Connect with us
https://aajkikhabar.com/wp-content/uploads/2020/12/Digital-Strip-Ad-1.jpg

मुख्य समाचार

नेपाल के प्रधानमंत्री अगले सप्ताह चीन जाएंगे

Published

on

Loading

बीजिंग, 13 जून (आईएएनएस)| नेपाल के प्रधानमंत्री के. पी. शर्मा ओली अगले सप्ताह पांच दिन के चीन दौरे पर जाने वाले हैं। दोबारा नेपाल की सत्ता संभालने पर बतौर प्रधानमंत्री उनकी यह भारत के बाद दूसरी औचारिक विदेश यात्रा होगी।

बीजिंग के समर्थक माने जाने वाले ओली 19-24 जून के बीच चीन दौरे पर होंगे। इस दौरान वह चीन के राष्ट्रपति शी जिनपिंग और प्रधानमंत्री ली केकियांग से मुलाकात करेंगे।

विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता गेंग शुआंग ने यहां बुधवार को बताया, चीन और नेपाल बहुग्राही व समर्थक साझेदार रहे हैं और इनकी मैत्री कई पीढ़ियों से है। इनके संबंधों में लगातार तीव्र गति से विस्तार हुआ है।

ओली के फरवरी में नेपाल की सत्ता में दोबारा काबिज होने के बाद उनका यह पहला औपचारिक चीन दौरा है।

गेंग ने कहा, दोनों देश अहम हितों के मसले पर एक दूसरे का समर्थन करते रहे हैं। सभी मोर्चो पर हमारे परस्पर लाभकारी सहयोग में इजाफा हुआ है। नेपाल में राजनीतिक परिवर्तन के बाद ओली का पहला औपचारिक दौरा हो रहा है, इसलिए इस दौरान दोनों पक्षों के पास दोबारा विकासपरक द्विपक्षीय संबंधों की योजना तय करने के लिए महत्वपूर्ण अवसर होंगे।

उन्होंने कहा, चीन बेल्ट एंड रोड पहल के तहत नेपाल के साथ अपने राजनीतिक सहयोग को मजबूत करने के साथ-साथ रानीतिक, आर्थिक और भूकंप के बाद अवसंरचना निर्माण में सहयोग बढ़ाना चाहता है।

ओली के पहले कार्यकाल में 2015 में काठमांडू के इसके परंपरागत सहयोगी नई दिल्ली के साथ संबंध नये संविधान बनाने को लेकर बिगड़ गए थे, जिसके चलते भारत के साथ इसकी सीमा की नाकेबंदी की स्थिति पैदा हो गई थी।

ओली ने उस नाकेबंदी के लिए भारत को दोषी ठहराते हुए नेपाल की अंदरूनी राजनीति में दखल देने का आरोप लगाया था। उसी समय से ओली को बीजिंग का समर्थक माना जाता है, क्योंकि उन्होंने चीन के साथ अचानक कई परियोजनाओं पर हस्ताक्षर किए थे।

नेपाल ने चीन के बेल्ट व रोड परियोजना का अनुमोदन कर बीजिंग से सबसे ज्यादा विदेशी मदद प्राप्त की।

Continue Reading

नेशनल

क्या रद्द होगी राहुल गांधी की भारतीय नागरिकता ?

Published

on

Loading

नई दिल्ली। राहुल गांधी के पास ब्रिटेन की भी नागरिकता है और इसलिए उनकी भारतीय नागरिकता रद्द कर दी जानी चाहिए.’ एस विग्नेश शिशिर ने यह दावा करते हुए एक जनहित याचिका दायर की है, जिस पर इलाहाबाद हाईकोर्ट ने केंद्रीय गृह मंत्रालय को फैसला करने का निर्देश दिया. इस दौरान केंद्र सरकार की तरफ से पेश डिप्टी सॉलिसिटर जनरल ने कहा, ‘याचिकाकर्ता की तरफ से कुछ दस्तावेज गृह मंत्रालय को मिले हैं और वह इस पर विचार कर रहा है कि राहुल गांधी की नागरिकता रद्द की जानी चाहिए या नहीं.’

जस्टिस एआर मसूदी और सुभाष विद्यार्थी की डिविजन बेंच ने अपर सॉलिसिटर जनरल एसबी पांडेय को निर्देश दिया कि वो तीन हफ्ते के अंदर इस बारे में गृह मंत्रालय से निर्देश प्राप्त करें और अगली तारीख पर इसका जवाब पेश करें. इस मामले की सुनवाई अब 19 दिसबंर को रखी गई है.

मामले की पूरी जानकारी

राहुल गांधी की नागरिकता से जुड़ा विवाद तब शुरू हुआ जब लखनऊ हाईकोर्ट में एक याचिका दायर की गई, जिसमें आरोप लगाया गया कि राहुल गांधी के पास ब्रिटिश नागरिकता है। याचिकाकर्ता एस विग्नेश शिशिर ने दावा किया कि उन्होंने गहन जांच के बाद यह निष्कर्ष निकाला है कि राहुल गांधी के पास यूके की नागरिकता है। शिशिर ने यह भी कहा कि उनके पास कुछ गोपनीय जानकारी है, जिससे यह साबित होता है कि राहुल गांधी का विदेशी नागरिकता प्राप्त करना कानून के तहत भारतीय नागरिकता को रद्द करने का कारण हो सकता है।

पहले इस मामले में शिशिर की याचिका को जुलाई 2024 में खारिज कर दिया गया था, लेकिन इसके बाद शिशिर ने केंद्रीय गृह मंत्रालय के पास शिकायत की थी, जिसमें कोई एक्शन नहीं लिया गया। फिर से इस मामले को अदालत में लाया गया और अब गृह मंत्रालय से राहुल गांधी की नागरिकता पर स्पष्टीकरण मांगा गया है।

Continue Reading

Trending