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मुख्य समाचार

महाराष्ट्र: मंत्रिमंडल विस्तार न होने से अफवाहों का बाजार गर्म, टला शिंदे का दिल्ली दौरा

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मुंबई। महाराष्ट्र में एकनाथ शिंदे के नेतृत्व वाले शिवसेना गुट और भाजपा सरकार का मंत्रिमंडल विस्तार करीब एक माह बाद भी नहीं हो पाया है जिसको लेकर राजनीतिक हलको में तमाम अफवाहें आने लगी हैं। शिवेसना में बगावत के बाद 30 जून को शिंदे को सीएम और भाजपा नेता देवेंद्र फडणवीस को डिप्टी सीएम पद की शपथ दिलाई गई थी।

उसके बाद शिंदे ने विधानसभा का विश्वास मत अर्जित कर लिया था। इसके बाद से मंत्रिमंडल के विस्तार का मामला अटका हुआ है। बुधवार को मुख्यमंत्री शिंदे संभावित मंत्रियों की सूची को अंतिम रूप देने के लिए दिल्ली जाने वाले थे, लेकिन अंतिम समय में दौरा टल गया। दिल्ली में वे भाजपा के शीर्ष नेताओं से मुलाकात करने वाले थे।

दौरा टलने से अटकलों का बाजार गर्म

सीएम शिंदे ने गत दिवस कहा था कि अगले तीन दिनों में वे अपने मंत्रिमंडल का विस्तार कर लेंगे, लेकिन उनका दिल्ली दौरा टलने के बाद अटकलों का बाजार गर्म हो गया है। शिंदे गुट व भाजपा के बीच गतिरोध की भी चर्चा भी है।

कई बार जा चुके दिल्ली

शिंदे व फडणवीस महाराष्ट्र की सत्ता संभालने के बाद कई बार दिल्ली जा चुके हैं, लेकिन मंत्रिमंडल के विस्तार को हरी झंडी नहीं मिल रही है। हर दिल्ली दौरे के वक्त कहा जाता है कि शिंदे और फडणवीस जल्द ही मंत्रिमंडल का विस्तार करेंगे, लेकिन असल में ऐसा हो नहीं पा रहा है।

जिलों को प्रभारी मंत्री की दरकार

महाराष्ट्र में मंत्रिमंडल का विस्तार नहीं होने के कारण जिलों में प्रभारी मंत्री नहीं हैं। इससे विकास व अन्य कामकाज पर असर पड़ रहा है। महाराष्ट्र विधानसभा का मानसून सत्र भी होना है, उसे लेकर भी अभी कोई तैयारी नहीं है।

उत्तर प्रदेश

दूसरे दिन के सर्वे के लिए ASI की टीम संभल के कल्कि विष्णु मंदिर पहुंची, कृष्ण कूप का किया निरीक्षण

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संभल। उत्तर प्रदेश के संभल में भारतीय पुरातत्व सर्वेक्षण (ASI) की टीम लगातार दूसरे दिन भी सर्वे करने पहुंची। ASI की टीम संभल के कल्कि विष्णु मंदिर पहुंच गई है। अब यहां पर ASI की टीम सर्वे का काम कर रही है। ASI की टीम के साथ प्रशासन के अधिकारी भी मौजूद हैं। आज सर्वे का काम कृष्ण कूप में किया जाना है, जो कल्कि मंदिर के मेन गेट के पास है। बताया जा रहा है कि ये कृष्ण कूप संभल के जामा मस्जिद के पास से महज 500 मीटर की दूरी पर है। कृष्ण कूप चारों तरफ दीवारों से घिरा हुआ है। इसके चारों तरफ 5 फीट ऊंची दीवार बनी हुई है। इसके साथ ही कूप के अंदर झाड़ियां और गंदगी फैली हुई है।

संभल की एसडीएम वंदना मिश्रा ने बताया कि आर्कियोलॉजी की टीम आई थी। यहां पर एक प्राचीन कृष्ण कूप है। जिसका काल निर्धारण होना है। वह कितना पुराना है। उसी का निरीक्षण किया है। टीम ने कल्की मंदिर के भी दर्शन किए हैं। यह टीम लगभग 15 मिनट यहां पर रुकी है।
कल्कि मंदिर के पुजारी महेंद्र शर्मा ने बताया कि यहां पर एक टीम आई थी। उन्होंने एक कुआं देखा। वह कोने पर है। टीम परिसर में घूमी और मंदिर के अंदर की फोटो ली। मैंने उनसे कहा कि इस कार्य को मैं पुनर्जीवित करवाना चाहता हूं। उन्होंने कहा कि यह बहुत पुराना मंदिर है। एक हजार वर्ष का नक्शा, उसमें यह मंदिर दिखाया गया है। जो हरि मंदिर है उसके अन्दर यह मंदिर बना है।

ज्ञात हो कि जिलाधिकारी डॉ. राजेंद्र पैंसिया ने संभल के ऐतिहासिक और धार्मिक महत्व को देखते हुए एएसआई निदेशक को पत्र भेजकर सर्वे कराने की मांग की थी। इसके बाद एएसआई की टीम ने संभल में प्राचीन धार्मिक स्थलों और कुओं का सर्वे शुरू किया। डीएम ने कहा था कि संभल का ऐतिहासिक और धार्मिक महत्व है। 19 कूप और पांच तीर्थों का एएसआई की टीम ने सर्वे किया है। यह सर्वे करीब 9 घंटे तक चला है।

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