Connect with us
https://aajkikhabar.com/wp-content/uploads/2020/12/Digital-Strip-Ad-1.jpg

प्रादेशिक

मेरी माटी मेरा देश से जुड़ेगा पूरा उत्तर प्रदेश

Published

on

Loading

लखनऊ। स्वतंत्रता दिवस के उपलक्ष्य में पूरे देश में आयोजित होने वाले ‘मेरी माटी मेरा देश’ कार्यक्रम को लेकर योगी सरकार ने प्रदेश में वृहद स्तर पर तैयारियां की हैं। 9 से 15 अगस्त तक प्रदेश के समस्त जनपदों में अमृत कलश यात्रा के कार्यक्रमों की रूपरेखा तैयार कर ली गई है, जबकि व्यापक स्तर पर इसके प्रचार प्रसार की योजना बनाई गई है। इसके अनुसार पंचायत स्तर से जनपद स्तर तक विभिन्न कार्यक्रमों के माध्यम से जनभागीदारी सुनिश्चित की जाएगी। उल्लेखनीय है कि कार्यक्रम के अंतर्गत अमृत कलश के माध्यम से प्रदेश के हर गांव, हर शहर की मिट्टी को लखनऊ और दिल्ली में आजादी के अमृत वर्ष की स्मृति के साथ संग्रहीत किया जाएगा। सीएम योगी भी इस कार्यक्रम को राष्ट्र के प्रति कृतज्ञता ज्ञापन का कार्यक्रम बता चुके हैं।

निकाली जाएगी तिरंगा यात्रा

ब्लॉक स्तर, नगर पालिकाओं और नगर निगमों में विभिन्न तरह के कार्यक्रम आयोजित किए जाएंगे। कार्यक्रम की तय रूपरेखा के अनुसार समस्त सरकारी गैर सरकारी विद्यालयों में माटी गीत का सस्वर गायन किया जाएगा। नागरिक संगठनों, उद्योग व्यापार मंडल, नागरिक सुरक्षा संगठन के स्वयंसेवकों एवं एनसीसी, एनएसएस की प्रभातफेरी/तिरंगा यात्रा निकाली जाएगी। इसके अतिरिक्त विद्यालयों में स्लोगन लेखन, चित्रकला प्रतियोगिता का भी आयोजन किया जाएगा। जनपदों के स्वतंत्रता संग्राम स्थलों, शहीद स्मारकों पर स्वच्छता अभियान चलाया जाएगा। साथ ही स्थानीय कलाकारों द्वारा नुक्कड़ नाटक एवं राष्ट्रभक्तिपूर्ण सास्कृतिक आयोजन के अलावा स्वतंत्रता संग्राम सेनानी, शहीद सैनिकों के परिजनों का सम्मान किया जाएगा।

शहीद स्मारकों पर राष्ट्रभक्ति के बजेंगे गीत

पंचायत/स्थानीय निकाय स्तर पर भी विभिन्न कार्यक्रम आयोजित होंगे। विद्यालयों में आजादी के नायकों पर आधारित एकल अभिनय प्रतियोगिता का अयोजन किया जाएगा, जबकि स्वतंत्रता संग्राम सेनानी व शहीद सैनिकों के परिजनों का सम्मान समारोह आयोजित किया जाएगा। विद्यालयों में स्लोगन लेखन, चित्रकला प्रतियोगिता भी आयोजित होगी तो राष्ट्रभक्ति पूर्ण सांस्कृतिक आयोजन (सांस्कृतिक संध्या) भी होंगे। यही नहीं, शहीद स्मारकों, स्थलों पर पुलिस, पीएसी बैण्ड द्वारा राष्ट्रभक्ति गीतों की धुनों का वादन किया जाएगा।

जिलेवार होगा पुरस्कार वितरण कार्यक्रम

विद्यालयों में प्रार्थना के बाद माटी गायन का अयोजन किया जाएगा। जिलेवार पुरस्कार वितरण कार्यक्रम के साथ केबल नेटवर्क, सिनेमा घरों एवं एफएम के माध्यम से प्रचार किया जाएगा। सेल्फी विद पंच प्रण के लिए प्रोत्साहित किया जाएगा। पचायतों में संबंधित विभागों के स्तर पर पंचायत प्रमुखों के साथ आउटरीच सत्र का अयोजन होगा तो प्रत्येक गांव में पौध वितरण/बिक्री स्थल को चिन्हित किया जाएगा। मिट्टी के दीयों वी कलश के लिए स्वयं सहायता समूहों का लाभ उठाया जाएगा। साथ ही सभी सरकारी भवनों, संस्थानों में पंच प्रण प्रतिज्ञा का आयोजन होगा। इसमें स्थानीय नेता भी भाग लेंगे।

