खेल-कूद
विनेश को नहीं मिलेगा सिल्वर मेडल, कोर्ट ऑफ आर्बिट्रेशन ने मांग की खारिज
नई दिल्ली। पेरिस ओलंपिक में महिला 50 किलो वर्ग कुश्ती प्रतियोगिता के फाइनल से पहले 100 ग्राम ज्यादा वजन होने के कारण विनेश फोगाट को डिस्क्वालिफाई कर दिया गया था। विनेश ने इसके खिलाफ कोर्ट ऑफ आर्बिट्रेशन (CAS) में संयुक्त रूप से सिल्वर मेडल की मांग की थी। लेकिन विनेश की इस मांग को खारिज कर दिया गया है।
महिला पहलवान विनेश फोगाट की इस अपील को खारिज किए जाने के साथ ही 140 करोड़ भारतवासियों का बड़ा झटका लगा है। पेरिस ओलंपिक में भारत ने कुल 6 मेडल जीते। जिसमें से पांच ब्रॉन्ज और एक सिल्वर मेडल रहा। पेरिस ओलंपिक में 9 अगस्त को विनेश फोगाट जब फाइनल मुकाबला खेलने पहुंची तो 100 ग्राम वजन ज्यादा होने की वजह से उन्हें डिस्क्वालिफाई कर दिया गया। जिसके चलते विनेश गोल्ड मेडल मुकाबले से बाहर हो गईं। इसके बाद विनेश ने कोर्ट ऑफ आर्बिट्रेशन फॉर स्पोर्ट्स में अपील की उन्हें संयुक्त रूप से सिल्वर मेडल मिलना चाहिए।
विनेश की इस अपील पर बार-बार सुनवाई टलती गई। पहले इस पर फैसला 11 अगस्त को आना था, फिर 13 अगस्त, फिर 16 अगस्त को फैसले की तारीख दी गई। पर 14 अगस्त को CAS ने भारतवासियों की उम्मीदों पर पानी फेर दिया। और ये फैसला दिया की विनेश फोगाट की अपील को खारिज किया जाता है।
खेल-कूद
भारतीय टीम के पूर्व क्रिकेटर रॉबिन उथप्पा पर लगा धोखाधड़ी का आरोप, अरेस्ट वारंट जारी
नई दिल्ली। भारतीय टीम के पूर्व क्रिकेटर रॉबिन उथप्पा को PF में धोखाधड़ी के मामले में अरेस्ट वारंट जारी हुआ था। रिपोर्ट के मुताबिक उथप्पा सेंटॉरस लाइफस्टाइल ब्रांड प्राइवेट लिमिटेड नाम की कंपनी में हिस्सेदार हैं। इस कंपनी ने कर्मचारियों के खातों से प्रोविडेंट फंड यानी PF का पैसा तो काट लिया लेकिन उसे जमा नहीं किया। जिसके कारण से लगभग 23 लाख रुपए की धोखाधड़ी सामने आई है। इसी वजह से 4 दिसंबर को उथप्पा के खिलाफ अरेस्ट वारंट जारी किया गया था। उन्हें पूरे पैसे जमा करने के लिए 27 दिसंबर तक का समय भी दिया गया। लेकिन अगर वह ऐसा नहीं कर पाते हैं, तो उन्हें फिर गिरफ्तार किया जा सकता है। अब इससे पहले ही उथप्पा की तरफ से बयान सामने आया है।
रॉबिन उथप्पा ने कंपनियों को उधार दिए थे पैसे
रॉबिन उथप्पा ने सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म एक्स पर पोस्ट करते हुए लिखा है कि मेरे खिलाफ PF मामले की हाल की खबरों सामने आने के बाद, मैं स्ट्रॉबरी लेंसेरिया प्राइवेट लिमिटेड, सेंटारस लाइफस्टाइल ब्रांड्स प्राइवेट लिमिटेड और बेरीज फैशन हाउस के बारे में अपनी भागीदारी के बारे में बताना चाहता हूं। मुझे 2018-19 में इन कंपनियों में डायरेक्टर के रूप में नियुक्त किया गया था। क्योंकि कर्ज के तौर पर मैंने इन कंपनियों को पैसे दिए थे। मेरे पास सक्रिय कार्यकारी भूमिका नहीं थी, एक प्रोफेशनल क्रिकेटर, टीवी प्रेजेंटर और कमेंटेटर के रूप में काम को देखते हुए मेरे पास इसमें भाग लेने के लिए समय नहीं था। आज तक जिन अन्य कंपनियों को मैंने कर्ज दिया है। उनमें भी कार्यकारी भूमिका नहीं निभाता हूं।
— Robbie Uthappa (@robbieuthappa) December 21, 2024
ऊपर से ये कंपनिया मेरे द्वारा दिए गए उधार को चुकाने में असफल रही हैं। जिसके कारण मुझे कानूनी कार्यवाही शुरू करनी पड़ी। कई साल पहले मैंने डायरेक्टर के पद से भी इस्तीफा दे दिया था। जब PF अधिकारियों ने बकाया भुगतान की मांग की, तो मेरी कानूनी टीम ने जवाब दिया और बताया कि इसमें मेरी कोई भी भूमिका नहीं है। इसके बाद कार्यवाही जारी है। मेरे कानूनी सलाहकार आने वाले दिनों में इस मामलों को सुलझाने के लिए कदम उठाएंगे। मैं मीडिया से भी आग्रह करना चाहूंगा कि वे कृपया पूरे तथ्य पेश करें।
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