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प्रादेशिक

विदिशा में बीजेपी नेता ने परिवार समेत की आत्महत्या, बेटों की बीमारी से थे परेशान

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विदिशा। मध्य प्रदेश के विदिशा दो बेटों की लाइलाज बीमारी से परेशान बीजेपी नेता संजीव मिश्रा ने परिवार समेत आत्महत्या कर ली। मृतकों में संजीव मिश्रा, उनकी पत्नी और दो बच्चे शामिल हैं। आत्महत्या करने वाले बीजेपी नेता के दोनों बच्चे ड्यूशेन मस्कुलर डिस्ट्राफी (डीएमडी) नामक लाइलाज बीमारी से पीड़ित थे।

बीजेपी के विदिशा मंडल अध्यक्ष सुरेन्द्र सिंह चौहान ने बताया कि यहां बंटी नगर इलाके में रहने वाले मिश्रा वर्तमान में बीजेपी के विदिशा नगर मंडल के उपाध्यक्ष थे। वह पार्टी के पूर्व पार्षद भी रह चुके हैं। गुरुवार शाम लगभग छह बजे मिश्रा ने सोशल मीडिया पर एक पोस्ट लिखी थी। इसमें उन्होंने कहा था, ”ईश्वर दुश्मन के बच्चों को भी यह ड्यूशेन मस्कुलर डिस्ट्राफी (डीएमडी) बीमारी न दे।”

यह देखकर परिचित घर पहुंचे तो उन्होंने 45 साल के संजीव मिश्रा, उनकी 42 साल की पत्नी नीलम मिश्रा और दो पुत्रों 13 साल के अनमोल और सात साल के सार्थक को अचेत अवस्था में पाया। इसके बाद सभी को जिला चिकित्सालय में भर्ती कराया,जहां पर चारों की मौत हो गई। अतिरिक्त पुलिस अधीक्षक समीर यादव ने बताया कि पुलिस ने इस संबंध में मामला दर्ज कर लिया है और जांच शुरू कर दी है। उल्लेखनीय है कि डीएमडी मांसपेशियों की कमजोरी से जुड़ी एक अनुवांशिक एवं गंभीर बीमारी है जो समय के साथ बिगड़ती जाती है।

 

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उत्तर प्रदेश

शामली मुठभेड़ में घायल हुए STF इंस्पेक्टर सुनील कुमार शहीद, गुरुग्राम के मेदांता में चल रहा था इलाज

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गुरुग्राम। उत्तर प्रदेश के शामली में हुई एक मुठभेड़ के दौरान स्पेशल टास्क फोर्स ने चार कुख्यात अपराधियों को ढेर कर दिया। इस अभियान में एसटीएफ इंस्पेक्टर सुनील कुमार गंभीर रूप से घायल हो गए और बाद में गुरुग्राम के मेदांता अस्पताल में उन्होंने दम तोड़ दिया।

इस घटना में मारा गया मुख्य अपराधी अरशद जिसके सिर पर 1 लाख रुपए का इनाम था। अपने तीन साथियों के साथ मुठभेड़ में मारा गया। यह घटना कानून-व्यवस्था के लिए एक महत्वपूर्ण मोड़ साबित हुई। लेकिन एसटीएफ ने इस दौरान एक वीर अधिकारी को खो दिया।

शुरू में उन्‍हें करनाल के अस्‍पताल में भर्ती कराया गया था लेकिन बाद में हालत खराब होने पर गुरुग्राम के मेदांता में रेफर किया गया। बीते 24 घंटे खतरे से बाहर नहीं हुए थे इंस्पेक्टर सुनील कुमार। वह वहां आईसीसीयू में भर्ती थे।

बताया जा रहा है कि एक गोली इंस्‍पेक्‍टर के लिवर को पार करके पीठ में अटक गई थी। इसे निकाला संभव नहीं था, इसलिए इसे छोड़ दिया गया।इंस्‍पेक्‍टर सुनील कुमार ठोकिया एनकाउंटर में आउट ऑफ टर्न प्रमोशन पाकर हेड कांस्टेबल से सब इंस्पेक्टर बने थे। शामली में सोमवार देर रात कग्‍गा गैंग के चार बदमाशों के एनकाउंटर में इंस्पेक्टर सुनील कुमार भी शामिल थे। बदमाश एक कार में सवार थे। घेरे जाने पर उन्‍होंने पुलिस पर फायरिंग कर दी थी। इसी में सुनील कुमार घायल हुए थे। जवाबी कार्रवाई में STF ने चार बदमाशों को मार गिराया था।

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