खेल-कूद
क्यों मिली विनेश फोगाट को सीधे एंट्री? ये छोरी उससे कम है के
नई दिल्ली। विनेश फोगाट में क्या खास है, जो उसे एशियाई खेल ट्रायल से छूट दी गई? यह सवाल है उस बेटी का, जो फोगाट फैमिली की बिटिया के सीधे एंट्री पाने से टूर्नामेंट से बाहर रह गई। यह सवाल है उस पहलवान का, जो सालों साल भारत का प्रतिनिधित्व करने के लिए होड़तोड़ मेहनत कर रही है। हम बात कर रहे हैं अंडर 20 विश्व चैंपियन महिला पहलवान अंतिम पंघाल की।
यह सवाल उस पीड़िता का है, जिसे बिना परखे खारिज कर दिया गया। जब सवालों के जवाब नहीं मिले तो उसने जंग छेड़ दी। दिल्ली हाई कोर्ट का दरवाजा खटखटाया और गुहार लगाई। सिर्फ एक तमन्ना है। मैट पर योग्यता को परखा जाए, जो बेहतर हो उसे मौका मिले, बिना लड़ने का मौका दिए ही हरा देना न्याय नहीं।
मौजूदा विश्व चैंपियन हैं अंतिम पंघाल
मौजूदा अंडर 20 विश्व चैंपियन अंतिम पंघाल ने विनेश फोगाट को एशियाई खेलों के लिए चयन ट्रायल से छूट दिए जाने पर सवाल उठाए हैं। उन्होंने रोते हुए न्याय की मांग की है। उन्होंने दम भरते हुए कहा कि सिर्फ वह ही नहीं बल्कि कई अन्य भारतीय पहलवान 53 किलो वर्ग में विनेश को हराने में सक्षम हैं। विनेश (53 किलो) और बजरंग पूनिया (65 किलो) को भारतीय ओलिंपिक संघ की अंतरिम कमिटी ने एशियाई खेलों में सीधे प्रवेश देने का फैसला किया, जबकि बाकी पहलवानों को 22 और 23 जुलाई को ट्रायल से गुजरना होगा।
कौन है अंतिम पंघाल
अंतिम पंघाल का जन्म हरियाणा के हिसार जिले के भगाना गांव में हुआ। उनके पिता का नाम रामनिवास पंघाल और माता का नाम कृष्णा कुमारी है। अंतिम मौजूदा अंडर 20 विश्व चैंपियन हैं। ऐसा करने वाली वह पहली भारतीय हैं। जूनियर लेवल पर इंटरनेशनल रेसलिंग में भारत के लिए कई मेडल जीते हैं। भारत की भविष्य की स्टार मानी जा रही हैं। ओलिंपिक में जाने के लिए प्रबल दावेदार हैं।
पिछले एक साल में मैंने तो गोल्ड जीता है, उसने क्या किया है?
हिसार की रहने वाली 19 वर्ष की पंघाल भी 53 किलो में उतरती हैं। जब उन्हें इस बात का पता चला तो वह आंसुओं में डूब गईं। उनका दिल टूट गया। सीनियर एशियाई चैंपियनशिप की सिल्वर मेडल विजेता पंघाल ने एक वीडियो में
कहा, ‘विनेश फोगाट को एशियाई खेलों में सीधे प्रवेश मिलेगा जबकि उसने पिछले एक साल से अभ्यास भी नहीं किया। पिछले एक साल में उसकी कोई उपलब्धि नहीं है। पिछले साल जूनियर विश्व चैंपियनशिप में मैंने गोल्ड मेडल जीता था और यह करने वाली पहली भारतीय महिला पहलवान बनी। एशियाई चैम्पियनशिप 2023 में मैने रजत पदक जीता जबकि विनेश ने कुछ नहीं किया। वह चोटिल भी थीं।
इस मसले पर ओलिंपिक मेडल विनर पहलवान योगेश्वर दत्त ने कहा जूनियर वर्ल्ड चैंपियनशिप 2022 में स्वर्ण पदक और इसी साल एशियन चैंपियनशिप में रजत पदक विजेता अंतिम पंघाल भी इसी देश की बेटी है जो अपने ही देश में इंसाफ की मांग कर रही है। क्या एडहॉक कमिटी के पास इस बेटी के सवालों का कोई जवाब है?
विनेश ही क्यों, साक्षी भी तो ओलिंपिक मेडल विनर है?