उचित मूल्य की दुकानों पर होगा प्रचार प्रसार

मिट्टी के दीयों के वितरण / बिक्री बिंदु के रूप में उचित मूल्य की दुकानों के विशाल नेटवर्क का लाभ उठाया जाएगा। इन दुकानों में पहले से रिकॉर्ड किए गए संदेश, जिंगल, कार्यक्रम की जानकारी माइक पर चलाई जाएगी। अभियान वेबसाइट से लिंक करने वाली दुकानों के आसपास स्कैन करने योग्य स्टैंडीज के साथ लोग शपथ ले सकेंगे व सेल्फी भी अपलोड करेंगे। स्कूल एवं कॉलेज में मेरी माटी मेरा देश को समर्पित विशेष सभाएं आयोजित की जाएंगी। छात्र और शिक्षक पंच प्रण प्रतिज्ञा लेंगे, सेल्फी अपलोड करेंगे। भागीदारी के लिए सभी अभिभावकों को विशेष डायरी नोट, पत्रक भेजा जाएगा। स्कूल स्थानीय बहादुरों (वीर एवं वीरांगनाओं) को सम्मानित करेंगे। प्रचार प्रसार में पुलिस का भी रोल होगा। पुलिस महानिदेशक कार्यक्रम को लेकर विशेष बैठक लेंगे। चेक पॉइंट पर कार्यक्रम के पोस्टर लगाए जाएंगे। विशेष मार्च आयोजित होंगे। पुलिस स्टेशन में बैनर, पोस्टर, स्टैंडी प्रदर्शित की जाएगी।

बसों से लेकर टोल प्लाजा तक होगी ब्रांडिंग

परिवहन निगम को भी जिम्मेदारी दी गई है। राज्य परिवहन की बसों, ट्रकों, ऑटो को मेरी माटी मेरा देश के संदेशों से रंगा जाएगा। टोल और चेक प्वाइंट्स पर इसकी ब्रांडिंग की जाएगी, पेपम्लेट, लीफलेट आदि वितरित किए जाएंगे। इंटरकॉम और सिस्टम वाली अंतरराज्यीय बसों में बहादुरों से संबंधित वीडियो स्त्रिपेट्स, जिंगल, रिकॉर्डेड संदेश, मिट्टी एंथम चलाए जाएंगे। राज्य सरकार की सभी वेबसाइटों पर मेरी माटी मेरा देश से जुड़े बैनर लगेंगे। दूरदर्शन, आकाशवाणी पर विशेष बुलेटिन जारी होंगे। सार्वजनिक स्थानों पर दीवार पेंटिंग और रंगोलियां बनाई जाएंगी। स्थानीय नगर पालिका स्थलों, सार्वजनिक स्थानों, सरकारी इमारतों पर होडिंग, बैनर और स्टैंडी लगेंगे।

Continue Reading

उत्तर प्रदेश

उत्तर प्रदेश में हुई 559 वर्ग किमी. वन व वृक्ष आच्छादन की वृद्धि

Published

on

Loading

लखनऊ |  मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के नेतृत्व में पिछले साढ़े सात वर्ष से चल रहा ‘पेड़ लगाओ-पेड़ बचाओ जनअभियान’ रंग ले आया। 2024 में 36.80 करोड़ से अधिक पौधरोपण करने वाले उत्तर प्रदेश में आईएसएफआर 2023 के अनुसार 559 वर्ग किमी. वन व वृक्ष आच्छादन से अधिक की वृद्धि हुई है। उत्तर प्रदेश से आगे केवल छत्तीसगढ़ है, जबकि अन्य सभी राज्य उत्तर प्रदेश से पीछे हैं। इस उपलब्धि पर मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने वन विभाग के अधिकारियों व कर्मचारियों के नेतृत्व में आए इस सकारात्मक पहल की बधाई दी। वहीं केंद्रीय वन-पर्यावरण मंत्री भूपेंद्र यादव ने भी इस उपलब्धि पर उत्तर प्रदेश को शुभकामना दी।

देहरादून में भारत वन स्थिति रिपोर्ट (आईएसएफआर) 2023 की रिपोर्ट प्रस्तुत की गई

🌳भारत का वन एवं वृक्ष आवरण 8,27,357 वर्ग किमी है, जो देश के भौगोलिक क्षेत्र का 25.17% है। इसमें 7,15,343 वर्ग किमी (21.76%) वन आवरण और 1,12,014 वर्ग किमी (3.41%) वृक्ष आवरण है।

