उत्तर प्रदेश
अयोध्या: 22 जनवरी को होगी रामलला की प्राण-प्रतिष्ठा, मंत्री सुरेश खन्ना ने किया ट्वीट
लखनऊ/अयोध्या। भारत सहित दुनिया भर के रामभक्तों के लिए वह बहुप्रतीक्षित तारीख सामने आ गई है, जिसका वे लंबे समय से इंतजार कर रहे थे। अयोध्या में बन रहे भव्य राम मंदिर में भगवान की प्रतिमा की प्राण-प्रतिष्ठा की तारीख का ऐलान कर दिया गया है। अयोध्या में राम मंदिर में प्राण प्रतिष्ठा 22 जनवरी को की जाएगी। उप्र के वरिष्ठ कैबिनेट मंत्री सुरेश कुमार खन्ना ने ट्वीट कर इसकी जानकारी दी है।
22 जनवरी को गर्भगृह में होगी रामलला की प्राण प्रतिष्ठा। जय श्री राम 🙏 pic.twitter.com/BiZvqwLUXd
— सुरेश कुमार खन्ना (@SureshKKhanna) April 28, 2023
दरअसल, श्रीरामजन्मभूमि तीर्थक्षेत्र ट्रस्ट के महासचिव चंपत राय ने सर्राफा असोसिएशन के एक कार्यक्रम को बतौर मुख्य अतिथि सम्बोधित करते हुए बताया कि अगले साल 22 जनवरी को रामलला को स्थायी गर्भगृह में प्रतिष्ठित किया जाएगा।
उन्होंने कहा कि भगवान की प्रतिमा की प्राण-प्रतिष्ठा के लिए कई तिथियों पर विचार किया गया। अंत में 22 जनवरी पर मुहर लगाई गई। अब योगी सरकार के काबीना मंत्री सुरेश खन्ना ने भी इसे लेकर ट्वीट किया है।
जानकारी के मुताबिक, 22 जनवरी को प्रतिमा की प्राण-प्रतिष्ठा को ध्यान में रखते हुए गर्भगृह का निर्माण अक्टूबर तक पूरा कर लेने का लक्ष्य रखा गया है। इसके साथ ही नेपाल से लाई गई शालिग्राम शिला से भगवान की राम की प्रतिमा को गढ़ने का काम भी अक्टूबर तक पूरा कर लिया जाएगा।
चंपत राय ने बताया कि गर्भगृह के निर्माण में मकराना मार्बल का इस्तेमाल किया जा रहा है। उन्होंने बताया कि मंदिर के प्रथम तल पर राम दरबार होगा। दूसरा तल खाली रहेगा। इसकी उपयोगिता मंदिर की ऊंचाई के लिए होगी। गर्भगृह तक पहुंचने के लिए 34 सीढ़ियों का इस्तेमाल किया जाएगा। चंपत राय ने बताया कि भगवान राम की मूर्ति अयोध्या में ही बनाई जाएगी और यह प्रतिमा पांच साल के बालक की होगी।
रामनवमी पर रामलला के मस्तक पर सूर्य किरणों का अभिषेक हो, इसके लिए भी वैज्ञानिकों की टीम ने अपना काम पूरा कर लिया है। इसे सूर्य तिलक नाम दिया गया है। तकरीबन पांच मिनट तक भगवान राम के ललाट पर सूरज की किरणें रहेंगी, इसकी व्यवस्था की जा रही है। यह प्रयोग सफल भी हो गया है।
राम मंदिर का 70% निर्माण पूरा हो चुका है। गर्भगृह के पिलर 14 फीट तक बनकर तैयार हो चुके हैं। मंदिर निर्माण तीन चरणों में पूरा होगा। पहला चरण अगस्त 2023 तक पूरा होगा। दूसरा चरण दिसंबर 2024 में, जबकि 2025 तक मंदिर आकार ले चुका होगा। जनवरी 2024 में मंदिर में दर्शन-पूजन शुरू हो सकेगा। मंदिर निर्माण में करीब 800 करोड़ रुपए खर्च हो चुके हैं। कुल खर्च का अनुमान करीब 1800 करोड़ रुपए लगाया गया है।
उत्तर प्रदेश
महाकुम्भ 2025 के सफल आयोजन के लिए 07 हजार बसों के अलावा 550 शटल बसें संचालित करेगा परिवहन निगम
लखनऊ/प्रयागराज। मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के निर्देशन में उ0प्र0 परिवहन निगम दिव्य, भव्य एवं ग्रीन महाकुम्भ मेला-2025 के सफल आयोजन के लिए 07 हजार बसों को संचालित करेगा। परिवहन निगम प्रदेश के सभी महत्वपूर्ण स्थानों से सुगम, सस्ती एवं आरामदायक सुविधायें उपलब्ध कराने के लिए कटिबद्ध है।
महाकुम्भ मेला में सड़क मार्ग से पूर्वाचल से अधिक संख्या में तीर्थयात्री आते हैं। इसके दृष्टिगत पूर्वांचल के छोटे-छोटे कस्बों से मेला स्थल को जोड़ते हुए बसों के संचालन की योजना परिवहन निगम ने तैयार की है। महिला एवं वृद्ध तीर्थयात्रियों को विशेष सुविधा प्रदान करने की योजना बनाई गयी है।
