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उत्तर प्रदेश

लाभार्थी वर्ग के बूते पीएम मोदी को 80 में 80 का गिफ्ट देंगे सीएम योगी

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लखनऊ। लोकसभा चुनावों की तारीखों का ऐलान हो गया है। सभी दल तैयारियों में जुट गए हैं। पीएम मोदी ने इस बार एनडीए को 400 के पार पहुंचाने का संकल्प लिया है और ये संकल्प उत्तर प्रदेश जैसे राज्य में अधिक से अधिक सीटें जीतकर ही संभव है। इसी के चलते इस बार पीएम मोदी और सीएम योगी 80 में 80 का नारा दे रहे हैं। सीएम योगी आदित्यनाथ को उत्तर प्रदेश में 100 प्रतिशत का स्ट्राइक रेट का पूरा भरोसा है और इसका आधार वो लाभार्थी वर्ग है, जिस तक सरकार ने अपने कार्यकाल के 7 वर्षों में केंद्र और राज्य की योजनाओं का शत प्रतिशत लाभ पहुंचाया है। यह वो वर्ग है जिसकी आबादी उत्तर प्रदेश में किसी भी जाति, समुदाय से कहीं अधिक है। 2022 विधानसभा चुनावों में इस वर्ग ने खुलकर सीएम योगी का समर्थन किया था और यही वर्ग एक बार फिर गेमचेंजर के रूप में पीएम मोदी को तीसरी बार केंद्र की सत्ता की चाभी सौंपने में मददगार बन सकता है।

राशन से लेकर रोजगार तक का किया गया मार्ग प्रशस्त

पीएम मोदी के मार्गदर्शन में सीएम योगी ने केंद्र और राज्य सरकार की योजनाओं को समाज के अंतिम पायदान तक बैठे व्यक्ति तक पहुंचाने का प्रयास किया है। सबसे ज्यादा 15 करोड़ वो लोग हैं जो केंद्र और राज्य सरकार की ओर से मुफ्त राशन का लाभ ले रहे हैं। यह लाभ किसी की जाति या धर्म पूछकर नहीं दिया जा रहा है, बल्कि बिना भेदभाव हर तबके और जरूरतमंद को इस योजना का फायदा मिल रहा है। कोरोना काल में लोगों को राहत देते हुए इस योजना की शुरुआत की गई थी, जो तब से लेकर अब तक बदस्तूर जारी है। इस लाभार्थी वर्ग ने 2022 चुनावों में सीएम योगी के समर्थन में मतदान किया था और अभी भी यह खुलकर समर्थन में खड़ा है। इसके अलावा राज्य में 1.75 करोड़ परिवार ऐसे हैं, जिन तक केंद्र सरकार की ओर से उज्ज्वला स्कीम के तहत एलपीजी कनेक्शन पहुंचाए गए हैं। यही नहीं मनरेगा स्कीम के जरिए बड़ी संख्या में यूपी में ग्रामीण इलाकों में लोगों को तात्कालिक रोजगार प्रदान किया गया था।

आवास, शौचालय से लेकर पेंशन तक का मिला लाभ

वो परिवार भी लाभार्थी वर्ग का हिस्सा हैं, जिन्हें प्रदेश में पीएम आवास योजना के तहत पक्के मकान बनाकर दिए गए हैं। योगी सरकार के कार्यकाल में करीब 56 लाख आवास बनाए गए हैं। ये आवास उन लोगों को दिए गए हैं, जिनके पास अपना मकान नहीं था और किराए के घरों में जीवनयापन कर रहे थे। योगी सरकार ने अभियान चलाकर ऐसे लोगों को उनके अपने आवास का तोहफा दिया और इसमें किसी तरह का भेदभाव नहीं किया गया। ये लाभार्थी वर्ग सीएम योगी के साथ खड़ा है। इसके अलावा पी.एम. स्वनिधि योजना के तहत 17 लाख स्ट्रीट वेंडर्स को ऋण वितरित किया गया है। 2.61 करोड़ शौचालयों का निर्माण कराया गया है। 66.59 लाख लाभार्थियों को स्वामित्व प्रमाण पत्र प्रदान किया गया है। 32.71 लाख निराश्रित महिलाओं को तथा 50.21 को वृद्धावस्था पेंशन का लाभ मिल रहा है। साथ ही साथ लाखों छात्र एवं छात्राओं को प्रति वर्ष करोड़ों रुपए छात्रवृत्ति का लाभ मिल रहा है। सरकार के प्रयास से प्रदेश के 6 करोड़ लोग बहुआयामी गरीबी रेखा से ऊपर उठे हैं। इसके अलावा हर घर नल योजना, विद्युतिकरण समेत अनेक योजनाओं का लाभ बड़ी संख्या में लोगों को मिला है।

खत्म हुआ लीकेज तो सीधे अकाउंट में पहुंचा पैसा

व्यापक पैमाने पर केंद्र और राज्य की योजनाओं से जुड़ने वाले लाभार्थी वर्ग से योगी सरकार ने संवाद भी स्थापित किया है। इसके तहत अभियान चलाकर हर लाभार्थी तक पहुंचा गया है और उसकी समस्याओं का निराकरण किया गया है। ये भी देखा गया है कि जिन योजनाओं को इस वर्ग तक पहुंचाया गया है वह जारी है या किसी तकनीकी कारण से इसमें दिक्कत आ रही है। ऐसी दिक्कतों को तत्काल प्रभाव से दूर किया गया है। योजनाओं के क्रियान्वयन में पारदर्शिता का पूरा ख्याल रखा गया, जिससे पात्र व्यक्ति को ही लाभ प्राप्त हो सके। इसके लिए डीबीटी की भी शुरुआत की गई, जिससे जो भी लाभ है वो सीधे लाभार्थी के खाते में पहुंचे। बीच में किसी भी तरह के लीकेज को खत्म किया गया, जिससे शत प्रतिशत लाभ सुनिश्चित हुआ।