🌳2021 के आकार-फ़ाइल आधारित मूल्यांकन की तुलना में वन एवं वृक्ष आवरण में 1,445 वर्ग किमी की वृद्धि हुई है, जिसमें वन आवरण में 156 वर्ग किमी और वृक्ष आवरण में 1289 वर्ग किमी की वृद्धि शामिल है।

🌳वन एवं वृक्ष आवरण में अधिकतम वृद्धि दिखाने वाले शीर्ष चार राज्यों में उत्तर प्रदेश दूसरे स्थान पर है। छत्तीसगढ़ (684 वर्ग किमी) के साथ शीर्ष पर है। ओडिशा का क्षेत्रफल (558.57 वर्ग किमी), राजस्थान (394 वर्ग किमी) व झारखंड (286.96 वर्ग किमी.) है।

इनसेट
इन राज्यों में हुई वृद्धि
राज्य एरिया
छत्तीसगढ़ 683.62 वर्ग किमी.
उत्तर प्रदेश 559.19 वर्ग किमी.
ओडिशा 558.57 वर्ग किमी.
राजस्थान 394.46 वर्ग किमी.
झारखंड 286.96 वर्ग किमी.

‘हरित उत्तर प्रदेश’ बनने की दिशा में तीव्रता से गतिमान है नया उत्तर प्रदेश:सीएम योगी

मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने अपने सोशल मीडिया एकाउंट ‘एक्स’ पर पोस्ट किया। उन्होंने लिखा कि नया उत्तर प्रदेश ‘हरित उत्तर प्रदेश’ बनने की दिशा में तीव्रता से गतिमान है। आईएसएफआर 2023 के अनुसार उत्तर प्रदेश में हुई 559 वर्ग कि.मी. की वन और वृक्ष आच्छादन की ऐतिहासिक वृद्धि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी जी के आह्वान ‘एक पेड़ मां के नाम’ और भारतीय दर्शन ‘माता भूमिः पुत्रोऽहं पृथिव्याः’ भाव से उत्तर प्रदेश वासियों के जुड़ाव का प्रतिफल है।

मानवता के कल्याण को समर्पित इस ऐतिहासिक उपलब्धि के लिए पौधरोपण अभियान से जुड़े सभी लोगों, प्रकृति प्रेमियों एवं प्रदेश वासियों को हार्दिक बधाई!

यूपी में लगाए गए 36.80 करोड़ से अधिक पौधे

मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के नेतृत्व में एक दिन (20 जुलाई) को 36.51 करोड़ पौधरोपण कर इतिहास रचने वाले उत्तर प्रदेश ने 30 सितंबर तक 36.80 करोड़ से अधिक पौधरोपण किए। साढ़े सात वर्ष में योगी आदित्यनाथ के नेतृत्व में 210 करोड़ पौधरोपण किये गए।

भारतीय वन सर्वेक्षण, देहरादून द्वारा वर्ष 2023 में प्रकाशित रिपोर्ट के परीक्षण करने पर उत्तर प्रदेश में वनावरण की स्थिति…

वनावरण

1. अति सघन वन 2,688.73 वर्ग कि०मी०
2. मध्यम सघन वन 4,001.41 वर्ग कि०मी०
3. खुला वन 8.355.66 वर्ग कि०मी०
4. कुल योग 15045.80 वर्ग कि०मी० (6.24%)
वृक्षावरण 8950.92 वर्ग कि0मी (3.72%)
कुल वनावरण व वृक्षावरण 23996.72 वर्ग कि0मी0 (9.96%)

भारतीय वन सर्वेक्षण, देहरादून द्वारा वर्ष 2021 (यथा संशोधित) में प्रकाशित रिपोर्ट में उत्तर प्रदेश से सम्बन्धित आंकड़े…
वनावरण

1. अति सघन वन 2655.29 वर्ग कि०मी०
2. मध्यम सघन वन 3995.53 वर्ग कि०मी०
3. खुला वन 8276.55 वर्ग कि०मी०
4. कुल योग 14927.37 वर्ग कि०मी० (6.20%)
5-वृक्षावरण 8510.16 वर्ग कि0मी0 (3.53%)
6-कुल वनावरण व वृक्षावरण 23437.53 वर्ग कि0मी0.( 9.73%)

सर्वाधिक वृद्धि वाले उत्तर प्रदेश के पांच जनपद

1- झांसी – 8597 एकड़
2- अमरोहा – 7769 एकड़
3- इटावा – 7127 एकड़
4- कानपुर नगर – 6249 एकड़
5- बिजनौर – 3343 एकड

Continue Reading

Trending