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प्रादेशिक

बरसात में बिजली जनित हादसों से बचें

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जयपुर| बरसात में बिजली आपूर्ति में आने वाली बधाओं व बिजली जनित हादसों से जान-माल की हानि को बचाने के लिए उपभोक्ता कुछ महत्वपूर्ण बातों का ध्यान रखें तो बिजली आपूर्ति सुचारु रखने के साथ ही विद्युत-दुर्घटनाओं को रोका जा सकता है। जयपुर विद्युत वितरण निगम ने लोगों को जागरूक करने के लिए एक पहल शुरू की है। निगम द्वारा विद्युत दुर्घटनाओं की रोकथाम के लिए तथा तकनीकी कर्मचारियों को कार्य के दौरान सुरक्षा निर्देशों का पालन सुनिश्चित करने के लिए कार्यशालाओं व वीडियो कान्फ्रेंसिंग के माध्यम से सुरक्षा प्रशिक्षण दिया जाएगा। प्रशिक्षण 15 व 16 जुलाई को दिया जाएगा।

जयपुर विद्युत वितरण निगम के अध्यक्ष एवं प्रबंध निदेशक भास्कर ए. सावंत ने बताया कि दुर्घटना संभावित बिजली लाइनें, लटकते बिजली तार, टेढ़े पोल आदि के बारे में सातों दिन, 24 घंटे कार्यरत डिस्कॉम के कॉल सेंटर के टोल फ्री नंबर 18001806507 पर शिकायत दर्ज करवाई जा सकती है।

इसके साथ ही बिजली बंद होने की सूचना, ट्रांसफार्मर जलने, बिजली चोरी होने या अन्य कोई तकनीकी शिकायत हो तो उसे भी कॉल सेंटर के टोल फ्री नंबर पर दर्ज कराया जा सकता है।

ध्यान रखने योग्य महत्वपूर्ण बिंदु :

* घर में ईएलसीबी स्विच जरूर लगवाएं, जिससे घर के बिजली तंत्र में गड़बड़ी होने पर बिजली आपूर्ति स्वत: ही बंद हो जाए और जीवन हानि को टाला जा सके।

* बिजली फीटिंग के साथ ही अर्थ वायर डाला जाना व समूचे तंत्र को घर के बाहर उपयुक्त अर्थ कर जोड़ना चाहिए और उसकी समय-समय पर जांच कराते रहना चाहिए।

* बिजली के खंभों से पशुओं को न बांधें। बिजली के खंभों को खासतौर पर बारिश के मौसम में बेवजह न छुएं।

* टूटे हुए बिजली के तार को हाथ न लगाएं और न ही किसी दूसरे व्यक्ति को ऐसा करनें दें तथा तत्काल नजदीक के बिजली कार्यालय को सूचित करें।

* यह भी ध्यान रखें कि पशुओं के तबेलों के आसपास बिजली आपूर्ति के लिए घरेलू वायरिंग खुली न हो तथा पीवीसी पाइप में उचित तरीके से स्थापित की गई हो।

* बिजली की लाइनों के नीचे कोई भी वाहन खड़ा करने से बचें।

* बिजली की लाइनों के नीचे या बिजली के खंभे के नजदीक किसी भी जानवर को बांधना एवं सामान का रखना वर्जित है।

* छत पर या आसपास से गुजरती हुई बिजली की लाइन से छेडछाड़ की कोशिश नहीं करनी चाहिए, बल्कि बिजली लाइन से पर्याप्त दूरी बनाए रहना चाहिए।

* बिजली के खंभे, वितरण बॉक्स, ट्रांसफार्मर, अर्थिग वायर आदि से छेड़छाड़ का प्रयास नहीं किया जाना चाहिए।

* बिजली के खंभे या स्टे-वायर से डोरी बांधकर उस पर कपड़े सुखाने से परहेज करना चाहिए।

* हार्वेस्टर मशीन, जेसीबी मशीन, बोरवेल मशीन, भूसा गाड़ी, ट्रैक्टर, ट्रक, बसों की छत पर बैठे व्यक्ति ऊपर से गुजर रही 33/11 केवी लाइन से सुरक्षित दूरी बनाए रखें, इसके लिए सड़क से गुजरते समय विद्युत लाइनों के प्रति विशेष सतर्क रहना चाहिए।



उत्तर प्रदेश

संभल हिंसा: 2500 लोगों पर केस, शहर में बाहरी की एंट्री पर रोक, इंटरनेट कल तक बंद

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संभल। संभल में जामा मस्जिद के सर्वे के दौरान रविवार को भड़की हिंसा के बाद सोमवार सुबह से पूरे शहर में तनाव का माहौल है। हिंसा प्रभावित इलाकों में कर्फ्यू जैसे हालात हैं। प्रशासन ने स्थिति नियंत्रण में लाने के लिए कड़े कदम उठाए हैं। डीआईजी मुनिराज जी के नेतृत्व में पुलिस बल ने हिंसा प्रभावित इलाकों में फ्लैग मार्च किया। शहर के सभी प्रमुख चौराहों पर बैरिकेडिंग की गई है, और प्रवेश मार्गों पर पुलिस तैनात है। पुलिस ने अभी तक 25 लोगों को गिरफ्तार कर लिया है। इसमें दो महिलाएं भी शामिल हैं। इंटरनेट अब कल तक बंद रहेगा।

इसके अलावा कोई भी बाहरी व्यक्ति, अन्य सामाजिक संगठन अथवा जनप्रतिनिधि जनपद संभल की सीमा में सक्षम अधिकारी की अनुमति के बिना एक दिसंबर तक प्रवेश नहीं करेगा। ये आदेश तत्काल प्रभाव से लागू होगा। इस आदेश का उल्लंघन भारतीय न्याय संहिता, 2023 की धारा 223 के अंतर्गत दंडनीय अपराध होगा। इसके अलावा संभल और आसपास के क्षेत्रों में इंटरनेट बंद कर दिया गया है। साथ ही स्कूलों को बंद करने का भी आदेश जारी किया गया है। हिंसा मामले में 25 लोगों को गिरफ्तार किया गया है। इनके साथ 2500 लोगों पर भी केस दर्ज किया गया है। साथ ही पुलिस की तरफ से दुकानों को बंद नहीं किया गया है।

इसके साथ ही संभल पुलिस ने समाजवादी पार्टी के सांसद जियाउर्रहमान बर्क और विधायक नवाब इकबाल महमूद के बेटे सुहैल इकबाल पर एफआईआर दर्ज की है। दोनों नेताओं पर संभल में हिंसा भड़काने के मामले में एफआईआर दर्ज की गई है। उल्लेखनीय है कि रविवार (24 नवंबर) की सुबह संभल की शाही जामा मस्जिद का सर्वेक्षण किया गया था। इस दौरान मस्जिद के पास अराजक तत्वों ने सर्वेक्षण टीम पर पथराव कर दिया। देखते ही देखते माहौल बिगड़ता चला गया। पुलिस ने हालात को काबू करने के लिए आंसू गैसे के गोले छोड़े और अराजक तत्वों को चेतावनी भी दी। हालांकि, हिंसा के दौरान चार लोगों की मौत हो गई।

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