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प्रादेशिक

कोरोना के नए वैरिएंट को लेकर अस्‍पतालों में अलर्ट, सुविधाओं व व्‍यवस्‍थाओं पर प्रदेश सरकार की नजर

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लखनऊ। कोरोना के नए वैरिएंट को लेकर प्रदेश सरकार ने सभी अस्‍प्‍तालों में अलर्ट जारी किया है। प्रदेश के ग्रामीण व शहरी सभी अस्‍पतालों में सुविधाओं व व्‍यवस्‍थाओं पर सरकार अपनी पैनी नजर बनाए हुए है। प्रदेश में नए वैरिएंट के विरूद्ध टीकाकरण, सर्विलांस, टेस्टिंग, ट्रेसिंग पर जोर दिया जा रहा है। जिसका परिणाम है कि कम समय में यूपी देश का पहला ऐसा प्रदेश है जिसने सर्वाधिक टीकाकरण व टेस्‍ट किए हैं।

प्रदेश सरकार ने कोरोना के डेल्‍टा वैरिएंट पर लगाम लगाने संग प्रदेश की चिकित्‍सीय सुविधाओं को जमीनी स्‍तर पर तेजी से बढ़ाने का कार्य किया है जिसके तहत प्रदेश में अब तक 549 ऑक्‍सीजन प्‍लांट के सापेक्ष में 528 क्रियाशील किए जा चुके हैं।

कोरोना टीकाकरण अभियान में उत्‍तर प्रदेश दूसरे प्रदेशों से कहीं आगे हैं। प्रदेश ने सर्वाधिक टेस्‍ट और टीकाकरण कर दूसरे प्रदेशों के समक्ष एक नजीर पेश की है। 24 करोड़ की आबादी वाले यूपी में सीएम योगी आदित्‍यनाथ के निर्देशानुसार एक सधी रणनीति के तहत तेजी से टीकाकरण किया जा रहा है।

जिसके चलते प्रदेश में अब तक 17 करोड़ 08 लाख से अधिक टीकाकरण किया जा चुका है जिसमें 11 करोड़ 57 लाख से अधिक लोगों को पहली डोज और 05 करोड़ 51 लाख से अधिक लोगों को दूसरी डोज दी जा चुकी है। कम समय में तेजी से टीकारकण करने वाले यूपी में अब तक 78.49 प्रतिशत पात्र लोगों ने पहली और 37.32 प्रतिशत पात्र लोगों ने दूसरी डोज का टीका कवर प्राप्‍त कर लिया है।

तेजी से हो रही टेस्टिंग, रिकवरी रेट 98.7 प्रतिशत

प्रदेश में टीकाकरण के साथ ही टेस्टिंग की संख्‍या में तेजी से विस्‍तार किया जा रहा है जिसका परिणाम है कि अब तक प्रदेश में 08 करोड़ 88 लाख से अधिक टेस्‍ट किए जा चुके हैं। बीते 24 घंटों में हुई 1 लाख 72 हजार से अधिक टेस्टिंग में संक्रमण के 10 नए मामलों की पुष्टि हुई वहीं 03 लोगों ने कोरोना को मात दी है। प्रदेश में एक्टिव कोविड केस की संख्‍या 139 व रिकवरी रेट 98.7 प्रतिशत है।

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उत्तर प्रदेश

श्रीकृष्ण जन्मभूमि विवाद को लेकर दाखिल याचिकाओं पर सुप्रीम कोर्ट में टली सुनवाई

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नई दिल्ली। मथुरा के श्रीकृष्ण जन्मभूमि विवाद को लेकर दाखिल याचिकाओं पर सुप्रीम कोर्ट में सुनवाई टल गई है। अगली सुनवाई एक अप्रैल से शुरू होगी। अगली सुनवाई तक कृष्णजन्मभूमि सर्वे मामले पर रोक जारी रहेगी। बता दें कि मुस्लिम पक्ष की कई याचिकाएं SC में दाखिल हुई हैं। इसमें विवादित जगह पर सर्वे की इजाज़त देने, निचली अदालत में लंबित सभी मुकदमों को हाई कोर्ट के अपने पास सुनवाई के लिए ट्रांसफर करने को चुनौती देने वाली याचिकाएं भी शामिल हैं।

सुप्रीम कोर्ट ने और क्या कहा?

सुप्रीम कोर्ट ने बुधवार को इलाहाबाद हाई कोर्ट के उस आदेश पर अपनी रोक बढ़ा दी, जिसमें मथुरा में शाही ईदगाह मस्जिद परिसर के अदालत की निगरानी में सर्वेक्षण की अनुमति दी गई थी। यह परिसर कृष्ण जन्मभूमि मंदिर के निकट स्थित है, जो हिंदुओं के लिए महत्वपूर्ण धार्मिक महत्व का स्थल है। मुख्य न्यायाधीश संजीव खन्ना और न्यायमूर्ति संजय कुमार और न्यायमूर्ति केवी विश्वनाथन की पीठ ने कहा कि वह मस्जिद परिसर के अदालत की निगरानी में सर्वेक्षण के खिलाफ ‘ट्रस्ट शाही मस्जिद ईदगाह प्रबंधन समिति’ की याचिका पर सुनवाई अप्रैल से शुरू होने वाले सप्ताह के लिए टालते हैं।

पीठ ने कहा कि इस बीच, शाही ईदगाह मस्जिद परिसर के अदालत की निगरानी में सर्वेक्षण पर रोक लगाने वाला इलाहाबाद हाई कोर्ट का अंतरिम आदेश जारी रहेगा। शीर्ष अदालत ने पिछले साल 16 जनवरी को सबसे पहले हाई कोर्ट के 14 दिसंबर, 2023 के आदेश के क्रियान्वयन पर रोक लगा दी थी। हाई कोर्ट ने शाही ईदगाह मस्जिद परिसर के अदालत की निगरानी में सर्वेक्षण की अनुमति दी थी और इसकी देखरेख के लिए एक अदालत आयुक्त की नियुक्ति पर सहमति व्यक्त की थी।

हिंदू पक्ष का दावा है कि परिसर में ऐसे संकेत हैं जो बताते हैं कि इस स्थान पर कभी मंदिर हुआ करता था। हिंदू पक्षों की ओर से पेश वकील विष्णु शंकर जैन ने कहा था कि मस्जिद समिति की अपील हाई कोर्ट के 14 दिसंबर, 2023 के आदेश के खिलाफ दायर की गई थी और मामले से जुड़े आदेश निष्फल हो गए हैं।

 

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