उत्तर प्रदेश
मिशन शक्ति की प्रभावी निगरानी के लिए होगा वेब पोर्टल का विकास
लखनऊ। उत्तर प्रदेश में नारी शक्ति की सुरक्षा, सशक्तिकरण व सम्मान को प्रश्रय देने के लिए प्रतिबद्ध योगी सरकार मिशन शक्ति के जरिए कई विशेष अभियानों का संचालन करने जा रही है। इन सभी विशेष अभियानों के संचालन की प्रगति, इनसे जुड़ी चुनौतियों तथा प्रभावी कार्यान्वयन के लिए सीएम योगी के विजन अनुसार एक वेब पोर्टल का निर्माण व विकास किया जाएगा।
उल्लेखनीय है कि मिशन शक्ति 5.0 के अंतर्गत विभिन्न सरकारी विभागों द्वारा किए गए प्रयासों की विवेचना और उनके डाटाबेस संकलन के लिए गृह विभाग की जरूरतों अनुसार इस वेब पोर्टल का विकास किया जाएगा। उत्तर प्रदेश सिस्टम्स कॉरपोरेशन लिमिटेड (यूपीडेस्को) द्वारा इस विकास व निर्माण प्रक्रिया को पूरा किया जाएगा।
व्यापक डैशबोर्ड की तरह कार्य करेगा वेब पोर्टल
यह वेब पोर्टल डैशबोर्ड की तरह काम करेगा तथा इसे रोल बेस्ड यूजर मैनेजमेंट, मास्टर क्रिएशन, रिपोर्टिंग, डाटा इनपुट मॉड्यूल समेत समरी, स्टेटस व इवेंट अपलोड रिपोर्ट समेत तमाम खूबियों से लैस किया जाएगा। यह मिशन शक्ति पोर्टल विभिन्न विभागों द्वारा नारी सुरक्षा व सशक्तिकरण को बढ़ावा देने के लिए चलाए जा रहे विशेष अभियानों की निगरानी का मार्ग प्रशस्त करेगा।
वेब आधारित डाटा अपलोड प्रणाली का होगा पोर्टल के जरिए विकास
उत्तर प्रदेश सरकार के गृह विभाग के लिए महिलाओं एवं बालिकाओं की सुरक्षा, सम्मान एवं स्वावलंबन से संबंधित विभिन्न विभागों में चल रही योजनाओं की दैनिक गतिविधियों के संबंध में विशेष अभियान की प्रभावी निगरानी के लिए मिशन शक्ति पोर्टल के अंतर्गत इस पोर्टल को विकसित किया जाएगा। यह वेब आधारित डाटा अपलोड प्रबंधन प्रणाली सभी संबंधित विभागों में आयोजित होने वाले आयोजनों से संबंधित स्थिति की निगरानी का प्लैटफॉर्म प्रदान करेगा, जिसमें पोर्टल पर आयोजनों की फोटो और वीडियो अपलोड करने के साथ-साथ उनकी दैनिक गतिविधियों के दस्तावेजों को ऑनलाइन सब्मिट करने की पूरी प्रक्रिया शामिल है।
यह संबंधित विभागों में आयोजित होने वाले दैनिक क्रियाकलापों की स्थिति की निगरानी के काम को सरल बनाने का एक तरीका है। इस प्रणाली के माध्यम से इवेंट रिकॉर्ड की स्थिति को बनाए रखना और उन्हें खोजना आसान हो जाएगा। परियोजना का उद्देश्य प्रभावी निगरानी में परिचालन दक्षता, समन्वय, पहुंच, रिपोर्टिंग और गति में सुधार करना है।
इन सुविधाओं से किया जाएगा वेब बेस्ड डाटा अपलोड मैनेजमेंट सिस्टम को युक्त
– अपलोड प्रक्रिया की प्रभावी ढंग से निगरानी और प्रबंधन के लिए एक व्यापक डैशबोर्ड प्रदान करेगा।
– नियुक्त नोडल अधिकारियों की रोल बेस्ड एक्सेसिबिलिटी के साथ ही यह वीडियो और फोटोग्राफ और टिप्पणियों/टिप्पणियों की अपलोड प्रक्रिया में पारदर्शिता, दक्षता और जवाबदेही बढ़ाने का कार्य करेगा।
– एक केंद्रीकृत मंच के तौर पर कार्य करते हुए यह रियल टाइम के आंकड़ों के माध्यम से निर्णय लेने में सुधार करेगा।
– निगरानी के लिए उपयोगकर्ता के अनुकूल इंटरफ़ेस प्रदान करेगा तथा रियल टाइम बेस्ड ट्रैकिंग, अपलोड को सक्षम करेगा।
