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प्रादेशिक

दिल्ली के कानून मंत्री को न्यायालय का नोटिस

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नई दिल्ली| दिल्ली उच्च न्यायालय ने बुधवार को भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) के नेता नंद किशोर गर्ग की याचिका पर सुनवाई करते हुए दिल्ली के कानून मंत्री जितेंद्र सिंह तोमर और निर्वाचन आयोग को नोटिस जारी किया। न्यायमूर्ति मनमोहन ने भारतीय निर्वाचन आयोग और तोमर से गर्ग की याचिका पर 18 मई को जवाब देने के लिए कहा है। गर्ग ने सात फरवरी को हुए दिल्ली विधानसभा चुनाव में तोमर के खिलाफ चुनाव लड़ा था। उनका कहना है कि तोमर ने नामांकन पत्र के साथ जमा किए गए हलफनामे में शैक्षिक योग्यता वाले कॉलम में जानबूझकर कर गलत जानकारी दी है। न्यायालय ने निर्वाचन आयोग से दिल्ली विधानसभा चुनाव के दौरान आम आदमी पार्टी (आप) के नेता तोमर द्वारा जमा किए गए दस्तावेजों को बंद लिफाफे में न्यायालय को सौंपने के लिए भी कहा है।

याचिका में आरोप लगाया गया है कि तोमर ने फर्जी स्नातक डिग्री के आधार पर खुद को वकील बताकर नामांकन भरा था। याचिका के मुताबिक, “चुनाव में तोमर का निर्वाचन उनकी गलत बयानी, फर्जी घोषणा और नामांकन पत्र के साथ दाखिल किए गए हलफनामे में शैक्षिक योग्यता को जानबूझकर छिपाने से प्रभावित हुआ है।” न्यायालय की एक अन्य पीठ, एक याचिका पर, तोमर की एलएलबी डिग्री की वैधता का मामला देख रही है। याचिका में आरोप लगाया है कि तोमर ने बिहार के बिश्वनाथ सिंह इंस्टीट्यूट ऑफ लीगल स्टडी कॉलेज में एलएलबी पाठ्यक्रम में प्रवेश के लिए फर्जी स्नातक डिग्री का इस्तेमाल किया था। दिल्ली बार काउंसिल ने उत्तर प्रदेश के फैजाबाद स्थित राम मनोहर लोहिया अवध विश्वविद्यालय द्वारा सौंपे गए जवाब के आधार पर हाल ही में तोमर को नोटिस जारी किया था, जिसमें कहा गया था कि एलएलबी में दाखिला लेने के समय तोमर द्वारा सौंपी गई स्नातक डिग्री, अंकपत्र और रोल नंबर फर्जी हैं।

उत्तर प्रदेश

संभल हिंसा: 2500 लोगों पर केस, शहर में बाहरी की एंट्री पर रोक, इंटरनेट कल तक बंद

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संभल। संभल में जामा मस्जिद के सर्वे के दौरान रविवार को भड़की हिंसा के बाद सोमवार सुबह से पूरे शहर में तनाव का माहौल है। हिंसा प्रभावित इलाकों में कर्फ्यू जैसे हालात हैं। प्रशासन ने स्थिति नियंत्रण में लाने के लिए कड़े कदम उठाए हैं। डीआईजी मुनिराज जी के नेतृत्व में पुलिस बल ने हिंसा प्रभावित इलाकों में फ्लैग मार्च किया। शहर के सभी प्रमुख चौराहों पर बैरिकेडिंग की गई है, और प्रवेश मार्गों पर पुलिस तैनात है। पुलिस ने अभी तक 25 लोगों को गिरफ्तार कर लिया है। इसमें दो महिलाएं भी शामिल हैं। इंटरनेट अब कल तक बंद रहेगा।

इसके अलावा कोई भी बाहरी व्यक्ति, अन्य सामाजिक संगठन अथवा जनप्रतिनिधि जनपद संभल की सीमा में सक्षम अधिकारी की अनुमति के बिना एक दिसंबर तक प्रवेश नहीं करेगा। ये आदेश तत्काल प्रभाव से लागू होगा। इस आदेश का उल्लंघन भारतीय न्याय संहिता, 2023 की धारा 223 के अंतर्गत दंडनीय अपराध होगा। इसके अलावा संभल और आसपास के क्षेत्रों में इंटरनेट बंद कर दिया गया है। साथ ही स्कूलों को बंद करने का भी आदेश जारी किया गया है। हिंसा मामले में 25 लोगों को गिरफ्तार किया गया है। इनके साथ 2500 लोगों पर भी केस दर्ज किया गया है। साथ ही पुलिस की तरफ से दुकानों को बंद नहीं किया गया है।

इसके साथ ही संभल पुलिस ने समाजवादी पार्टी के सांसद जियाउर्रहमान बर्क और विधायक नवाब इकबाल महमूद के बेटे सुहैल इकबाल पर एफआईआर दर्ज की है। दोनों नेताओं पर संभल में हिंसा भड़काने के मामले में एफआईआर दर्ज की गई है। उल्लेखनीय है कि रविवार (24 नवंबर) की सुबह संभल की शाही जामा मस्जिद का सर्वेक्षण किया गया था। इस दौरान मस्जिद के पास अराजक तत्वों ने सर्वेक्षण टीम पर पथराव कर दिया। देखते ही देखते माहौल बिगड़ता चला गया। पुलिस ने हालात को काबू करने के लिए आंसू गैसे के गोले छोड़े और अराजक तत्वों को चेतावनी भी दी। हालांकि, हिंसा के दौरान चार लोगों की मौत हो गई।

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