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मेरी बेटी छात्रा है बार नहीं चलाती, अदालत का दरवाजा खटखटाउंगी: स्मृति ईरानी

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नई दिल्ली। बेटी के नाम पर बार चलाए जाने के कांग्रेस के आरोप पर स्मृति ईरानी ने कहा कि मेरी बेटी 18 साल की है, जो राजनीति नहीं करती। एक कॉलेज की छात्रा है। वो बार नहीं चलाती है। ईरानी ने कहा कांग्रेस ने आरटीआई के आधार पर मेरी बेटी पर आरोप लगाए हैं। लेकिन, जिस आरटीआई की बात की जा रही है, उसमें मेरी बेटी का कहीं कोई जिक्र नहीं है।

उन्होंने कहा कि अमेठी में गांधी फैमिली अपनी हार को पचा नहीं पाई, इसलिए ऐसे आरोप लगा रही है। वो इसके खिलाफ कोर्ट का दरवाजा खटखटाएंगी। दरअसल, कांग्रेस नेता पवन खेड़ा ने प्रेस कांफ्रेंस करके स्मृति ईरानी पर गंभीर आरोप लगाए। कहा कि उनकी 18 साल की बेटी के नाम पर बार चलाया जा रहा है।

कांग्रेस नेता जयराम रमेश ने कहा कि हम मांग करते हैं कि पीएम तुरंत स्मृति ईरानी का इस्तीफा लें। ईरानी पर ये आरोप नहीं दस्तावेज हैं जिन्हें आरटीआई से लिया गया है। स्मृति ईरानी की बेटी के द्वारा गोवा में चल रहे बार पर फर्जी लाइसेंस रखने का आरोप है। ये सब गैरकानूनी तरीके से हुआ।

कांग्रेस के आरोप पर जवाब देते हुए स्मृति ईरानी ने कहा कि वो अदालत का दरवाजा खटखटाएंगी और मेरी बेटी पर गलत आरोप लगाने के आरोप में कांग्रेस को सबक सिखाएंगी। उन्होंने कहा कि उनकी बेटी महज 18 साल की है और कॉलेज की छात्रा है, वो बार नहीं चलाती। न ही राजनीति में है।

अमेठी में राहुल गांधी को हराना मेरा कसूर

अमेठी की सांसद स्मृति ईरानी ने कहा कि उनका कसूर सिर्फ इतना है कि उन्होंने अमेठी में राहुल गांधी को हराया है। राहुल गांधी को चुनौती देते हुए ईरानी ने कहा कि वो साल 2024 में भी अमेठी से ही चुनाव लड़ेंगी और राहुल गांधी को मुंह तोड़ जवाब देंगी।

गांधी फैमिली के इशारे पर हुआ हमला

स्मृति ईरानी ने कहा कि कांग्रेस के नेताओं ने प्रेस कांफ्रेंस करके जो मेरी बेटी के ऊपर बेबुनियाद आरोप लगाए हैं, वो सब गांधी फैमिली के इशारे पर लगाए गए हैं। उन्होंने सवाल किया कि जयराम रमेश ने कहा कि आरटीआई में मेरी बेटी का नाम है। मैं उनसे पूछना चाहती हूं कि मेरी बेटी का नाम दिखाएं तो सही।

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बदल गई उपचुनावों की तारीख! यूपी, केरल और पंजाब में बदलाव पर ये बोला चुनाव आयोग

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नई दिल्ली। विभिन्न उत्सवों के कारण केरल, पंजाब और उत्तर प्रदेश में विधानसभा क्षेत्रों में उपचुनाव 13 नवंबर की जगह 20 नवंबर को होंगे। कांग्रेस, भाजपा, बसपा, रालोद और अन्य राष्ट्रीय और राज्य दलों के अनुरोध पर चुनाव आयोग ने ये फैसला लिया है।

विभिन्न उत्सवों की वजह से कम मतदान की किसी भी संभावना को खारिज करने के लिए, चुनाव आयोग ने ये फैसला लिया है। ऐसे में ये साफ है कि अब यूपी, पंजाब और केरल में उपचुनाव 13 नवंबर की जगह 20 नवंबर को होंगे।

चुनाव आयोग के मुताबिक राष्ट्रीय और राज्य स्तर की पार्टियों की ओर से उनसे मांग की गई थी कि 13 नवंबर को होने वाले विधानसभा उपचुनाव की तारीख में बदलाव किया जाए, क्योंकि उस दिन धार्मिक, सामाजिक कार्यक्रम हैं। जिसके चलते चुनाव संपन्न करवाने में दिक्कत आएगी और उसका असर मतदान प्रतिशत पर भी पड़ेगा।

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