़ा तो वहीं एयरटेल मात्र 98 हजार ग्राहक ही जोड़ पाया। इसके बाद जियो और एयरटेल की बाजार हिस्सेदारी 32.5% और 19.4% हो गई। समान अवधि में बीएसएनएल ने 52 हजार वायरलाइन ब्राडबैंड ग्राहक खो दिए।

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