IANS News

वसुधैव कुटुंबकम’ भारत का शाश्वत संदेश : योगी आदित्यनाथ

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लखनऊ। मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने ‘वसुधैव कुटुंबकम’ के आदर्श वाक्य के महत्व पर जोर देते हुए इसे भारत की वैश्विक मानवता के प्रति प्रतिबद्धता का प्रतीक बताया है। उन्होंने इसे भारत का शाश्वत संदेश बताते हुए कहा कि हमने हमेशा से शांति, सौहार्द और सह-अस्तित्व को प्राथमिकता दी है। सीएम योगी ने यह बात शुक्रवार को एलडीए कॉलोनी, कानपुर रोड स्थित सिटी मॉन्टेसरी स्कूल (सीएमएस) के वर्ल्ड यूनिटी कन्वेंशन सेंटर में विश्व के मुख्य न्यायाधीशों के 25वें अंतरराष्ट्रीय सम्मेलन का उद्घाटन करने के दौरान अपने संबोधन में कही। कार्यक्रम में 56 देशों के 178 मुख्य न्यायाधीश और डेलिगेट्स ने भाग लिया।

‘अनुच्छेद 51 की भावनाओं को विश्व शांति और सुरक्षा के लिए प्रेरक’
अपने संबोधन में मुख्यमंत्री ने भारत के संविधान के अनुच्छेद 51 की भावनाओं को विश्व शांति और सुरक्षा के लिए प्रेरक बताया। उन्होंने कहा कि यह अनुच्छेद सम्मानजनक अंतरराष्ट्रीय संबंधों को विकसित करने और संघर्षों को शांतिपूर्ण ढंग से हल करने के लिए नैतिक मार्ग का अनुसरण करने के लिए हम सभी को प्रेरित करता है। उन्होंने समारोह को प्रेरणादायक बताते हुए कहा कि 26 नवंबर 2024 को संविधान अंगीकरण के 75 वर्ष पूरे होंगे। यह संविधान के अंगीकृत होने के अमृत महोत्सव वर्ष की शुरुआत के दौरान आयोजित हो रहा है।

‘युद्ध समस्याओं का समाधान नहीं है’
योगी आदित्यनाथ ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी द्वारा संयुक्त राष्ट्र के ‘समिट ऑफ दि फ्यूचर’ में दिये गये संबोधन की चर्चा करते हुए कहा कि युद्ध समस्याओं का समाधान नहीं है। युद्ध ने दुनिया के ढाई अरब बच्चों के भविष्य को खतरे में डाला है। उन्होंने दुनिया के नेताओं से आग्रह किया कि वे एकजुट होकर आने वाली पीढ़ियों के लिए स्वच्छ, सुरक्षित और भयमुक्त समाज का निर्माण करें। मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने सम्मेलन को वैश्विक संवाद और सहयोग का मंच बताते हुए विश्वास व्यक्त किया कि अनुच्छेद 51 की भावना के अनुरूप यह आयोजन विश्व कल्याण के मार्ग को प्रशस्त करेगा। उन्होंने दुनिया भर के न्यायाधीशों से इस दिशा में सक्रिय योगदान देने का भी आह्वान किया।

‘भारत विश्व शांति और सुरक्षा के प्रति प्रतिबद्ध’
मुख्यमंत्री ने संविधान के अनुच्छेद 51 की चर्चा करते हुए कहा कि यह वैश्विक शांति और सौहार्द की दिशा में भारत की सोच को दर्शाता है। उन्होंने कहा कि यह अनुच्छेद संघर्षों के शांतिपूर्ण समाधान और सभी देशों के बीच सम्मानजनक संबंधों को बढ़ावा देने का संदेश देता है। मुख्यमंत्री ने भारत की भूमिका पर प्रकाश डालते हुए कहा कि संयुक्त राष्ट्र जैसे अंतरराष्ट्रीय मंचों पर भारत की सक्रिय भागीदारी से यह स्पष्ट होता है कि भारत विश्व शांति और सुरक्षा के प्रति प्रतिबद्ध है।

सीएमएस के संस्थापक को दी श्रद्धांजलि
सीएमएस के संस्थापक डॉ. जगदीश गांधी को श्रद्धांजलि अर्पित करते हुए मुख्यमंत्री ने कहा कि उनकी दूरदृष्टि और प्रयासों से यह सम्मेलन एक महत्वपूर्ण मंच बना है। उन्होंने डॉ. भारती गांधी और गीता गांधी को इस कार्यक्रम को अनवरत जारी रखने के लिए धन्यवाद दिया।

इस अवसर पर हंगरी की पूर्व राष्ट्रपति, हैती रिपब्लिक के पूर्व प्रधानमंत्री सहित दुनिया के 56 देशों से आए हुए न्यायमूर्तिगण, सीएमएस की संस्थापक निदेशक डॉ भारती गांधी, प्रबंधक गीता गांधी किंगडन समेत स्कूली बच्चे और अभिभावकगण मौजूद रहे।

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