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प्रदेश में सक्रिय मामले कम होने पर भी कोविड-19 के टेस्ट करने की संख्या घटाई नहीं जा रही हैंः नवनीत सहगल
लखनऊ। अपर मुख्य सचिव ‘सूचना’ नवनीत सहगल ने बताया कि मुख्यमंत्री जी के 3टी ट्रेस, टेस्ट और ट्रीट अभियान के साथ-साथ अभिनव प्रयोग करते हुए टीकाकरण से प्रदेश में कोरोना संक्रमण की दूसरी लहर को नियंत्रित करने में सफलता मिली है।
इस अभिनव प्रयोग से कोरोना संक्रमण में कमी आयी है। उन्होंने बताया कि 3टी के कारण ही 30 अप्रैल, 2021 के एक्टिव मामले 3,10,783 से घटकर मात्र 352 हो गये है तथा 30 अप्रैल के प्रतिदिन कोविड केस 38 हजार से घटकर 28 हो गये है। प्रदेश में सक्रिय मामले कम होने पर भी कोविड-19 के टेस्ट करने की संख्या घटाई नहीं जा रही हैं। प्रदेश में डेढ़ लाख से अधिक कोविड टेस्ट किये जा रहे है।
प्रदेश देश में 07 करोड़ से अधिक टेस्ट करने वाला इकलौता राज्य है। प्रदेश में कोविड टीकाकरण का कार्य तेजी से किया जा रहा है। उन्होंने बताया कि सर्विलांस के माध्यम से सरकारी मशीनरी/निगरानी समितियों द्वारा उत्तर प्रदेश की 24 करोड़ की जनसंख्या में से अब तक लगभग 17.24 करोड़ से अधिक लोगों से उनका हालचाल जाना गया है।
उन्होंने बताया कि मुख्यमंत्री जी द्वारा कोविड की संभावित तीसरी लहर के संबंध में निरन्तर कोविड-19 प्रबंधन हेतु गठित टीम-09 के साथ बैठक की जा रही है। मुख्यमंत्री जी ने निर्देश दिये है कि कोविड की तीसरी लहर की आशंका देखते हुए सभी जरूरी प्रयास यथाशीघ्र पूरी की जाए। मेडिकल काॅलेजों में पीडियाट्रिक आईसीयू/आइसोलेशन बेड की संख्या 6600 से अधिक हो गई है। इसी प्रकार, स्वास्थ्य विभाग के अस्पतालों में 5,850 बेड खास तौर पर तैयार कर लिए गए हैं।
वर्तमान में 56,000 आइसोलेशन बेड और 18000 आईसीयू बेड कोविड की जरूरतों के अनुरूप उपलब्ध हैं। अब तक प्रस्तावित 552 आॅक्सीजन प्लांट में से 336 क्रियाशील हो चुके हैं। शेष निर्माणाधीन प्लांट शीघ्र क्रियाशील हो जायेंगे। कक्षा 6वीं से 8वीं तक के विद्यालयों में आज से भौतिक रूप से पठन-पाठन प्रारंभ हो रहा है।
मुख्यमंत्री जी ने निर्देश दिये है कि बच्चों की स्वास्थ्य सुरक्षा के दृष्टिगत सभी तरह के प्रबंध किए जाएं। कक्षाओं में सोशल डिस्टेंसिंग, मास्क की अनिवार्यता को प्रभावी ढंग से लागू किया जाए। मुख्यमंत्री जी ने निर्देश दिये है कि प्रदेश में 26 से 29 अगस्त, 2021 राष्ट्रपति जी के प्रस्तावित कार्यक्रमों को देखते हुए सभी जरूरी तैयारियां पूरी कर ली जाएं।
IANS News
वसुधैव कुटुंबकम’ भारत का शाश्वत संदेश : योगी आदित्यनाथ
लखनऊ। मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने ‘वसुधैव कुटुंबकम’ के आदर्श वाक्य के महत्व पर जोर देते हुए इसे भारत की वैश्विक मानवता के प्रति प्रतिबद्धता का प्रतीक बताया है। उन्होंने इसे भारत का शाश्वत संदेश बताते हुए कहा कि हमने हमेशा से शांति, सौहार्द और सह-अस्तित्व को प्राथमिकता दी है। सीएम योगी ने यह बात शुक्रवार को एलडीए कॉलोनी, कानपुर रोड स्थित सिटी मॉन्टेसरी स्कूल (सीएमएस) के वर्ल्ड यूनिटी कन्वेंशन सेंटर में विश्व के मुख्य न्यायाधीशों के 25वें अंतरराष्ट्रीय सम्मेलन का उद्घाटन करने के दौरान अपने संबोधन में कही। कार्यक्रम में 56 देशों के 178 मुख्य न्यायाधीश और डेलिगेट्स ने भाग लिया।
