उत्तर प्रदेश
स्वामी प्रसाद मौर्या को बेटी सहित इस्लाम धर्म स्वीकार कर लेना चाहिए: भाजपा सांसद
बलिया। उप्र के सलेमपुर संसदीय क्षेत्र से भाजपा सांसद रविन्द्र कुशवाहा ने स्वामी प्रसाद मौर्य के बयान पर जमकर बोला है। बलिया के सिकंदरपुर में एक कार्यक्रम के दौरान सांसद ने न केवल स्वामी प्रसाद मौर्या बल्कि उनकी बेटी संघमित्रा को भी नही बख्शा।
सलेमपुर सांसद रविन्द्र कुशवाहा ने कहा कि स्वामी प्रसाद मौर्या और उनकी बेटी को इस्लाम धर्म स्वीकार कर लेना चाहिए। हमारी सनातन संस्कृति क्या कहती है, बचपन से जब हम होश सम्भालते हैं तभी से हम रामचरित मानस, गीता, रामायण तथा जो पौराणिक कहानिया हैं।
रविन्द्र कुशवाहा ने कहा कि हमारे धर्म ग्रंथो के बारे में पढ़कर उससे शिक्षा लेते हुए, हम बड़े होते हैं। कोई भी व्यक्ति जो हिन्दू धर्म में पैदा हुआ है, जिनके माता-पिता तथा पूर्वज हिन्दू है, उसका भी संस्कार यही होगा। बाद में जाकर संस्कार बिगड़ जाता है तो हम क्या कह सकते है,हम यही कहेंगे कि इस्लाम धर्म स्वीकार कर लें।
जब तक कैबिनेट मंत्री रहे तब नहीं याद आया
बीजेपी सांसद ने कहा कि स्वामी प्रसाद मौर्या जो बोल रहे है, हम नही समझते हैं कि ये उनके संस्कार की देन है। उनका यही संस्कार है कि जब तक वो सत्ता में रहेंगे हम उसके खिलाफ नहीं बोलेंगे। सांसद ने कहा स्वामी प्रसाद पांच साल तक कैबिनेट मंत्री के रूप में रहे, सत्ता सुख प्राप्त किये। तब एक बार भी उनको ये याद नही आया कि BJP सनातन संस्कृति को मानने वाली धार्मिक पार्टी है।
संघमित्रा को पार्टी खराब लग रही तो इस्तीफा
रविंद्र कुशवाहा ने कहा कि समाजवादी पार्टी में अखिलेश यादव के साथ आने के बाद आपको रामायण चौपाई में खोट दिखाई दे रही है। इस तरह की भाषा दोगलापन है। वो जिस वोटवर्ग के लालच में वो समझते है कि हमको सस्ती लोकप्रियता हासिल हो जाएगी, वो लोग भी हिन्दू धर्म को मानने वाले है।
राम, कृष्ण भगवान को गाली देकर के किसी पार्टी या किसी वर्ग विशेष के चहेते नहीं बन सकते। उनकी बेटी संघमित्रा जो भाजपा की सांसद है कह रही है कि विश्लेषण होना चाहिए। अगर संघमित्रा को इस पार्टी में खराबी नज़र आ रही है तो अभी वो इस्तीफ़ा दे दें। अगर उनमे नैतिकता नहीं है तो जाकर इस्लाम धर्म स्वीकार कर लें।
उत्तर प्रदेश
उत्तर प्रदेश में हुई 559 वर्ग किमी. वन व वृक्ष आच्छादन की वृद्धि
लखनऊ | मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के नेतृत्व में पिछले साढ़े सात वर्ष से चल रहा ‘पेड़ लगाओ-पेड़ बचाओ जनअभियान’ रंग ले आया। 2024 में 36.80 करोड़ से अधिक पौधरोपण करने वाले उत्तर प्रदेश में आईएसएफआर 2023 के अनुसार 559 वर्ग किमी. वन व वृक्ष आच्छादन से अधिक की वृद्धि हुई है। उत्तर प्रदेश से आगे केवल छत्तीसगढ़ है, जबकि अन्य सभी राज्य उत्तर प्रदेश से पीछे हैं। इस उपलब्धि पर मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने वन विभाग के अधिकारियों व कर्मचारियों के नेतृत्व में आए इस सकारात्मक पहल की बधाई दी। वहीं केंद्रीय वन-पर्यावरण मंत्री भूपेंद्र यादव ने भी इस उपलब्धि पर उत्तर प्रदेश को शुभकामना दी।
देहरादून में भारत वन स्थिति रिपोर्ट (आईएसएफआर) 2023 की रिपोर्ट प्रस्तुत की गई
🌳भारत का वन एवं वृक्ष आवरण 8,27,357 वर्ग किमी है, जो देश के भौगोलिक क्षेत्र का 25.17% है। इसमें 7,15,343 वर्ग किमी (21.76%) वन आवरण और 1,12,014 वर्ग किमी (3.41%) वृक्ष आवरण है।
🌳2021 के आकार-फ़ाइल आधारित मूल्यांकन की तुलना में वन एवं वृक्ष आवरण में 1,445 वर्ग किमी की वृद्धि हुई है, जिसमें वन आवरण में 156 वर्ग किमी और वृक्ष आवरण में 1289 वर्ग किमी की वृद्धि शामिल है।
🌳वन एवं वृक्ष आवरण में अधिकतम वृद्धि दिखाने वाले शीर्ष चार राज्यों में उत्तर प्रदेश दूसरे स्थान पर है। छत्तीसगढ़ (684 वर्ग किमी) के साथ शीर्ष पर है। ओडिशा का क्षेत्रफल (558.57 वर्ग किमी), राजस्थान (394 वर्ग किमी) व झारखंड (286.96 वर्ग किमी.) है।
इनसेट
इन राज्यों में हुई वृद्धि
राज्य एरिया
छत्तीसगढ़ 683.62 वर्ग किमी.
