उत्तर प्रदेश
ग्लोबल वार्मिंग की चेतावनी का संज्ञान लेकर बना रहे धरती माता को हरा-भरा : मुख्यमंत्री योगी
गोरखपुर। मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने कहा कि कभी अत्यधिक गर्मी तो कभी अतिवृष्टि और कभी असमय बाढ़ भविष्य के प्रति आगाह करने वाली तथा ग्लोबल वार्मिंग की चेतावनी है। इस चेतावनी का संज्ञान लेकर हम धरती माता को फिर से हरा-भरा बनाने के संकल्प को पूरा करने में जुटे हैं। इस संकल्प की कड़ी में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के आह्वान पर सरकार ने व्यापक जनसहभागिता से उत्तर प्रदेश एक दिन में 36.50 करोड़ पौधरोपण का लक्ष्य हासिल कर नया कीर्तिमान रच दिया है। मुख्यमंत्री ने इस नए रिकॉर्ड के लिए सभी प्रदेशवासियों को बधाई दी है।
सीएम योगी शनिवार शाम प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के आह्वान पर ‘एक पेड़ मां के नाम’ को समर्पित ‘पेड़ लगाओ-पेड़ बचाओ वृक्षारोपण जन अभियान-2024’ के अंतर्गत शनिवार शाम शहीद अशफाक उल्ला खां प्राणी उद्यान (गोरखपुर चिड़ियाघर) में पारिजात पौध का रोपण करने के बाद यहां आयोजित कार्यक्रम को संबोधित कर रहे थे। मुख्यमंत्री ने पर्यावरण में आ रहे परिवर्तन की चर्चा करते हुए कहा कि इस वर्ष की गर्मी लोगों को लंबे समय तक याद रहेगी। अमूमन गोरखपुर और आसपास के जिलों में 42-43 डिग्री तापमान रहता था लेकिन इस वर्ष तापमान 46-47 डिग्री तक पहुंच गया। अत्यधिक गर्मी, भीषण लू, अतिवृष्टि, असमय बाढ़, कभी सूखा पड़ जाना, ये सभी ग्लोबल वार्मिंग की तरफ ध्यान आकृष्ट करते हैं। गत वर्ष अक्टूबर में बाढ़ आई जबकि पहले अधिकतम 15 सितंबर तक बाढ़ आती थी।
प्रकृति कर रही आगाह, समय रहते करना होगा सुधार
सीएम योगी ने कहा कि कभी जुलाई के प्रथम सप्ताह में बाढ़ नहीं आती थी। पर, इस वर्ष जुलाई के प्रथम सप्ताह में बाढ़ आई और इससे प्रदेश के 24 जिले प्रभावित हुए। उन्होंने कहा कि मौसम में यह बदलाव भविष्य के प्रति आगाह करने वाला है। हमें समय रहते सुधार करना होगा अन्यथा प्रकृति अपने हिसाब से सुधार करेगी। प्रकृति की इस चेतावनी का संज्ञान लेकर आज पूरे प्रदेश में जनता जनार्दन की सहभागिता से रिकॉर्ड पौधरोपण किया गया है। पीएम मोदी के आह्वन पर एक पेड़ मां के नाम का अनुसरण करते हुए प्रदेश में हर व्यक्ति, संस्था, विभाग इस पवित्र कार्य से जुड़े हैं। राज्य में एक व्यक्ति की तरफ से मां के नाम तीन-तीन पेड़ लगाए गए हैं। हर तरफ एक ही आह्वान नजर आया, पेड़ लगाना है, पेड़ बचाना है और पर्यावरण को बचाना है।
सात वर्ष में 168 करोड़ पौधरोपण का कीर्तिमान
मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने कहा कि विगत सात वर्ष में प्रदेश में 168 करोड़ पौधरोपण कर कीर्तिमान रचा गया है। इनमें से 75-80 प्रतिशत पेड़ सुरक्षित भी हैं। कहीं नक्षत्र वाटिका बनाई गई है तो कहीं नवग्रह वाटिका और हरिशंकरी वाटिका। मुख्यमंत्री ने कहा कि प्रदेश में पौधों की कमी नहीं है। वन व उद्यान विभाग तथा निजी नर्सरियों के पास 50 करोड़ पौधे थे। इनमें से 36.50 करोड़ का इस्तेमाल आज के अभियान में हुआ है और शेष पौधों का भी क्रमिक रोपण किया जाएगा। उन्होंने कहा कि अब वैश्विक संस्थाएं भी उत्तर प्रदेश में पौधरोपण को मान्यता दे रही हैं। उन्होंने कहा कि कार्बन उत्सर्जन से पर्यावरण को क्षति हो रही है। उसके बचाव के लिए किसानों ने पेड़ लगाने के साथ ही कार्बन क्रेडिट अभियान के साथ अपना पंजीकरण कराया। सरकार के प्रयास से उत्तर प्रदेश के 25 हजार किसानों को कार्बन क्रेडिट के लिए 200 करोड़ का अनुदान प्राप्त हो रहा है।
इको टूरिज्म स्पॉट बनेगी कुकरैल नदी
सीएम योगी ने कहा कि 50 साल पहले लखनऊ में कुकरैल नदी का गोमती नदी में संगम होता था। 50 सालों में इसे पाटकर भूमाफियाओं ने कब्जा कर लिया। वहां बांग्लादेशी और रोहिंग्या तक बस गए। कुकरैल नदी को उसका स्वरूप देने के लिए सरकार को बड़े पैमाने पर अभियान चलाना पड़ा। सुप्रीम कोर्ट तक जाना पड़ा। अब कुकरैल नदी को इको टूरिज्म के स्पॉट के रूप में निखारा जा रहा है। वहां भगवान श्रीराम के छोटे भाई लक्ष्मण जी के नाम पर सौमित्र वन बसाया जा रहा है।
गलत को प्रश्रय नहीं देना है
सीएम योगी ने गोरखपुर के गोड़धोइया नाला परियोजना का उल्लेख करते हुए कहा कि इससे जलनिकासी की समस्या का समाधान होगा। नालों से अतिक्रमण हटेगा तभी शहरों में जलभराव को दूर किया जा सकेगा। उन्होंने आमजन से अपील की कि कभी भी गलत को प्रश्रय नहीं देना है।
चिड़ियाघर में होगा वन्यजीवों के अनुकूल पर्यावरण
सीएम योगी ने कहा कि गोरखपुर के चिड़ियाघर को काकोरी कांड के नायकों में शामिल शहीद अशफाक उल्ला खान के नाम पर नामकृत किया गया है। यह चिड़ियाघर मनोरंजन और ज्ञानवर्धन का माध्यम है। यहां पौधरोपण कर चिड़ियाघर के पर्यावरण को वन्यजीवों के अनुकूल किया जा रहा है।
जीव, जीवन और पर्यावरण की रक्षा के लिए सीएम योगी सदैव प्रयत्नशील : रविकिशन
पौधरोपण कार्यक्रम में सांसद रविकिशन शुक्ल ने कहा कि सीएम योगी हमेशा जीव, जीवन और पर्यावरण की रक्षा के लिए प्रयत्नशील रहते हैं। पर्यावरण और धरा को सुरक्षित करने के लिए उनके नेतृत्व में उत्तर प्रदेश हर वर्ष पौधरोपण का नया कीर्तिमान बना रहा है। स्वागत संबोधन मुख्य वन संरक्षक भीमसेन ने किया। इस अवसर पर विधायक विपिन सिंह, श्रीराम चौहान, राजेश त्रिपाठी, महेंद्रपाल सिंह, प्रदीप शुक्ल, एमएलसी एवं भाजपा के प्रदेश उपाध्यक्ष डॉ. धर्मेंद्र सिंह, क्षेत्रीय अध्यक्ष सहजानंद राय, जिलाध्यक्ष युधिष्ठिर सिंह, महानगर अध्यक्ष राजेश गुप्ता आदि मौजूद रहे। कार्यक्रम के अंत मे मुख्य वन संरक्षक तथा प्रभागीय वन अधिकारी एवं चिड़ियाघर के निदेशक विकास यादव ने मुख्यमंत्री एवं जनप्रतिनिधियों को पौधे भेंट किए।