‘अनुच्छेद 51 की भावनाओं को विश्व शांति और सुरक्षा के लिए प्रेरक’
अपने संबोधन में मुख्यमंत्री ने भारत के संविधान के अनुच्छेद 51 की भावनाओं को विश्व शांति और सुरक्षा के लिए प्रेरक बताया। उन्होंने कहा कि यह अनुच्छेद सम्मानजनक अंतरराष्ट्रीय संबंधों को विकसित करने और संघर्षों को शांतिपूर्ण ढंग से हल करने के लिए नैतिक मार्ग का अनुसरण करने के लिए हम सभी को प्रेरित करता है। उन्होंने समारोह को प्रेरणादायक बताते हुए कहा कि 26 नवंबर 2024 को संविधान अंगीकरण के 75 वर्ष पूरे होंगे। यह संविधान के अंगीकृत होने के अमृत महोत्सव वर्ष की शुरुआत के दौरान आयोजित हो रहा है।
‘युद्ध समस्याओं का समाधान नहीं है’
योगी आदित्यनाथ ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी द्वारा संयुक्त राष्ट्र के ‘समिट ऑफ दि फ्यूचर’ में दिये गये संबोधन की चर्चा करते हुए कहा कि युद्ध समस्याओं का समाधान नहीं है। युद्ध ने दुनिया के ढाई अरब बच्चों के भविष्य को खतरे में डाला है। उन्होंने दुनिया के नेताओं से आग्रह किया कि वे एकजुट होकर आने वाली पीढ़ियों के लिए स्वच्छ, सुरक्षित और भयमुक्त समाज का निर्माण करें। मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने सम्मेलन को वैश्विक संवाद और सहयोग का मंच बताते हुए विश्वास व्यक्त किया कि अनुच्छेद 51 की भावना के अनुरूप यह आयोजन विश्व कल्याण के मार्ग को प्रशस्त करेगा। उन्होंने दुनिया भर के न्यायाधीशों से इस दिशा में सक्रिय योगदान देने का भी आह्वान किया।
‘भारत विश्व शांति और सुरक्षा के प्रति प्रतिबद्ध’
मुख्यमंत्री ने संविधान के अनुच्छेद 51 की चर्चा करते हुए कहा कि यह वैश्विक शांति और सौहार्द की दिशा में भारत की सोच को दर्शाता है। उन्होंने कहा कि यह अनुच्छेद संघर्षों के शांतिपूर्ण समाधान और सभी देशों के बीच सम्मानजनक संबंधों को बढ़ावा देने का संदेश देता है। मुख्यमंत्री ने भारत की भूमिका पर प्रकाश डालते हुए कहा कि संयुक्त राष्ट्र जैसे अंतरराष्ट्रीय मंचों पर भारत की सक्रिय भागीदारी से यह स्पष्ट होता है कि भारत विश्व शांति और सुरक्षा के प्रति प्रतिबद्ध है।
सीएमएस के संस्थापक को दी श्रद्धांजलि
सीएमएस के संस्थापक डॉ. जगदीश गांधी को श्रद्धांजलि अर्पित करते हुए मुख्यमंत्री ने कहा कि उनकी दूरदृष्टि और प्रयासों से यह सम्मेलन एक महत्वपूर्ण मंच बना है। उन्होंने डॉ. भारती गांधी और गीता गांधी को इस कार्यक्रम को अनवरत जारी रखने के लिए धन्यवाद दिया।
इस अवसर पर हंगरी की पूर्व राष्ट्रपति, हैती रिपब्लिक के पूर्व प्रधानमंत्री सहित दुनिया के 56 देशों से आए हुए न्यायमूर्तिगण, सीएमएस की संस्थापक निदेशक डॉ भारती गांधी, प्रबंधक गीता गांधी किंगडन समेत स्कूली बच्चे और अभिभावकगण मौजूद रहे।
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