उत्तर प्रदेश
महिला एवं बाल गृहों में दिखी दीपावली की रौनक, सीएम योगी के निर्देश पर अधिकारियों ने बच्चों संग जलाए दीप
लखनऊ। दीपावली का पर्व इस बार प्रदेश के महिला एवं बाल गृहों में एक अलग अंदाज में मनाया गया। मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के निर्देश पर प्रदेश के कई प्रशासनिक अधिकारियों ने इन गृहों को गोद लेकर बच्चों और महिलाओं के साथ दीपावली का त्योहार मनाया। योगी सरकार की यह अनोखी पहल समाज सेवा की एक नई मिसाल पेश कर रही है, जहाँ अधिकारियों ने अपना व्यक्तिगत समय देकर इन बच्चों के जीवन में खुशियाँ बिखेरीं।
अधिकारियों ने निभाई समाज सेवा की अनूठी मिसाल
इस दीपावली, अधिकारियों ने अपने-अपने परिवार के साथ बाल गृहों में पहुँचकर बच्चों के साथ दीप जलाए, मिठाई बाँटी, और उनका हाल-चाल जाना। इस मौके पर इन गृहों में रह रहे बच्चों और महिलाओं के चेहरे पर भी पारिवारिक माहौल की रौनक दिखी। बच्चों ने बताया कि उनके लिए यह अनुभव बेहद खास था क्योंकि उन्होंने पहली बार इतने सारे लोगों के साथ उत्सव मनाया। अधिकारियों ने बच्चों के साथ समय बिताते हुए यह महसूस कराया कि वे भी समाज का महत्वपूर्ण हिस्सा हैं और उनकी खुशियाँ भी उतनी ही कीमती हैं जितनी किसी अन्य व्यक्ति की।
बता दें कि मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के निर्देश पर मुख्य सचिव मनोज कुमार सिंह ने एक शासनादेश जारी कर अधिकारियों को प्रदेश भर में संचालित महिला एवं बाल गृहों को गोद लेकर उनके साथ त्योहार पर समय बिताने का निर्देश दिया था। इसके बाद, इन गृहों में एक नई ऊर्जा और खुशियों का संचार हुआ। बच्चों और महिलाओं को ऐसा लगने लगा कि वे भी किसी परिवार का हिस्सा हैं। अधिकारियों ने इन गृहों में पहुचकर न केवल औपचारिक निरीक्षण किया, बल्कि बच्चों के साथ भावनात्मक रूप से जुड़ने की कोशिश की। इस पहल के चलते दीपावली का पर्व इन बच्चों के लिए एक यादगार अनुभव बन गया।
अधिकारियों ने बच्चों की शैक्षिक और आर्थिक सहयोग का किया वादा
दीपावली के इस अवसर पर केवल खुशियाँ ही नहीं बाँटी गईं, बल्कि अधिकारियों ने इन बच्चों की शिक्षा में सहयोग करने का भी संकल्प लिया। शासनादेश में स्पष्ट किया गया है कि अधिकारी अपने स्तर पर बच्चों की पढ़ाई में मदद कर सकते हैं। कई अधिकारियों ने इन बच्चों को ट्यूशन, स्टेशनरी, स्कूल बैग, और अन्य शैक्षिक सामग्री प्रदान करने का भी वादा किया। सीएम योगी की इस पहल का उद्देश्य केवल एक औपचारिकता नहीं है, बल्कि एक ऐसा प्रयास है जो समाज को इन बच्चों और महिलाओं के प्रति जिम्मेदार बनाता है। त्योहारों को मनाने का यह अनूठा तरीका समाज में समरसता का संदेश देता है। अधिकारियों ने न केवल दीप जलाए, बल्कि बच्चों के साथ मिलकर रंगोली बनाई और पटाखों की जगह फूलझड़ियों से दीपावली मनाई। इस पहल का एक महत्वपूर्ण संदेश यह है कि इन बच्चों को भी समाज से जोड़ा जाए और उन्हें यह महसूस कराया जाए कि वे भी इस समाज का अभिन्न हिस्सा हैं।
समाज और प्रशासन का नया सामंजस्य
