प्रादेशिक
केरल ने धर्मनिरपेक्ष राजनीति के लिए मतदान किया : आईयूएमएल
केरल | इंडियन यूनियन मुस्लिम लीग (आईयूएमएल) के विधायक पी.के. कुन्हलिकुट्टी, जिन्होंने सोमवार को केरल की मल्लपुरम लोकसभा सीट पर जीत हासिल कर ली, का कहना है कि ‘शिक्षित केरल ने धर्मनिरपेक्ष राजनीति के लिए मतदान किया है’। आईयूएमएल के दिग्गज नेता ने 1,71,038 लाख वोटों के अंतर से जीत दर्ज की है। उन्हें 5,15,330 लाख वोट मिले हैं।
उत्साहित कुन्हलिकुट्टी ने संवाददाताओं से कहा, “मैं यही कहूंगा कि शिक्षित केरल ने धर्मनिरपेक्ष राजनीति के लिए मतदान किया है। केरल ने कभी भी सांप्रदायिक आधार पर मतदान नहीं किया। बल्कि यहां हमेशा राजनीतिक आधार पर मतदान हुआ है।”
उन्होंने कहा, “भाजपा को सबसे बड़ा नुकसान हुआ है। आईयूएमएल की बात करें तो हम दो विधानसभा क्षेत्रों – पेरिंथलमन्ना और मनकडा में सशक्त रूप से लौटे हैं।”
आईयूएलएस 2016 के विधानसभा चुनाव में केवल इन्हीं दो सीटों पर जीत पाई थी। कुन्हलिकुट्टी ने कहा, “इस बार वहां हमारा प्रदर्शन काफी बेहतर हुआ है। इससे साफ जाहिर है कि वाम मोर्चा ने बेहद खराब प्रदर्शन किया है।”
हालांकि, 2014 के लोकसभा चुनाव में तत्कालीन आईयूएमएल उम्मीदवार ई.अहमद 1.94 लाख से भी अधिक वोटों के अंतर से जीते थे। मल्लपुरम सीट अहमद के निधन से रिक्त हो गई थी।
माकपा के एम.बी. फैजल को 3,44,307 वोट हासिल हुए, जबकि भाजपा के एन. श्रीप्रकाश 65,675 वोटों से तीसरे स्थान पर काफी पीछे रह गए। कुन्हलिकुट्टी को 55.04 प्रतिशत वोट मिले हैं, जबकि अहमद को 51.28 प्रतिशत वोट हासिल हुए थे।
वाम मोर्चा का वोट प्रतिशत 2014 के 28.47 प्रतिशत से बढ़कर 36.7 प्रतिशत हो गया। वहीं भाजपा का वोट प्रतिशत 7.59 प्रतिशत से गिरकर 7.01 प्रतिशत ही रहा। इस सीट के लिए 12 अप्रैल को वोट डाले गए थे, जिनमें 71.33 प्रतिशत मतदान हुआ था।
उत्तर प्रदेश
संभल हिंसा: 2500 लोगों पर केस, शहर में बाहरी की एंट्री पर रोक, इंटरनेट कल तक बंद
संभल। संभल में जामा मस्जिद के सर्वे के दौरान रविवार को भड़की हिंसा के बाद सोमवार सुबह से पूरे शहर में तनाव का माहौल है। हिंसा प्रभावित इलाकों में कर्फ्यू जैसे हालात हैं। प्रशासन ने स्थिति नियंत्रण में लाने के लिए कड़े कदम उठाए हैं। डीआईजी मुनिराज जी के नेतृत्व में पुलिस बल ने हिंसा प्रभावित इलाकों में फ्लैग मार्च किया। शहर के सभी प्रमुख चौराहों पर बैरिकेडिंग की गई है, और प्रवेश मार्गों पर पुलिस तैनात है। पुलिस ने अभी तक 25 लोगों को गिरफ्तार कर लिया है। इसमें दो महिलाएं भी शामिल हैं। इंटरनेट अब कल तक बंद रहेगा।
इसके अलावा कोई भी बाहरी व्यक्ति, अन्य सामाजिक संगठन अथवा जनप्रतिनिधि जनपद संभल की सीमा में सक्षम अधिकारी की अनुमति के बिना एक दिसंबर तक प्रवेश नहीं करेगा। ये आदेश तत्काल प्रभाव से लागू होगा। इस आदेश का उल्लंघन भारतीय न्याय संहिता, 2023 की धारा 223 के अंतर्गत दंडनीय अपराध होगा। इसके अलावा संभल और आसपास के क्षेत्रों में इंटरनेट बंद कर दिया गया है। साथ ही स्कूलों को बंद करने का भी आदेश जारी किया गया है। हिंसा मामले में 25 लोगों को गिरफ्तार किया गया है। इनके साथ 2500 लोगों पर भी केस दर्ज किया गया है। साथ ही पुलिस की तरफ से दुकानों को बंद नहीं किया गया है।
इसके साथ ही संभल पुलिस ने समाजवादी पार्टी के सांसद जियाउर्रहमान बर्क और विधायक नवाब इकबाल महमूद के बेटे सुहैल इकबाल पर एफआईआर दर्ज की है। दोनों नेताओं पर संभल में हिंसा भड़काने के मामले में एफआईआर दर्ज की गई है। उल्लेखनीय है कि रविवार (24 नवंबर) की सुबह संभल की शाही जामा मस्जिद का सर्वेक्षण किया गया था। इस दौरान मस्जिद के पास अराजक तत्वों ने सर्वेक्षण टीम पर पथराव कर दिया। देखते ही देखते माहौल बिगड़ता चला गया। पुलिस ने हालात को काबू करने के लिए आंसू गैसे के गोले छोड़े और अराजक तत्वों को चेतावनी भी दी। हालांकि, हिंसा के दौरान चार लोगों की मौत हो गई।
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