– विस्तृत ड्रिलडाउन रिपोर्ट (डाटा विश्लेषण की एक प्रक्रिया) के माध्यम से जवाबदेही में वृद्धि करने में सहायक होगा।
– डाटा सबमिट होने के बाद, सिस्टम यह संकेत देगा कि इसे सबमिट कर दिया गया है, बशर्ते सभी सत्यापन और शर्तें पूरी हों। संकलित रिपोर्ट स्वचालित रूप से विभाग और व्यवस्थापक दोनों स्तरों पर डैशबोर्ड पर प्रदर्शित की जाएंगी।
– डोमेन को अधिक सुरक्षित वातावरण के लिए एचटीटीपीएस पर संचालित करने के लिए एसएसएल सर्टिफिकेशन के साथ पंजीकृत किया जाएगा।
– सॉफ्टवेयर को एमईआईटी-वाई पैनल वाले क्लाउड सर्वर पर तैनात किया जाएगा। एमआईएस रिपोर्ट डैशबोर्ड में समग्र विश्लेषण, विभागवार रिपोर्ट और पाई चार्ट और बार चार्ट के साथ अन्य आवश्यक रिपोर्टिंग शामिल होगी।
– रिपोर्ट डेटा को एमएस एक्सेल प्रारूप में डाउनलोड करने का विकल्प होगा। प्रत्येक स्तर पर किए गए सभी कार्यों को रिकॉर्ड किया जाएगा तथा ऑडिट ट्रेल बनाए रखा जाएगा। इसके साथ ही, विभिन्न प्रकार की रिपोर्टों को कलर कोडिंग करने का विकल्प भी उपलब्ध होगा।
– विशेष अभियान के अंतर्गत आयोजित किए गए कार्यक्रमों की जिलेवार तथा विभागवार इवेंट स्टेटस व डेली रिपोर्ट के संकलन, फोटोग्राफ अपलोडिंग डीटेल्स समेत विभिन्न प्रकार के स्टैटिस्टिक डाटा के संकलन का मार्ग प्रशस्त होगा।
उत्तर प्रदेश
उत्तर प्रदेश में हुई 559 वर्ग किमी. वन व वृक्ष आच्छादन की वृद्धि
लखनऊ | मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के नेतृत्व में पिछले साढ़े सात वर्ष से चल रहा ‘पेड़ लगाओ-पेड़ बचाओ जनअभियान’ रंग ले आया। 2024 में 36.80 करोड़ से अधिक पौधरोपण करने वाले उत्तर प्रदेश में आईएसएफआर 2023 के अनुसार 559 वर्ग किमी. वन व वृक्ष आच्छादन से अधिक की वृद्धि हुई है। उत्तर प्रदेश से आगे केवल छत्तीसगढ़ है, जबकि अन्य सभी राज्य उत्तर प्रदेश से पीछे हैं। इस उपलब्धि पर मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने वन विभाग के अधिकारियों व कर्मचारियों के नेतृत्व में आए इस सकारात्मक पहल की बधाई दी। वहीं केंद्रीय वन-पर्यावरण मंत्री भूपेंद्र यादव ने भी इस उपलब्धि पर उत्तर प्रदेश को शुभकामना दी।
देहरादून में भारत वन स्थिति रिपोर्ट (आईएसएफआर) 2023 की रिपोर्ट प्रस्तुत की गई
🌳भारत का वन एवं वृक्ष आवरण 8,27,357 वर्ग किमी है, जो देश के भौगोलिक क्षेत्र का 25.17% है। इसमें 7,15,343 वर्ग किमी (21.76%) वन आवरण और 1,12,014 वर्ग किमी (3.41%) वृक्ष आवरण है।
🌳2021 के आकार-फ़ाइल आधारित मूल्यांकन की तुलना में वन एवं वृक्ष आवरण में 1,445 वर्ग किमी की वृद्धि हुई है, जिसमें वन आवरण में 156 वर्ग किमी और वृक्ष आवरण में 1289 वर्ग किमी की वृद्धि शामिल है।
🌳वन एवं वृक्ष आवरण में अधिकतम वृद्धि दिखाने वाले शीर्ष चार राज्यों में उत्तर प्रदेश दूसरे स्थान पर है। छत्तीसगढ़ (684 वर्ग किमी) के साथ शीर्ष पर है। ओडिशा का क्षेत्रफल (558.57 वर्ग किमी), राजस्थान (394 वर्ग किमी) व झारखंड (286.96 वर्ग किमी.) है।
इनसेट
इन राज्यों में हुई वृद्धि
राज्य एरिया
छत्तीसगढ़ 683.62 वर्ग किमी.
