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प्रादेशिक

योगी सरकार पीआरडी जवानों को देगी अधिक जिम्मेदारी व सुविधाएं

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लखनऊ| ग्रामीणों में आत्मबल एवं साम्प्रदायिक सौहार्द स्थापित करने व आत्म सुरक्षा एवं अपराधों की रोकथाम करने की दिशा में उल्लेखनीय कार्य कर रहे प्रांतीय रक्षक दल को सुदृढ़ करने और इसके जवानों को बेहतर सुविधाएं देने के लिए प्रदेश सरकार ने इनकी ड्यूटी लगाए जाने व ड्यूटी भत्ता बढ़ाए जाने का निर्णय लिया है।

ज्ञातव्य है कि प्रान्तीय रक्षक दल (पीआरडी) का गठन वर्ष 1947 में किया गया था। इसके माध्यम से ग्रामीण क्षेत्रों में युवाओं के शारीरिक सम्बर्द्धन एवं युवा आन्दोलन को सुदृढ करने का कार्य किया जाता है जिससे उनमें आत्म निर्भरता एवं अनुशासन को मजबूत किया जा सके।

मुख्य मंत्री योगी आदित्यनाथ ने पहले भी स्पष्ट किया है कि उनकी सरकार पीआरडी और मंगल दल को सुदृढ़ करने के प्रति कृतसंकल्प है।
वर्तमान में, प्रदेश के सभी जिलों में कुल प्रशिक्षित जवानों की संख्या 43835 है, जिसमे सक्रिय जवानों की कुल संख्या 30004 है। इसमे 28054 पुरुष और 1950 महिला है। पीआरडी के जवानों को रु 395 प्रतिदिन की दर से ड्यूटी भत्ते का भुगतान किया जाता है, जो पूर्व में रु 375 हुआ करता था। कुल 31,294 जवानों का ब्योरा व भत्ते के भुगतान से जुड़ी सूचना विभागीय आनलाइन पोर्टल पर डाली जा चुकी है और आनलाइन ड्यूटी लगाने का कार्य समस्त जनपदों में प्रारम्भ किया जा चुका है।

विगत 5 वर्षों में, पीआरडी के जवानों को बैंड, वर्दी एवं प्रशिक्षण, प्रान्तीय रक्षक दल स्थापना दिवस समारोह तथा जवानों को मासिक परेड एवं मार्ग व्यय हेतु कार्यवाही की गयी और कल्याण कोष की पूँजी में वृद्धि हेतु धनराशि की व्यवस्था भी कराई गई है।

विभागीय कार्य योजना के अनुसार, आगामी 100 दिनों में, पीआरडी के 20,000 जवानों की प्रत्येक माह ड्यूटी लगाए जाने का लक्ष्य रखा गया है। आगामी 2 वर्षों में, यह संख्या बढ़ा कर 22,500 प्रत्येक माह किये जाने, और उसके बाद, 5 वर्षों में यह संख्या 25,000 प्रति माह किया जाने की योजना है। साथ ही, राष्ट्रीय रक्षा यूनिवर्सिटी, गांधीनगर, गुजरात, द्वारा प्रायोजित पीआरडी जवानों का प्रशिक्षण के प्रस्ताव की स्वीकृति ली जाएगी। आगामी 6 माह में पीआरडी में एनरोलमेंट हेतु 1400 युवाओं का चयन किया जाएगा। पीआरडी को प्रोत्साहन देते हुए प्रदेश सरकार ने यह भी निर्णय लिया है कि प्राइवेट सेक्टर में ड्यूटी करने हेतु पीआरडी एजेंसी की स्थापना की जाएगी, जिसका वित्त पोषण निजी संसाधनों से किया जाएगा। यह कार्य दो वर्षों में पूरा किया जाना प्रस्तावित है, और इसी अवधि में लखनऊ में विभागीय भूमि पर पीआरडी केन्द्रीय प्रशिक्षण संस्थान का निर्माण भी पूरा किया जाएगा।
पीआरडी जवानों को बेहतर सुविधाएं और उनकी जिम्मेदारी के अनुरूप इन्सेनिव देने की दिशा में, उनके दैनिक ड्यूटी भत्ते में बढ़ोतरी, और उन्हे प्रधान मंत्री दुर्घटना बीमा योजना और प्रधान मंत्री जीवन ज्योति बीमा योजना से आच्छादित किये जाना का भी निर्णय लिया गया है।

योगी सरकार आगामी 5 वर्षों में लखनऊ मुख्यालय परिसर में पीआरडी जवानों के रहने हेतु बैरक और आवास का निर्माण पूर्ण करेगी, तथा विभागीय शस्त्रों का आधुनिकीकरण करते हुए, पीआरडी जवानों को शस्त्र प्रशिक्षण भी उपलब्ध कराया जाएगा।

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उत्तर प्रदेश

कासगंज में चंदन गुप्ता हत्याकांड के सभी 28 दोषियों को NIA की स्पेशल कोर्ट ने सुनाई उम्रकैद की सजा

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लखनऊ। यूपी के कासगंज में तिरंगा यात्रा के दौरान हुए दंगे में मारे गए चंदन गुप्ता हत्याकांड के सभी 28 दोषियों को NIA स्पेशल कोर्ट ने आजीवन कारावास की सजा सुनाई है। कोर्ट ने सभी दोषियों को गुरुवार को दोषी करार दिया था और शुक्रवार को सजा का ऐलान किया। कासगंज में 26 जनवरी 2018 को तिरंगा यात्रा के दौरान चंदन गुप्ता की हत्या कर दी गई थी।

जिन दोषियों को उम्रकैद का सजा सुनाई गई है उनमें वसीम जावेद उर्फ वसीम, नसीम जावेद,मोहम्मद जाहिद कुरैशी उर्फ जाहिद उर्फ जग्गा, आसिफ कुरैशी उर्फ हिटलर, असलम कुरैशी, अकरम, तौफीक, खिल्लन, शवाब अली खान, राहत ,सलमान ,मोहसिन, आसिफ जिमवाला, साकिब, बबलू, निशु उर्फ जीशान, वासिफ, इमरान, शमशाद ,जफर, साकिर ,खालिद परवेज ,फैजान ,इमरान ,साकिर, मोहम्मद आमिर रफी, कासगंज जेल में बंद मुनाजिर और कोर्ट में सरेंडर हुए सलीम शामिल हैं।

चंदन की हत्या के बाद हुए थे कई दिन दंगे

विश्व हिंदू परिषद और हिंदू युवा वाहिनी के कार्यकर्ता करीब 100 मोटर साइकिलों पर तिरंगा और भगवा झंडा लेकर निकले थे। इस तिरंगा यात्रा में ABVP कार्यकर्ता चंदन गुप्ता भी शामिल था। यात्रा के दौरान कुछ मुस्लिम युवकों ने झड़प हो गई थी। इसके बाद दंगा भड़क गया था। इसमें चंदन गुप्ता की गोली मारकर हत्या कर दी गई थी उसकी मौत के बाद कासगंज में हालात कई दिनों तक खराब हो थे। कासगंज में करीब एक हफ्ते तक दंगे हुए थे।

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