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खेल-कूद

इंटरकोंटिनेंटल कप 2018 का चैंपियन बना भारत, पर भारतीय कप्तान सुनील छेत्री की जादूगरी ने यह क्या कर डाला…

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हीरो इंटरकोंटिनेंटल कप फाइनल 2018 में भारतीय कप्तान सुनील छेत्री (33 वर्ष) ने जैसे ही दूसरा गोल किया वैसे ही वे अंतर्राष्ट्रीय फुटबाल में अपने देश के लिए सर्वाधिक गोल करने के मामले में अर्जेटीना के महान खिलाड़ी लियोनल मेसी की बराबरी कर ली। अब उनकी चुनौती रहेगी पुर्तगाल के क्रिस्टीयानो रोनाल्डो को। क्रिस्टीयानो रोनाल्डो (81 गोल, 150 मैच) अभी भी पहले नंबर पर बने हुए हैं।

हीरो इंटरकोंटिनेंटल कप फाइनल 2018 में भारतीय टीम

मुंबई एरीना में रविवार को हीरो इंटरकोंटिनेंटल कप फाइनल 2018 था। कप के लिए भारत का मुकाबला केन्या के संग हुआ, जिसमें करिश्माई कप्तान सुनील छेत्री के दो शानदार गोलों की बदौलत भारतीय फुटबाल टीम ने हीरो इंटरकोंटिनेंटल कप का खिताब अपने नाम कर लिया।

सुनील छेत्री और लियोनल मेसी ने अपने देश के लिए कुल 64 गोल किए हैं।

फाइनल मुकाबले में भारत की शुरुआत बेहतरीन रही और मेजबान टीम ने पहले मिनट से ही मैच पर अपना दबदबा बनाने का प्रयास किया।मैच के आठवें मिनट में अनिरुद्ध थापा ने बॉक्स के दाएं छोर से फ्री-किक पर चतुराई भरा पास दिया, जिसे गोल में डालकर सुनील छेत्री ने भारत को 1-0 की बढ़त दिला दी।

एक गोल से पिछड़ने के बाद मेहमान टीम ने मिडफील्ड में भारतीय टीम पर दबाव बनाने की कोशिश की, लेकिन भारतीय मिडफील्ड एवं डिफेंस ने अपना संयम नहीं खोया और केन्या को गोल करने का एक भी साफ मौका नहीं दिया।

भारतीय डिफेंस की जान संदेश झिंगन ने 29वें मिनट में भारतीय कप्तान को एक लंबा पास दिया, जिसे गोल में डालकर सुनील छेत्री ने भारत की बढ़त को दोगुना कर दिया।

दूसरे हाफ में केन्या ने अपना स्वाभाविक खेल दिखाया और अपनी शरीरिक शक्ति का प्रदर्शन किया। केन्या को अपना स्वाभाविक खेल खेलने का लाभ भी मिला और 77वें मिनट में मेहमान टीम को फ्री-किक मिली, लेकिन गोलकीपर गुरप्रीत सिंह संधू ने भारत की बढ़त को कम नहीं होने दिया। केन्या ने बढ़त को कम करने के लिए कई लंबे पास दिए, लेकिन वे गोल करने में कामयाब नहीं हो पाए।

सुनील छेत्री ने पूरे टूर्नामेंट में बेहतरीन प्रदर्शन किया। उन्होंने कुल आठ गोल किए और भारत को खिताब तक पहुंचाया। भारत की डिफेंस ने भी चार देशों की इस प्रतियोगिता में दमदार प्रदर्शन किया और चार मैचों में केवल एक गोल खाया।

पूर्व कप्तान बाईचुंग भूटिया के बाद मैचों का शतक लगाने वाले सुनील छेत्री दूसरे भारतीय खिलाड़ी हैं। (इनपुट आईएएनएस)

खेल-कूद

ऑस्ट्रेलिया के विकेटकीपर बल्लेबाज मैथ्यू वेड ने इंटरनेशनल क्रिकेट से लिया संन्यास

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सिडनी। ऑस्ट्रेलिया के विकेटकीपर बल्लेबाज मैथ्यू वेड ने अंतरराष्ट्रीय क्रिकेट से संन्यास के लेने की घोषणा की है। वह पाकिस्तान के खिलाफ आगामी टी-20 श्रृंखला में ऑस्ट्रेलिया के कोच के रूप में नजर आएंगे। वेड ने कहा कि मुझे पता था कि टी-20 विश्वकप के बाद अंतरराष्ट्रीय क्रिकेट में मेरा समय समाप्त होने वाला है। अंतरराष्ट्रीय क्रिकेट से संन्यास और कोचिंग की भूमिका के संबंध में पिछले छह महीनों से मेरी जॉर्ज (बेली) और एंडर्यू (मक्डॉनल्ड) से चर्चा हो रही थी। पिछले कुछ वर्षों से मैं कोचिंग के बारे में सोच रहा था और मैं इस नई भूमिका के लिए काफी उत्सुक और आभारी भी हूं।

वेड ने इससे पहले मार्च में टेस्ट क्रिकेट से संन्यास ले लिया था। जून में हुए टी-20 विश्वकप में ऑस्ट्रेलियाई टीम का हिस्सा थे और इसके बाद सितंबर में इंग्लैंड दौरे पर वेड को ऑस्ट्रेलिया की टीम में जगह नहीं मिली। वेड बीबीएल और अन्य फ्रैंचाइजी टी-20 टूर्नामेंट खेलते रहेंगे। वह बीबीएल में होबार्ट हरिकेंस का हिस्सा हैं। वह पाकिस्तान के खिलाफ टी-20 श्रृंखला में आंद्रे बोरोवेक की अगवाई वाले कोचिंग दल का हिस्सा होंगे।

अनौपचारिक रूप से वह एकदिवसीय श्रृंखला के दौरान भी ऑस्ट्रेलिया के कोचिंग दल से जुड़े रहेंगे। वहीं एंडर्यू मक्डॉनल्ड की अगुवाई वाला कोचिंग दल भारत के खिलाफ टेस्ट श्रृंखला की तैयारी करेगा। वेड ने ऑस्ट्रेलिया के लिए 2011 से 2024 के बीच कुल 36 टेस्ट, 97 एकदिवसीय और 92 टी-20 मैच खेले। संयुक्त अरब अमीरात (यूएई) में ऑस्ट्रेलिया की टी-20 विश्वकप जीत में उन्होंने अहम भूमिका निभाई थी। सेमीफाइनल में उन्होंने पाकिस्तान के खिलाफ 17 गेंदों पर 41 रन बनाए थे।

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