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प्रादेशिक

बाढ़ को लेकर सरकार पहले से ही अलर्ट मोड पर थी: मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ

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UP government preprations for Ground Breaking Ceremony

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फर्रुखाबाद, कासगंज, शाहजहांपुर, 28 अगस्त। मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने सोमवार को प्रदेश के बाढ़ प्रभावित जनपदों फर्रुखाबाद, कासगंज और शाहजहांपुर का दौरा किया। इस दौरान उन्होंने बाढ़ प्रभावित क्षेत्रों का हवाई और स्थलीय सर्वेक्षण किया। साथ ही राहत बचाव कार्यों की समीक्षा की। इसके अलावा सीएम योगी ने बाढ़ पीड़ितों से भेंट की और राहत सामग्री का भी वितरण किया। सीएम योगी ने कहा कि आपदा के समय पूरी प्रतिबद्धता के साथ डबल इंजन की सरकार जनता के साथ खड़ी है। इसकी दृष्टिगत बाढ़ को लेकर सरकार पहले से ही अलर्ट मोड पर थी। इसको लेकर हमने जनप्रतिनिधियों निर्देश दे दिया था कि पूरी संवेदनशीलता के साथ उन क्षेत्रों का दौरा करें जहां बाढ़ आने की संभावना है। उन्होंने कहा कि वर्तमान में प्रदेश के 21 जनपदों के 721 ग्राम बाढ़ से प्रभावित हैं। एक तरफ बाढ़ है तो दूसरी ओर सूखा भी है। यह विचित्र स्थिति पूरे प्रदेश में देखने को मिल रही है।

सीएम योगी ने कहा कि प्रदेश के 12 जनपदों में औसत से अधिक बारिश हुई है। वहीं 26 जनपदों में सामान्य बारिश हुई है तो 22 जनपदों में औसत से कम और 15 जनपद लगभग सूखे जैसी स्थिति में है। सीएम योगी ने कहा कि प्रदेश भर में 1101 बाढ़ शरणालय और 1504 बाढ़ चौकियां बनाई गई हैं। वहीं दो हजार से अधिक मेडिकल टीम गठित कर लोगों का इलाज मुहैया कराया जा रहा है। साथ ही 2040 नाव के माध्यम से राहत कार्य संचालित हो रहा है। उन्होंने कहा कि बाढ़ के दृष्टिगत हमारी सरकार पशुओं का ध्यान भी रख रही है। इसके लिए 840 पशु चारा शिविर लगाए गए हैं। साथ 28 लाख से अधिक पशुओं का टीकाकरण किया जा चुका है। हमारी सरकार बाढ़ के कारण जिन किसानों की फसलें बर्बाद हुई हैं उनका सर्वे कराकर समय पर मुआवजा उपलब्ध कराने की कार्रवाई को आगे बढ़ा रही है।

फर्रुखाबाद में बोले सीएम- आपदा से प्रभावित लोगों को तय समय पर देंगे मुआवजा

फर्रुखाबाद में अमृतपुर तहसील के जमापुर रोड के पास आयोजित बाढ़ राहत सामग्री वितरण कार्यक्रम को संबोधित किया। इस दौरान सीएम योगी ने कहा कि आपदा की वजह से जिन लोगों का नुकसान हुआ है, उन्हें तय समय पर मुआवजा उपलब्ध कराया जाएगा। उन्होंने कहा कि फर्रुखाबाद में 116 गांव गंगा और रामगंगा नदी में आई बाढ़ से प्रभावित हुए हैं। इससे 80 हजार की आबादी प्रभावित हुई है। सीएम योगी ने कहा कि फर्रुखाबाद में 22 मकान पूरी तरह से क्षतिग्रस्त हुए हैं, जो मकान क्षतिग्रस्त हुए हैं उन्हें मुख्यमंत्री आवास योजना के अंतर्गत एक-एक आवास उपलब्ध कराया जाएगा। आंशिक तौर पर क्षतिग्रस्त हुए छह मकानों को मुआवजा उपलब्ध कराए जाएगा। क्षतिग्रस्त हुई 70 झोपड़ियों को भी मुआवजा दिया जाएगा। शासन स्तर से विस्थापित हुए परिवारों को बाढ़ शरणालय में ले जाने के निर्देश पहले ही दिए जा चुके हैं।

कासगंज में सीएम योगी ने कहा- संकट के समय सरकार आपके साथ, करेगी हर संभव मदद

सीएम योगी जनपद कासगंज पहुंचे, जहां उन्होंने बाढ़ पीड़ितों का हाल जाना। इस दौरान उन्होंने स्थलीय निरीक्षण किया और अधिकारियों को राहत बचाव कार्य में और तेजी लाने के आवश्यक दिशा-निर्देश दिए। वहीं पटियाली तहसील के ग्राम वरौना में आयोजित राहत सामग्री वितरण कार्यक्रम को संबोधित को संबोधित करते हुए सीएम योगी ने कहा कि संकट के समय सरकार आपके साथ है। बाढ़ पीड़ितों की हर संभव मदद करेगी। पानी घटने के बाद हमारी सरकार कासगंज में बाढ़ की समस्या का स्थाई समाधान निकालने का प्रयास करेगी। इसके लिए सिंचाई विभाग को निर्देशित किया जा चुका है कि नदियों की ड्रेजिंग कराकर नदियों को चैनलाइज किया जाए।