उत्तर प्रदेश
महाकुंभ का आज चौथा दिन, दूसरे ‘अमृत स्नान’ की तैयारियों में तेजी
प्रयागराज। उत्तर प्रदेश के प्रयागराज में हो रहे महाकुंभ का आज चौथा दिन है, और संगम की रेती पर हजारों श्रद्धालु भक्ति भाव के साथ आस्था की डुबकी लगा रहे हैं। मकर संक्रांति के मौके पर हुए पहले ‘अमृत स्नान’ के बाद अब योगी सरकार मौनी अमावस्या के अवसर पर होने जा रहे दूसरे ‘अमृत स्नान’ की तैयारियों में जुट गई है। सूबे के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने बुधवार को पहले अमृत स्नान की व्यवस्थाओं की समीक्षा की और अधिकारियों को दूसरे अमृत स्नान के लिए युद्धस्तर पर तैयारियों के निर्देश दिए हैं।
सभी आवश्यक व्यवस्थाएं सुनिश्चित की जाएं’
मुख्यमंत्री योगी ने अधिकारियों को निर्देश दिया है कि मौनी अमावस्या के मौके पर महाकुंभ मेले में आने वाले संभावित 10 करोड़ श्रद्धालुओं के लिए सभी आवश्यक व्यवस्थाएं सुनिश्चित की जाएं। उन्होंने निर्देश दिया कि संगम क्षेत्र में बिजली, पानी की सप्लाई, रोडवेज बसों की सेवा और रेलवे ट्रेनों की व्यवस्था को कोऑर्डिनेट किया जाए। बुधवार को शासन स्तर के वरिष्ठ अधिकारियों के साथ बीते तीन दिनों की स्थिति की समीक्षा करते हुए मुख्यमंत्री ने कहा कि पौष पूर्णिमा और मकर संक्रांति के दो प्रमुख स्नान पर्वों पर 6 करोड़ से ज्यादा लोगों ने त्रिवेणी स्नान का पुण्य लाभ प्राप्त किया।
घाटों की बैरिकेडिंग की दिशा में भी काम जारी
बता दें कि मेला क्षेत्र में मोबाइल नेटवर्क की मजबूती और घाटों की बैरिकेडिंग की दिशा में भी काम चल रहा है। प्रशासन का अनुमान है कि मौनी अमावस्या पर संगम में 8 से 10 करोड़ श्रद्धालु डुबकी लगाने के लिए पहुंचेंगे। सीएम योगी 21-22 जनवरी को संगम तट पर कैबिनेट मीटिंग कर सकते हैं, ताकि दूसरे अमृत स्नान की तैयारियों को और पुख्ता किया जा सके। प्रशासन पहले अमृत स्नान के दौरान सुरक्षा व्यवस्थाओं का रिव्यू कर रहा है, ताकि दूसरे अमृत स्नान के दौरान श्रद्धालुओं को कोई परेशानी न हो।
महाकुंभ में आस्था और आध्यात्म का अद्भुत संगम
बता दें कि महाकुंभ में इस बार आस्था और आध्यात्म का अद्भुत संगम देखने को मिल रहा है। साधु-संतों का विविध रूप, खासकर हठयोगियों और अंतर्राष्ट्रीय भक्तों की उपस्थिति, आकर्षण का केंद्र बनी हुई है। महाकुंभ 2025 IIT से इंजीनियरिंग करने के बाद साधु जीवन अपनाने वाले बाबा अभय सिंह, कांटों पर लेटे बाबा मलंग, और जापान से आई महिला साध्वी कैइको अकावा जैसे संतों ने महाकुंभ में अपनी उपस्थिति दर्ज कराई है। महाकुंभ सिर्फ आस्था का मेला नहीं, बल्कि भारतीय संस्कृति और सनातन धर्म का प्रचार करने का भी एक बड़ा मंच बन चुका है।
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