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नागपंचमी : इस गांव में रहते हैं सिर्फ भिखारी, सांप को वश में करने का चलता है स्कूल

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भारत को विविधताओं का देश कहा जाता है। यहां अलग-अलग जाति, धर्म, के लोग  रहते हैं। आज हम भारत के एक ऐसे गांव के बारे में बताने जा रहे हैं जो बाकी गांवों से बिल्कुल अलग है।

हम बात कर रहे हैं एक ऐसे गांव की जहां बच्चों के जन्म होते ही यह तय हो जाता है कि बच्चा आगे चल कर भिखारी ही बनेगा। जी हां आपने बिल्कुल सही सुना, बच्चों को डॉक्टर, इंजीनियर या वकील बनाने वाले लोगों के बीच भारत में कुछ ऐसे भी लोग हैं जो न चाहते हुए भी अपने बच्चों को बड़ा होकर भिखारी बनाते हैं।

उत्तर प्रदेश के  मैनपुरी जनपद के बेवर थाना क्षेत्र के नगला दरबारी नाम के इस गांव में महज 30 लोगों का परिवार रहता है। यहां आज भी लोग कच्ची मिट्टी के मकानों में रहते हैं। इन मकानों में न कोई दरवाज़ा हैं, न ही बिजली पानी की कोई व्यवस्था है।

1958 में जोहरी नाथ के पिता ख्याली नाथ परिवार के साथ इस गांव में आए थे। गुज़र बसर के लिए काम न मिलने पर उन्होंने अपने पैतृक काम नागों को  अपनी बीन पर नचाने का काम शुरू कर दिया। जब इससे भी गुजारा न हुआ तो भीख मांग कर पेट पालने लगे।

इसके बाद भीख मांगना इस गांव की परंपरा बन गई। हैरान की बात यह है कि सरकार की कई योजनाएं इनकी पहुंच से काफी दूर हैं। यही वजह है कि इन लोगों ने अपनी पाठशाला खोल रखी है। जहां बच्चों को सांपों को वश में कैसे करना है सिखाया जाता है।

यहां लगभग 200 से अधिक लोग रहते हैं और 100 रूपए तक दिन भर में कमा लेते हैं। ये लोग पीढ़ी दर पीढ़ी भीख मांगते चले आ रहे हैं। यह लोग सरकार की लगभग सभी सुविधाओं से वंचित हैं। नगला दरबारी गांव में रहने वाले लोग सांप दिखाकर भीख मांगने के चक्कर में तिहाड़ जेल भी जा चुके हैं।

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पकिस्तान के वो काले कानून जो आप जानकर हो जाएंगे हैरान

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नई दिल्ली। दुनिया के हर देश में कई अजीबोगरीब कानून होते हैं जो लोगों को हैरान करते हैं। पड़ोसी देश पाकिस्तान में भी कई अजीबोगरीब कानून हैं। इस मामले में पड़ोसी देश पहले नंबर पर है। ऐसे कानूनों की वजह से पाकिस्तान की दुनियाभर में आलोचना भी होती है। अभी कुछ महीने पहले ही एक कानून को लेकर उसकी खूब आलोचना हुई थी।

पाकिस्तान के सिंध प्रांत में एक अजीबोगरीब विधेयक का प्रस्ताव पेश किया गया था। यह विधेयक पड़ोसी देश के साथ ही दुनियाभर में चर्चा का विषय बन गया था। इस बिल में कहा गया था कि 18 साल की उम्र होने पर लोगों की शादी को अनिवार्य कर देना चाहिए। इसके अलावा इस कानून को नहीं मानने वालों को सजा का भी प्रावधान है। पाकिस्तानी राजनेताओं का इसके पीछे तर्क है कि इससे सामाजिक बुराइयों और बच्चों से बलात्कार को रोकने में मदद मिलेगी। आईए जानते हैं पाकिस्तान के कुछ ऐसे ही अजीबोगरीब कानून के बारे में।

बिना इजाजत नहीं छू सकते हैं फोन

पाकिस्तान में बिना इजाजत किसी का फोन छूना गैरकानूनी माना जाता है। अगर कोई गलती से भी किसी दूसरे का फोन छूता है, तो उसे सजा का प्रावधान है। ऐसा करने वाले शख्स को 6 महीने जेल की सजा हो सकती है।

अंग्रेजी अनुवाद है गैरकानूनी

 

पाकिस्तान में आप कुछ शब्दों का अंग्रेजी अनुवाद नहीं कर सकते हैं। इन शब्दों का इंग्लिश ट्रांसलेशन करना गैरकानूनी माना जाता है। यह शब्द हैं अल्लाह, मस्जिद, रसूल या नबी। अगर कोई इनका अंग्रेजी अनुवाद करता है, तो उसके खिलाफ कड़ी से कड़ी कार्रवाई होती है।

पढ़ाई की फीस पर लगता है टैक्स

 

पाकिस्तान में पढ़ाई करने पर टैक्स देना पड़ता है। अगर कोई छात्र पढ़ाई पर 2 लाख से अधिक खर्च करता है, तो उसको पांच प्रतिशत टैक्स देना पड़ता है। शायद इसी डर से पाकिस्तान में लोग कम पढ़ाई करते हैं।

लड़की के साथ रहने पर होती है कार्रवाई

अगर कोई लड़का अपनी गर्लफ्रेंड के साथ रहते हुए पकड़ा जाता है, तो उसे जेल की सजा होती है। यहां पर कोई किसी लड़की के साथ दोस्ती नहीं कर सकता है। पड़ोसी देश में कानून है कि शादी के पहले लड़का और लड़की एक साथ नहीं सकते हैं।

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