शाहजहांपुर बोले सीएम- हमारी सरकार बाढ़ का करेगी स्थाई समाधान

सीएम योगी बाढ़ प्रभावितों का हाल जानने शाहजहांपुर पहुंचे। इस दौरान उन्होंने बाढ़ प्रभावित जलालाबाद और कलांद तहसील के गांवों का हवाई सर्वेक्षण किया। सीएम योगी ने कहा कि त्रासदी के समय सरकार आपके साथ है। हम आपकी हर संभव मदद करने के लिए प्रतिबद्ध हैं। उन्होंने कहा कि शाहजहांपुर में गंगा, रामगंगा और काली नदी के कारण बाढ़ की समस्या उत्पन्न होती है। हमारी सरकार इसका स्थाई समाधान करेगी। इसके लिए सिंचाई विभाग को निर्देश दिया जा चुका है। उन्होंने कहा कि जो गांव बाढ़ से 15 दिन से ज्यादा प्रभावित है वहां दो बार राहत सामग्री का वितरण किया जाए। साथ ही जो क्षेत्र एक महीने से ज्यादा बाढ़ से प्रभावित हैं वहां तीन बार राहत सामग्री बांटी जाए। सीएम योगी ने कहा कि यहां पर को पुल क्षतिग्रस्त हुआ है उसके समानांतर जल्द से जल्द पुल बनाने की कार्रवाई को आगे बढ़ाएंगे।

उत्तर प्रदेश

राम नगरी अयोध्या के बाद भगवान श्री राम से जुड़ी एक और नगरी को भव्य स्वरूप दे रही योगी सरकार

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प्रयागराज। योगी सरकार प्रयागराज महाकुंभ को दिव्य और भव्य स्वरूप प्रदान कर रही है। प्रयागराज नगरी के साथ ही जिले में गंगा किनारे स्थित निषादराज गुह्य की राजधानी रहे श्रृंगवेरपुर धाम का भी कायाकल्प सरकार कर रही है। श्रृंगवेरपुर धाम में धार्मिक और आध्यात्मिक पर्यटन के साथ रूरल टूरिज्म की भी संभावनाएं विकसित हो रही हैं।

मिल रहा है भव्य स्वरूप
राम नगरी अयोध्या में भगवान श्री राम के मंदिर के भव्य निर्माण और गर्भ ग्रह में राम लला की प्राण प्रतिष्ठा के बाद अब प्रभु राम के अनन्य भक्त निषादराज की राजधानी श्रृंगवेरपुर को भी भव्य स्वरूप दिया जा रहा है। यूपी की पूर्व की सरकारों में उपेक्षित रहे प्रयागराज के श्रृंगवेरपुर को मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने नई पहचान दी है। सामाजिक समरसता के प्रतीक इस स्थान को धार्मिक और सांस्कृतिक पर्यटन के साथ अब रूरल टूरिज्म के साथ भी जोड़ कर विकसित किया जा रहा है।
प्रयागराज की क्षेत्रीय पर्यटन अधिकारी अपराजिता सिंह बताती हैं कि श्रृंगवेरपुर धाम का कायाकल्प का कार्य समापन के चरण में है। इसके अंतर्गत यहां ₹3732.90 लाख की लागत से निषादराज पर्यटन पार्क स्थल का निर्माण कार्य दो फेज में किया गया है। निषादराज पार्क (फेज-1) के निर्माण हेतु ₹ 1963.01 लाख के बजट से निषादराज एवं भगवान श्रीराम मिलन की मूर्ति की स्थापना व मूर्ति के पैडेस्टल का कार्य, पोडियम का कार्य, ओवर हेड टैंक, बाउण्ड्रीवाल, प्रवेश द्वार का निर्माण, गार्ड रूम आदि कार्य कराया गया। इसी तरह श्रृंगवेरपुर धाम में निषादराज पार्क (फेज-2) के ₹ 1818.90 लाख के बजट से इस भगवान श्रीराम के निषादराज मिलन से सम्बन्धित गैलरी , चित्रांकन, ध्यान केन्द्र, केयर टेकर रूम, कैफेटेरिया, पॉथ-वे, पेयजल व टॉयलेट ब्लॉक, कियास्क, पार्किंग, लैंड स्केपिंग, हॉर्टिकल्चर,आउटर रोड, सोलर पैनल, मुक्ताकाशी मंच आदि कार्य कराए गए हैं। 6 हेक्टेयर में बनाए गए इस भव्य पार्क का लोकार्पण प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी करेंगे।

रूरल टूरिज्म का हब बनेगी निषादराज की नगरी
धार्मिक और आध्यत्मिक पर्यटन के साथ श्रृंगवेरपुर धाम को ग्रामीण पर्यटन के साथ जोड़कर विकसित करने का रोड मैप तैयार किया गया है ।अपराजिता सिंह के मुताबिक रूरल टूरिज्म के अन्तर्गत श्रृंगवेरपुर धाम को विकसित किये जाने के लिए सबसे पहले यहां ग्रामीण क्षेत्र में होम स्टे की व्यवस्था सुनिश्चित की जा रही है। इसके लिए यहां स्थानीय लोगों को अपने यहां मड हाउस या हट बनाने के लिए प्रोत्साहित किया जा रहा है ताकि पर्यटकों को कुछ अलग अनुभव हो सके। इन सभी स्थानों पर थीमेटिक पेंटिंग होगी, स्थानीय खानपान और स्थानीय संस्कृति को भी यहां संरक्षित किया जाएगा । पर्यटक भी यहां स्टे करने के दौरान स्थानीय ग्रामीण क्राफ्ट का हिस्सा बन सके ऐसी उनकी कोशिश है।

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