3 चरणों में संचालन
एमडी परिवहन निगम मासूम अली सरवर ने बताया कि महाकुम्भ मेला 2025 के दौरान मुख्य स्नान 13 जनवरी से 26 फरवरी, 2025 के बीच पड़ रहे, जिसमें मौनी अमावस्या का शाही स्नान 29 जनवरी एवं बसंत पंचमी का शाही स्नान 03 फरवरी, 2025 को है। महाकुम्भ 2025 के दौरान लगभग 6800 परिवहन बसें एवं लगभग 200 वातानुकूलित बसों का संचालन किये जाने की योजना है।
प्रथम चरण में 12 जनवरी से 23 जनवरी तक द्वितीय चरण में 24 जनवरी से 07 फरवरी तक एवं तीसरे चरण में 08 फरवरी से 27 फरवरी तक तीन चरणों में महाकुम्भ मेले में संचालन को बाटा गया है। निगम के कुल 19 क्षेत्रों से लगभग 165 मार्गों पर निगम की बसों का संचालन किया जायेगा।
550 शटल बसें चलाई जाएंगी
एमडी परिवहन निगम ने बताया कि बसों के अतिरिक्त 550 शटल बसें विभिन्न स्थाई एवं अस्थाई बस स्टेशनों एवं विभिन्न मार्गों पर निर्धारित वाहन पार्किंग स्थलों से संगम तट के निकट स्थित भारद्वाज पार्क एवं भारत स्काउट गाइड कालेज बैक रोड तक तथा लेप्रोसी बस स्टेशन व अंधावा बस स्टेशन तक संचालित किये जाने की योजना है।
उन्होंने बताया कि मुख्य स्नान पर्व पर शश्रद्धालुओं की अत्यधिक भीड़ बढ़ने के कारण शास्त्रीपुल, फाफामऊ पुल एवं यमुना पुल यातायात हेतु प्रतिबंधित रहने की स्थिति में शहर के बाहर कुल 08 अस्थाई बस स्टेशन गठित किये जायेंगे, जिसमें झूसी बस स्टेशन, दुर्जनपुर बस स्टेशन, सरस्वतीगेट बस स्टेशन, नेहरू पार्क बस स्टेशन, बेली कछार बस स्टेशन, बेला कछार बस स्टेशन, सरस्वती हाइटेक सिटी मेनू एवं लेप्रोसी मिशन बस स्टेशन हैं।
इन मार्गों प्रभाग संचालन
एमडी ने बताया कि झूसी बस स्टेशन से दोहरी घाट, बड़हलगंज, गोला, उरूवा, खजनी, सीकरीगंज, गोरखपुर मार्ग, आजमगढ़-बलिया-मऊ व सम्बद्ध मार्ग के लिए बसों का संचालन किया जायेगा। दुर्जनपुर बस स्टेशन का उपयोग झूसी बस स्टेशन की बसों का संचालन मेला प्रशासन द्वारा रोके जाने पर किया जायेगा।
इसी प्रकार सरस्वतीगेट बस स्टेशन से बदलापुर, शाहगंज, टांडा व सम्बद्ध मार्ग एवं वाराणसी एवं संबद्ध मार्ग के लिए बसों का संचालन किया जायेगा, नेहरू पार्क बस स्टेशन से कानपुर एवं कौशाम्बी को संबद्ध मार्ग के लिए, बेला कछार बस स्टेशन से रायबरेली लखनऊ व संबद्ध मार्ग एवं फैजाबाद, अयोध्या, गोण्डा, बस्ती, बहराइच व संबद्ध मार्ग के लिए, सरस्वती हाइटेक सिटी नैनी से विन्ध्यांचल, मिर्जापुर, शक्तिनगर व संबद्ध मार्ग के लिए, लैप्रोसी मिशन बस स्टेशन से बांदा-चित्रकूट व संबद्ध मार्ग एवं रीवा-सीधी व संबद्ध मार्ग के लिए संचालन किया जायेगा।
नेहरू पार्क बस स्टेशन पर बसों का संचालन मेला प्रशासन द्वारा रोके जाने पर बसों का संचालन बेली कछार बस स्टेशन से किया जायेगा।
-
नेशनल3 days ago
गैस चेंबर बनी दिल्ली, AQI 500 तक पहुंचा
-
मनोरंजन3 days ago
असित मोदी के साथ झगड़े पर आया दिलीप जोशी का बयान, कही ये बात
-
छत्तीसगढ़3 days ago
CRPF 241 बस्तियां बटालियन पहुंचे सीएम विष्णु देव साय, जवानों को भोजन परोसा, बढ़ाया हौसला
-
प्रादेशिक3 days ago
कक्षा 12 के छात्रों ने शिक्षिका की कुर्सी के नीचे लगाया बम, कर दिया विस्फोट
-
अन्तर्राष्ट्रीय3 days ago
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने इतालवी समकक्ष जियोर्जिया मेलोनी से की मुलाकात
-
वीडियो3 days ago
video: भगवान ऐसा दोस्त किसी को ना दे
-
अन्तर्राष्ट्रीय3 days ago
लॉरेंस बिश्नोई का भाई अनमोल बिश्नोई अमेरिका में गिरफ्तार, 10 लाख का था इनाम
-
उत्तराखंड2 days ago
उत्तराखंड सरकार ने भू-कानून के उल्लंघन पर अपनाया सख्त रुख