पंघाल ने कहा, ‘साक्षी मलिक ने ओलिंपिक पदक जीता है लेकिन उसे भी नहीं भेजा जा रहा। विनेश में ऐसा क्या खास है जो उसे सीधे भेजा जा रहा है। विनेश को पिछले साल विश्व चैंपियनशिप में पदक जीतने के कारण एशियाई खेलों में सीधे भेजा जा रहा है। वह इस समय हंगरी के बुडापेस्ट में अभ्यास कर रही है। पंघाल ने कहा कि बर्मिंघम राष्ट्रमंडल खेलों में भी उसके साथ नाइंसाफी हुई थी।
उन्होंने बताया- ट्रायल में उसके खिलाफ मुकाबले में अधिकारियों ने धोखेबाजी की। मैंने कहा कि कोई नहीं। मैं एशियाई खेलों के जरिए पेरिस ओलिंपिक के लिए क्वॉलिफाइ करने की कोशिश करूंगी, लेकिन अब वे विनेश को भेज रहे हैं।
मामले पर WFI के पूर्व अध्यक्ष बृजभूषण शरण सिंह ने कहा समिति ने जो फैसला किया, उससे मैं काफी दुखी हूं। ये निर्णय इस देश की कुश्ती को गर्त में मिला देगा। इस खेल को ऊपर लाने में काफी लोगों ने मेहनत की है। खिलाड़ियों ने, उनके माता-पिता ने और इस खेल के प्रशंसकों ने बहुत मेहनत की है। आज देश के अंदर एक ही खेल (कुश्ती) ऐसा है जिसके अंदर ओलिंपिक में पदक गारंटी माना जाता है। एशियाई खेल जैसे टूर्नामेंट में बिना ट्रायल्स के इन पहलवानों को भेजने का फैसला बहुत ही दुर्भाग्यपूर्ण है।
अब कोर्ट में होगी जंग
पहलवान अंतिम पंघाल और सुजीत कलकल ने दिल्ली हाई कोर्ट विनेश फोगाट और बजरंग पूनिया को छूट के फैसले को चुनौती दी। इन दोनों पहलवानों की संयुक्त याचिका प्रधान न्यायमूर्ति सतीश चंद्र शर्मा के समक्ष पेश की गई। यह याचिका उनके वकील ऋषिकेश बरूआ और अक्षय कुमार ने दायर की जिसमें मांग की गयी कि IOA (भारतीय ओलिंपिक संघ) की तदर्थ समिति द्वारा दो वर्गों (पुरुष फ्रीस्टाइल 65 किग्रा और महिलाओं की 53 किग्रा) के संदर्भ में जारी किए गये निर्देशों को खारिज कर दिया जाए और बजरंग और विनेश को दी गई छूट खत्म कर दी जाए।
खेल-कूद
ऑस्ट्रेलिया ने तीसरे टी20 मुकाबले में भी पाकिस्तान को पीटा
नई दिल्ली। जिसकी उम्मीद थी ठीक वैसा ही हुआ। ऑस्ट्रेलिया ने तीसरे टी20 मुकाबले में भी पाकिस्तान को पीट दिया और पाकिस्तान का सीरीज में सूपड़ा साफ किया। हालांकि इससे पहले जब वनडे सीरीज खेली गई थी, तब पाकिस्तान ने सीरीज पर कब्जा किया था। लेकिन टी20 इंटरनेशनल सीरीज में उसकी एक नहीं चली। तीसरे मैच को जीतकर ऑस्ट्रेलिया ने न्यूजीलैंड का एक बड़ा कीर्तिमान ध्वस्त कर दिया है। पाकिस्तान को ऑस्ट्रेलियाई टीम लगातार हराती चली जा रही है।
ऑस्ट्रेलिया ने पाकिस्तान को 7 विकेट से हराया
तीन टी20 इंटरनेशनल मैचों की सीरीज में ऑस्ट्रेलिया ने पाकिस्तान को 7 विकेट से हरा दिया है। ये ऑस्ट्रेलिया की पाकिस्तान पर इस फॉर्मेट में लगातार सातवीं जीत है। इससे पहले कोई भी टीम पाकिस्तान को लगातार इतने मैचों में नहीं हरा पाई थी। साल 2023 से लेकर 2024 तक न्यूजीलैंड ने पाकिस्तान को छह लगातार मैचों में मात दी थी। जहां तक बात ऑस्ट्रेलिया की करें तो उसने पाकिस्तान से साल 2019 से अब तक एक भी मैच नहीं हारा है और इस सीरीज में भी विरोधी टीम का सूपड़ा साफ कर दिया है।
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