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उत्तराखंड

‘RAIN WATER HARVESTING से कम होगा जल संकट, जल संरक्षण पर ज़ोर दें लोग’

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पूरे विश्व में पानी की कमी के बढ़ते संकट को देखते हुए मुख्यमंत्री त्रिवेंद्र सिंह रावत ने आने वाले समय में उत्तराखंड में पानी की कमी को दूर करने के लिए रेन वाॅटर हार्वेस्टिंग के साथ ही भूजल संचयन की दिशा में कार्य करने की बात कही है। इसके अलावा उन्होंने लोगों से यह आग्रह किया है कि वो घरों में पानी बर्बाद न करें और आंगन व छतों पर वर्षाजल इकट्ठा करें।
बुधवार को सचिवालय में राज्य योजना आयोग द्वारा उत्तराखण्ड में वर्षा जल संचयन और भूजल पुनर्भरण निर्देश पुस्तिका का विमोचन करते हुए मुख्यमंत्री ने कहा कि जल बहुमूल्य प्राकृतिक संसाधन है, जिसका प्रबंधन और उपयोग बेहतर तरीके से किया जाना जरूरी है।

उत्तराखंड में सूर्यधार झील, सौंग व जमरानी जैसे बांधों के विकास पर ज़ोर दिया जाएगा ज़ोर।

उत्तराखंड में प्राकृतिक जल श्रोत्रों का प्रवाह बना रहे, इस दिशा में जल चेतना यात्रा का संचालन किया जा रहा है। पानी की कमी को दूर करने के लिए राज्य सरकार ने सूर्यधार झील, सौंग व जमरानी जैसे बांधों के विकास पर ज़ोर दिया है। इसकी मदद से देहरादून, हल्द्वानी को ग्रेविटी का पानी उपलब्ध होगा और भूजल का स्तर भी संतुलित बना रहेगा।
मुख्यमंत्री त्रिवेन्द्र ने कहा कि हमें अपनी सोच में परिवर्तन कर अपनी दैनिक जल की आवश्यकताओं की आंशिक पूर्ति के लिए वर्षा जल संचयन और उपयोग की तकनीक अपनाने पर ध्यान देना होगा और अपने प्राकृतिक जल संसाधनों का संरक्षण करना होगा।
उत्तराखंड सरकार राज्य के सभी शहरों और ग्रामीण क्षेत्रों में वर्षा जल संचयन और भूजल पुनर्भरण निर्देश पुस्तिका को लोगों के बीच लाएगी। इससे लोग अपने घर के आंगन, मकान की छतों में वर्षा जल संचयन, भंडारण और उपयोग जैसी आदतों को अपना सकें।

उत्तराखंड

मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने राष्ट्रीय कौशल एवं रोजगार सम्मेलन का किया उद्घाटन

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देहरादून। मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने मंगलवार को राष्ट्रीय कौशल एवं रोजगार सम्मेलन का उद्घाटन किया। नीति आयोग, सेतु आयोग और राज्य सरकार के संयुक्त प्रयासों से राजधानी देहरादून में दून विश्वविद्यालय में राष्ट्रीय कौशल एवं रोज़गार सम्मलेन का आयोजन किया गया। कार्यक्रम का उद्घाटन करने के बाद मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने कहा कि इस तरह की कार्यशालाएं प्रदेश के युवाओं के बेहतर भविष्य के लिए बेहद महत्वपूर्ण साबित होंगी। उन्होंने कहा कि प्रदेश सरकार युवाओं को बेहतर रोजगार मुहैया कराने की दिशा में सकारात्मक कदम उठा रही है।

कार्यक्रम में कौशल विकास मंत्री सौरभ बहुगुणा ने इसे सरकार की ओर से युवाओं के लिए महत्वपूर्ण कदम बताया। उन्होंने कहा कि कार्यक्रम का मुख्य उद्देश्य उत्तराखंड के तमाम बेरोजगार युवाओं को रोजगार देना है। मुख्यमंत्री ने कहा, “निश्चित तौर पर इस कार्यशाला में जिन विषयों पर भी मंथन होगा, उससे बहुत ही व्यावहारिक चीजें निकलकर सामने आएंगी, जो अन्य युवाओं के लिए समृद्धि के मार्ग प्रशस्त करेगी। हमें युवाओं को प्रशिक्षण देना है, जिससे उनके लिए रोजगार की संभावनाएं प्रबल हो सकें, ताकि उन्हें बेरोजगारी से निजात मिल सके।

उन्होंने कहा, “प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने 2015 में स्किल डेवलपमेंट का विभाग खोला था, ताकि अधिक से अधिक युवाओं को रोजगार मिल सके। इसके अलावा, वो रोजगार खोजने वाले नहीं, बल्कि रोजगार देने वाले बनें। अगर प्रदेश के युवा रोजगार देने वाले बनेंगे, तो इससे बेरोजगारी पर गहरा अघात पहुंचेगा। ” उन्होंने कहा, “हम आगामी दिनों में अन्य रोजगारपरक प्रशिक्षण युवाओं को मुहैया कराएंगे, जो आगे चलकर उनके लिए सहायक साबित होंगे।

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