उत्तर प्रदेश 559.19 वर्ग किमी.
ओडिशा 558.57 वर्ग किमी.
राजस्थान 394.46 वर्ग किमी.
झारखंड 286.96 वर्ग किमी.
‘हरित उत्तर प्रदेश’ बनने की दिशा में तीव्रता से गतिमान है नया उत्तर प्रदेश:सीएम योगी
मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने अपने सोशल मीडिया एकाउंट ‘एक्स’ पर पोस्ट किया। उन्होंने लिखा कि नया उत्तर प्रदेश ‘हरित उत्तर प्रदेश’ बनने की दिशा में तीव्रता से गतिमान है। आईएसएफआर 2023 के अनुसार उत्तर प्रदेश में हुई 559 वर्ग कि.मी. की वन और वृक्ष आच्छादन की ऐतिहासिक वृद्धि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी जी के आह्वान ‘एक पेड़ मां के नाम’ और भारतीय दर्शन ‘माता भूमिः पुत्रोऽहं पृथिव्याः’ भाव से उत्तर प्रदेश वासियों के जुड़ाव का प्रतिफल है।
मानवता के कल्याण को समर्पित इस ऐतिहासिक उपलब्धि के लिए पौधरोपण अभियान से जुड़े सभी लोगों, प्रकृति प्रेमियों एवं प्रदेश वासियों को हार्दिक बधाई!
यूपी में लगाए गए 36.80 करोड़ से अधिक पौधे
मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के नेतृत्व में एक दिन (20 जुलाई) को 36.51 करोड़ पौधरोपण कर इतिहास रचने वाले उत्तर प्रदेश ने 30 सितंबर तक 36.80 करोड़ से अधिक पौधरोपण किए। साढ़े सात वर्ष में योगी आदित्यनाथ के नेतृत्व में 210 करोड़ पौधरोपण किये गए।
भारतीय वन सर्वेक्षण, देहरादून द्वारा वर्ष 2023 में प्रकाशित रिपोर्ट के परीक्षण करने पर उत्तर प्रदेश में वनावरण की स्थिति…
वनावरण
1. अति सघन वन 2,688.73 वर्ग कि०मी०
2. मध्यम सघन वन 4,001.41 वर्ग कि०मी०
3. खुला वन 8.355.66 वर्ग कि०मी०
4. कुल योग 15045.80 वर्ग कि०मी० (6.24%)
वृक्षावरण 8950.92 वर्ग कि0मी (3.72%)
कुल वनावरण व वृक्षावरण 23996.72 वर्ग कि0मी0 (9.96%)
भारतीय वन सर्वेक्षण, देहरादून द्वारा वर्ष 2021 (यथा संशोधित) में प्रकाशित रिपोर्ट में उत्तर प्रदेश से सम्बन्धित आंकड़े…
वनावरण
1. अति सघन वन 2655.29 वर्ग कि०मी०
2. मध्यम सघन वन 3995.53 वर्ग कि०मी०
3. खुला वन 8276.55 वर्ग कि०मी०
4. कुल योग 14927.37 वर्ग कि०मी० (6.20%)
5-वृक्षावरण 8510.16 वर्ग कि0मी0 (3.53%)
6-कुल वनावरण व वृक्षावरण 23437.53 वर्ग कि0मी0.( 9.73%)
सर्वाधिक वृद्धि वाले उत्तर प्रदेश के पांच जनपद
1- झांसी – 8597 एकड़
2- अमरोहा – 7769 एकड़
3- इटावा – 7127 एकड़
4- कानपुर नगर – 6249 एकड़
5- बिजनौर – 3343 एकड
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