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प्रादेशिक

भाजपा का 2 सीटों के साथ मणिपुर विधानसभा में खाता खुला

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इंफाल| भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) ने मणिपुर विधानसभा के लिए हुए उपचुनाव में दो सीटों पर जीत दर्ज कर राज्य विधानसभा में अपना खाता खोल दिया है। दोनों सीटों पर मतदान 21 नवंबर को हुए थे। एक निर्वाचन अधिकारी के मुताबिक, भाजपा उम्मीदवार थोंगम विश्वजीत सिंह ने थोंगजू तथा खुमुकचाम जयकिशन ने थांगमेईबंद सीट पर जीत दर्ज की। दोनों सीटों पर सत्तारूढ़ कांग्रेस को मात खानी पड़ी है।

दल बदल विरोधी कानून के तहत 28 मई को विधानसभा अध्यक्ष लोकेश्वर सिंह ने ऑल इंडिया तृणमूल कांग्रेस के विधायकों -थोंगम विश्वजीत सिंह, खुमुकचाम जयकिशन तथा लुखोई सिंह- को अयोग्य घोषित कर दिया गया था, जिसके कारण उपचुनाव की नौबत आई।

मणिपुर उच्च न्यायालय ने हालांकि वांगोई निर्वाचन क्षेत्र से विधायक लुखोई सिंह के खिलाफ विधानसभा अध्यक्ष के आदेश पर रोक लगा दी है।

थांगमेईबंद में जयकिशन ने अपने निकटतम प्रतिद्वंद्वी ज्योतिम वैखोम को 1,907 मतों से हराया। इस सीट पर कुल 85 फीसदी मतदान हुआ था।

थोंगजू निर्वाचन क्षेत्र में विश्वजीत ने अपने निकटतम प्रतिद्वंद्वी कांग्रेस के विजय कोईजाम को 3,213 मतों के अंतर से हराया। विश्वजीत को 14,606 मत मिले थे, जबकि कोईजाम को 11,393 मत मिले थे। वहीं 78 मतदाताओं ने नोटा का बटन दबाया था। इस सीट पर रिकॉर्ड 92 फीसदी मतदान हुआ था।

मणिपुर भाजपा के प्रदेश अध्यक्ष चाओबा सिंह ने आईएएनएनस से कहा, “ओकराम इबोबी सिंह की सरकार में राज्य में कोई महत्वपूर्ण प्रगति नहीं हुई। दोनों निर्वाचन क्षेत्रों में मतदाताओं ने कांग्रेस को सिरे से खारिज कर दिया।”

वहीं कांग्रेस नेता वी.नारायणसामी ने टेलीफोन पर आईएएनएस से कहा, “हमारे उम्मीदवार उपचुनाव (मेघालय व मणिपुर) में हार गए हैं, जिसे लेकर हम बेहद चिंतित हैं। हम जल्द ही बैठक करेंगे और हार की समीक्षा करेंगे।”

उत्तर प्रदेश

अयोध्या में नाबालिग के साथ हुए दुष्कर्म कांड में डीएनए मैच न होने पर भड़के सपा सांसद अवधेश प्रसाद, भाजपा को बताया मुस्लिम विरोधी

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अयोध्या। अयोध्या में नाबालिग के साथ हुए दुष्कर्म कांड में आरोपी बनाए गए मोईद खान का डीएनए मैच न होने पर सपा सांसद अवधेश प्रसाद ने कहा कि भाजपा मुसलमान होने के कारण मोईद खान को बदनाम करना चाहती थी इसलिए इस मामले को उठाया गया। भाजपा सरकार मुस्लिम विरोधी है। दलित विरोधी है। संविधान और गरीब विरोधी है। हमारे नेता अखिलेश यादव को पहले भी शक था इसलिए उन्होंने डीएनए टेस्ट की मांग की थी। अब सच सामने आ गया है।

बता दें कि दुष्कर्म कांड को लेकर कराई गई डीएनए जांच में सपा नेता मोईद खान के नौकर राजू के साथ पीड़िता की डीएनए रिपोर्ट मैच हो गई है। हालांकि सपा नेता के साथ पीड़िता का डीएनए मैच नहीं हुआ, लेकिन सामूहिक दुष्कर्म के मामले में किसी एक आरोपी के साथ रिपोर्ट मैच हो जाने से अपराध की पुष्टि होती है। मेडिकल साइंस से जुड़े विशेषज्ञों के अनुसार यदि एक आरोपी 70 वर्ष का है और दूसरा 25 वर्ष का तो युवा आरोपी से डीएनए मैच होने की संभावना अधिक होती है।

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