दीपावली पर इस पहल से समाज और प्रशासन के बीच एक नए सामंजस्य का विकास हुआ है। इस पहल ने अधिकारियों के मन में सेवा की भावना को और गहरा किया है। उनके द्वारा किया गया यह प्रयास न केवल इन बच्चों और महिलाओं के जीवन में खुशियाँ भर रहा है, बल्कि समाज को यह सिखा रहा है कि हर व्यक्ति का योगदान महत्वपूर्ण है। यह एक ऐसा कदम है जो समाज सेवा के एक नए स्वरूप को दर्शाता है और भविष्य में इसे अधिक व्यापक स्तर पर लागू करने का संदेश देता है।
महिला कल्याण विभाग की निदेशक संदीप कौर ने बताया कि इस पहल का उद्देश्य महिला एवं बाल गृहों में रह रहे बच्चों और महिलाओं को भावनात्मक और शैक्षणिक सहयोग प्रदान करना है। उन्होंने कहा कि अधिकारियों द्वारा दिया गया यह समय बच्चों और महिलाओं के लिए महत्वपूर्ण है, जो उन्हें एक परिवार की अनुभूति कराता है। इस कदम ने समाज सेवा का एक नया उदाहरण पेश किया है, जहाँ समाज के अन्य वर्ग भी प्रेरित होकर अपनी ओर से इन बच्चों की सहायता कर सकते हैं।
प्रदेश में महिला एवं बाल गृहों में दीपावली का यह विशेष आयोजन प्रशासनिक अधिकारियों द्वारा समाज सेवा की भावना को बढ़ावा देने का एक अनूठा उदाहरण है। इस पहल ने बच्चों और महिलाओं के जीवन में खुशियों और सकारात्मकता का संचार किया है। इस तरह के कार्यक्रमों को आगे भी त्योहारों पर निरंतर जारी रखने की योजना है।
उत्तर प्रदेश
उत्तर प्रदेश में हुई 559 वर्ग किमी. वन व वृक्ष आच्छादन की वृद्धि
लखनऊ | मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के नेतृत्व में पिछले साढ़े सात वर्ष से चल रहा ‘पेड़ लगाओ-पेड़ बचाओ जनअभियान’ रंग ले आया। 2024 में 36.80 करोड़ से अधिक पौधरोपण करने वाले उत्तर प्रदेश में आईएसएफआर 2023 के अनुसार 559 वर्ग किमी. वन व वृक्ष आच्छादन से अधिक की वृद्धि हुई है। उत्तर प्रदेश से आगे केवल छत्तीसगढ़ है, जबकि अन्य सभी राज्य उत्तर प्रदेश से पीछे हैं। इस उपलब्धि पर मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने वन विभाग के अधिकारियों व कर्मचारियों के नेतृत्व में आए इस सकारात्मक पहल की बधाई दी। वहीं केंद्रीय वन-पर्यावरण मंत्री भूपेंद्र यादव ने भी इस उपलब्धि पर उत्तर प्रदेश को शुभकामना दी।
देहरादून में भारत वन स्थिति रिपोर्ट (आईएसएफआर) 2023 की रिपोर्ट प्रस्तुत की गई
🌳भारत का वन एवं वृक्ष आवरण 8,27,357 वर्ग किमी है, जो देश के भौगोलिक क्षेत्र का 25.17% है। इसमें 7,15,343 वर्ग किमी (21.76%) वन आवरण और 1,12,014 वर्ग किमी (3.41%) वृक्ष आवरण है।
🌳2021 के आकार-फ़ाइल आधारित मूल्यांकन की तुलना में वन एवं वृक्ष आवरण में 1,445 वर्ग किमी की वृद्धि हुई है, जिसमें वन आवरण में 156 वर्ग किमी और वृक्ष आवरण में 1289 वर्ग किमी की वृद्धि शामिल है।
🌳वन एवं वृक्ष आवरण में अधिकतम वृद्धि दिखाने वाले शीर्ष चार राज्यों में उत्तर प्रदेश दूसरे स्थान पर है। छत्तीसगढ़ (684 वर्ग किमी) के साथ शीर्ष पर है। ओडिशा का क्षेत्रफल (558.57 वर्ग किमी), राजस्थान (394 वर्ग किमी) व झारखंड (286.96 वर्ग किमी.) है।
इनसेट
इन राज्यों में हुई वृद्धि
राज्य एरिया
छत्तीसगढ़ 683.62 वर्ग किमी.