उत्तर प्रदेश 559.19 वर्ग किमी.
ओडिशा 558.57 वर्ग किमी.
राजस्थान 394.46 वर्ग किमी.
झारखंड 286.96 वर्ग किमी.
‘हरित उत्तर प्रदेश’ बनने की दिशा में तीव्रता से गतिमान है नया उत्तर प्रदेश:सीएम योगी
मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने अपने सोशल मीडिया एकाउंट ‘एक्स’ पर पोस्ट किया। उन्होंने लिखा कि नया उत्तर प्रदेश ‘हरित उत्तर प्रदेश’ बनने की दिशा में तीव्रता से गतिमान है। आईएसएफआर 2023 के अनुसार उत्तर प्रदेश में हुई 559 वर्ग कि.मी. की वन और वृक्ष आच्छादन की ऐतिहासिक वृद्धि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी जी के आह्वान ‘एक पेड़ मां के नाम’ और भारतीय दर्शन ‘माता भूमिः पुत्रोऽहं पृथिव्याः’ भाव से उत्तर प्रदेश वासियों के जुड़ाव का प्रतिफल है।
मानवता के कल्याण को समर्पित इस ऐतिहासिक उपलब्धि के लिए पौधरोपण अभियान से जुड़े सभी लोगों, प्रकृति प्रेमियों एवं प्रदेश वासियों को हार्दिक बधाई!
यूपी में लगाए गए 36.80 करोड़ से अधिक पौधे
मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के नेतृत्व में एक दिन (20 जुलाई) को 36.51 करोड़ पौधरोपण कर इतिहास रचने वाले उत्तर प्रदेश ने 30 सितंबर तक 36.80 करोड़ से अधिक पौधरोपण किए। साढ़े सात वर्ष में योगी आदित्यनाथ के नेतृत्व में 210 करोड़ पौधरोपण किये गए।
भारतीय वन सर्वेक्षण, देहरादून द्वारा वर्ष 2023 में प्रकाशित रिपोर्ट के परीक्षण करने पर उत्तर प्रदेश में वनावरण की स्थिति…
वनावरण
1. अति सघन वन 2,688.73 वर्ग कि०मी०
2. मध्यम सघन वन 4,001.41 वर्ग कि०मी०
3. खुला वन 8.355.66 वर्ग कि०मी०
4. कुल योग 15045.80 वर्ग कि०मी० (6.24%)
वृक्षावरण 8950.92 वर्ग कि0मी (3.72%)
कुल वनावरण व वृक्षावरण 23996.72 वर्ग कि0मी0 (9.96%)
भारतीय वन सर्वेक्षण, देहरादून द्वारा वर्ष 2021 (यथा संशोधित) में प्रकाशित रिपोर्ट में उत्तर प्रदेश से सम्बन्धित आंकड़े…
वनावरण
1. अति सघन वन 2655.29 वर्ग कि०मी०
2. मध्यम सघन वन 3995.53 वर्ग कि०मी०
3. खुला वन 8276.55 वर्ग कि०मी०
4. कुल योग 14927.37 वर्ग कि०मी० (6.20%)
5-वृक्षावरण 8510.16 वर्ग कि0मी0 (3.53%)
6-कुल वनावरण व वृक्षावरण 23437.53 वर्ग कि0मी0.( 9.73%)
सर्वाधिक वृद्धि वाले उत्तर प्रदेश के पांच जनपद
1- झांसी – 8597 एकड़
2- अमरोहा – 7769 एकड़
3- इटावा – 7127 एकड़
4- कानपुर नगर – 6249 एकड़
5- बिजनौर – 3343 एकड
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