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खेल-कूद

ताज महल देखना चाहती हैं कैमिला

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नई दिल्ली, 31 दिसंबर (आईएएनएस)| डेनमार्क की महिला खिलाड़ी कैमिला रायटर जुल इस समय प्रीमियर बैडमिंटन लीग (पीबीएल) के लिए भारत में हैं और उनकी इच्छा दुनिया के सात अजूबों में शामिल ताज महल देखने की है।

कैमिला पीबीएल की नई टीम अहमदाबाद स्मैश मास्टर्स के लिए खेल रही हैं। उनकी कोशिश है कि वह आगरा स्थित इस अजूबे को निहराने जाएं।

रियो ओलम्पिक-2016 में अपनी महिला युगल साझेदार क्रिस्टिना पेडरसन के साथ मिलकर रजत पदक जीतने वाली कैमिला ने आईएएनएस से विशेष बातचीत में अपनी इस ख्वाहिश का जिक्र किया।

कैमिला से जब भारत भ्रमण के बार में पूछा गया तो उन्होंने कहा, अभी तक तो नहीं, लेकिन हमने ताजमहल देखने के बारे में सोचा है। जब भी हम भारत आते हैं तो सोचते हैं कि अगर हम क्वार्टर फाइनल में हार गए तो हम ताजमहल देखने जाएंगे, लेकिन हमें कभी समय नहीं मिल पाया। ताजमहल ऐसी चीज है जिसे मैं देखना चाहूंगी।

कैमिला उस देश से आती हैं जहां एक समय बैडमिंटन का डंका बजता था, लेकिन समय के फेर ने डेनमार्क को पीछे धकेल दिया। कैमिला का हालांकि मानना है कि अब उनकी और उनके साथियों की सफलता के बाद एक बार फिर डेनमार्क के लोग बैडमिंटन में रूचि ले रहे हैं इस खेल को पसंद कर रहे हैं।

बकौल कैमिला, डेनमार्क में हमारे पास खेल की अच्छी संस्कृति है। हमारे पास नेशनल सेंटर भी है जहां सारे खिलाड़ी हर दिन अभ्यास करते हैं। हां हमारे पास ज्यादा खिलाड़ी नहीं हैं इसलिए हम सभी को एकजुट रहना पड़ता है। हमारे पास एक अच्छा क्लब कल्चर है जहां युवा खिलाड़ी आगे बढ़ते हैं।

उन्होंने कहा, मेरा मानना है कि विक्टर, माथियास बोए, कास्टर्न मोगेनसन (पुरुष युगल), महिला युगल में क्रिस्टीना पेडरसन की सफलता ने डेनमार्क के लोगों की रुचि को खेल में बढ़ाया है। यह एक अंतर था जो काफी समय से बना हुआ था, जो अब खत्म हो रहा है।

पीबीएल में मैच 15 अंक प्रणाली पर खेले जा रहे हैं। कैमिला का मानना है कि यह इस लीग के लिए अच्छा है।

उन्होंने कहा, मेरा मानना है कि यह इस लीग के लिए अच्छी प्रणाली है। मैच ज्यादा देर तक चलते नहीं हैं। मुझे इन मैचों में खेलने में मजा आ रहा है। यह काफी तेजी से होते हैं। 14 ऑल होता है तब भी आपको सिर्फ एक अंक चाहिए होता है जीतने के लिए, लेकिन 21 अंक का गेम खेलने का भी अपना एक अलग मजा है। 21 ऑल जब हो जाता है तो वहां फिर काफी उत्साह होता है। लेकिन इस लीग के लिए 15 अंक प्रणाली सही है।

विश्व बैडमिंटन संघ (बीडब्ल्यूएफ) ने हाल ही में जो कैलेंडर जारी किया है उस पर कई खिलाड़ियों ने निराशा जाहिर की है और उसे काफी व्यस्त बताया है, लेकिन कैमिला कहती हैं कि वह इसके प्रति सकारात्मक हैं।

उन्होंने कहा, जाहिर सी बात है कि यह मुश्किल होगा, लेकिन मैं सकारात्मक मानसिकता रखने वाली खिलाड़ी हूं इसलिए शिकायत करने से पहले इसे देखना चाहूंगी। मुझे देखना होगा कि यह सीजन कितना व्यस्त होगा। हां मैं दूसरे खिलाड़ियों से सहमत हूं क्योंकि यह मुश्किल होगा कि इतने व्यस्त कार्यक्रम में से घर जाकर अभ्यास का मौका मिले। यह हमारे लिए जरूरी है क्योंकि खेल के साथ ही हमें अपने शरीर का ध्यान रखना है।