उत्तर प्रदेश 559.19 वर्ग किमी.
ओडिशा 558.57 वर्ग किमी.
राजस्थान 394.46 वर्ग किमी.
झारखंड 286.96 वर्ग किमी.
‘हरित उत्तर प्रदेश’ बनने की दिशा में तीव्रता से गतिमान है नया उत्तर प्रदेश:सीएम योगी
मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने अपने सोशल मीडिया एकाउंट ‘एक्स’ पर पोस्ट किया। उन्होंने लिखा कि नया उत्तर प्रदेश ‘हरित उत्तर प्रदेश’ बनने की दिशा में तीव्रता से गतिमान है। आईएसएफआर 2023 के अनुसार उत्तर प्रदेश में हुई 559 वर्ग कि.मी. की वन और वृक्ष आच्छादन की ऐतिहासिक वृद्धि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी जी के आह्वान ‘एक पेड़ मां के नाम’ और भारतीय दर्शन ‘माता भूमिः पुत्रोऽहं पृथिव्याः’ भाव से उत्तर प्रदेश वासियों के जुड़ाव का प्रतिफल है।
मानवता के कल्याण को समर्पित इस ऐतिहासिक उपलब्धि के लिए पौधरोपण अभियान से जुड़े सभी लोगों, प्रकृति प्रेमियों एवं प्रदेश वासियों को हार्दिक बधाई!
यूपी में लगाए गए 36.80 करोड़ से अधिक पौधे
मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के नेतृत्व में एक दिन (20 जुलाई) को 36.51 करोड़ पौधरोपण कर इतिहास रचने वाले उत्तर प्रदेश ने 30 सितंबर तक 36.80 करोड़ से अधिक पौधरोपण किए। साढ़े सात वर्ष में योगी आदित्यनाथ के नेतृत्व में 210 करोड़ पौधरोपण किये गए।
भारतीय वन सर्वेक्षण, देहरादून द्वारा वर्ष 2023 में प्रकाशित रिपोर्ट के परीक्षण करने पर उत्तर प्रदेश में वनावरण की स्थिति…
वनावरण
1. अति सघन वन 2,688.73 वर्ग कि०मी०
2. मध्यम सघन वन 4,001.41 वर्ग कि०मी०
3. खुला वन 8.355.66 वर्ग कि०मी०
4. कुल योग 15045.80 वर्ग कि०मी० (6.24%)
वृक्षावरण 8950.92 वर्ग कि0मी (3.72%)
कुल वनावरण व वृक्षावरण 23996.72 वर्ग कि0मी0 (9.96%)
भारतीय वन सर्वेक्षण, देहरादून द्वारा वर्ष 2021 (यथा संशोधित) में प्रकाशित रिपोर्ट में उत्तर प्रदेश से सम्बन्धित आंकड़े…
वनावरण
1. अति सघन वन 2655.29 वर्ग कि०मी०
2. मध्यम सघन वन 3995.53 वर्ग कि०मी०
3. खुला वन 8276.55 वर्ग कि०मी०
4. कुल योग 14927.37 वर्ग कि०मी० (6.20%)
5-वृक्षावरण 8510.16 वर्ग कि0मी0 (3.53%)
6-कुल वनावरण व वृक्षावरण 23437.53 वर्ग कि0मी0.( 9.73%)
सर्वाधिक वृद्धि वाले उत्तर प्रदेश के पांच जनपद
1- झांसी – 8597 एकड़
2- अमरोहा – 7769 एकड़
3- इटावा – 7127 एकड़
4- कानपुर नगर – 6249 एकड़
5- बिजनौर – 3343 एकड
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