कैमिला ने कहा कि इस 2017 में अपने प्रदर्शन से वह खुश हैं। उन्होंने इस साल महिला युगल में पेडरसन के साथ ही विश्व चैम्पियनशिप में कांस्य पदक पर कब्जा जमाया था। आने वाले साल में उनका लक्ष्य ऑल इंग्लैंड तथा विश्व चैम्पियनशिप जीतना होगा।

कैमिला कहती हैं, यह मेरे लिए अच्छा साल रहा है। हमने इस साल विश्व चैम्पियनशिप में पदक जीता। हमने साथ ही सिंगापुर सुपरसीरीज का खिताब भी जीता। मैंने इतना सोचा नहीं था क्योंकि जब आप ज्यादा उम्र के होते जाते हो तो चीजें मुश्किल हो जाती हैं, लेकिन फिर भी टूनार्मेंट जीतते हैं तो खुशी होती है।

2018 पर कैमिला का कहना है, हम आने वाले साल में ऑल इंग्लैंड और विश्व चैम्पियनशिप को जीतने पर ध्यान देंगे। यह हमारे प्राथमिक लक्ष्य होंगे।

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खेल-कूद

IND VS AUS: पर्थ में टूटा ऑस्ट्रेलिया का घमंड, भारत ने 295 रनों से दी मात

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पर्थ। भारतीय क्रिकेट टीम ने बॉर्डर-गावस्कर ट्रॉफी के पहले टेस्ट मैच में मेजबान ऑस्ट्रेलिया को धूल चटाते हुए नया कीर्तिमान रच दिया है। टीम इंडिया ने पर्थ में 16 साल बाद पहला टेस्ट मैच जीता है। इससे पहले भारत ने साल 2008 में कुंबले की कप्तानी में ऑस्ट्रेलिया को हराया था। हालांकि यह मैच पर्थ के ऑप्टस स्टेडियम में खेला गया। पहली पारी में 150 रन बनाने वाली टीम इंडिया ने ऑस्ट्रेलिया को पहली पारी में सिर्फ 104 रनों पर ढेर कर दिया था। इसके बाद टीम इंडिया ने अपनी दूसरी पारी 487/6 रन के स्कोर पर घोषित करते हुए ऑस्ट्रेलिया के सामने 534 रनों का विशाल लक्ष्य रखा।

इस पहाड़ जैसे लक्ष्य का पीछा करते हुए ऑस्ट्रेलिया की टीम दूसरी पारी में सिर्फ 238 रनों के स्कोर पर ढेर हो गई। इस तरह टीम इंडिया ने ऑस्ट्रेलिया को उसी के घर में 295 रनों से हराकर बड़ा इतिहास रच दिया। ध्यान देने वाली बात यह है कि टीम इंडिया में न तो रोहित शर्मा थे, न ही शुभमन गिल, न ही रवींद्र जडेजा और रविचंद्रन अश्विन और न ही मोहम्मद शमी थे। इसके बावजूद टीम इंडिया ने ऐतिहासिक जीत दर्ज की।

पर्थ टेस्ट की दूसरी पारी में यशस्वी जायसवाल ने 161 रन और विराट कोहली ने नाबाद शतकीय पारी खेली। दूसरी पारी में केेल राहुल ने भी 77 रनों की अहम पारी खेली। पहली पारी में टीम इंडिया 150 रनों पर सिमट गई थी पर भारतीय गेंदबाजों ने कमाल का कमबैक करते हुए पूरी ऑस्ट्रेलिया टीम को घुटनों पर ला दिया। ऑस्ट्रेलिया पहली पारी में 104 रन ही बना पाई। दूसरी पारी में टीम इंडिया ने कमाल का कमबैक करते हुए ऑस्ट्रेलिया के सामने 6 विकेट के नुकसान पर 487 रन बनाकर पारी घोषित कर दी। जिससे ऑस्ट्रेलिया को 534 रनो का टारगेट मिला। लेकिन चौथे दिन भारत ने ऑस्ट्रेलिया को 295 रनों से हरा दिया।

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