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प्रादेशिक

योगी सरकार ने यूपी को दिया 9 नए मेडिकल कॉलेजों का तोहफा

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लखनऊ। उत्तर प्रदेश में चिकित्सा-स्वास्थ्य के बुनियादी ढांचे को मजबूती देने में जुटी योगी सरकार रोज नए आयाम लिख रही है। जमीनी स्तर पर उसने स्वास्थ्य सुविधाओं को बढ़ाने के प्रयास तेज कर दिये हैं।

जुलाई माह में वो 09 नए मेडिकल कॉलेजों का तोहफा जनता को देने जा रही है। यूपी के इतिहास में एक साथ इतनी बड़ी संख्या में नए मेडिकल कॉलेजों का लोकार्पण प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी करेंगे। ये नए मेडिकल कॉलेज देवरिया, एटा, फतेहपुर, गाजीपुर, हरदोई, जौनपुर, मिर्जापुर, प्रतापगढ़, सिद्धार्थनगर में बनकर तैयार हो चुके हैं।

सीएम योगी का मानना है कि हर जिले में एक मेडिकल कॉलेज होना चाहिये। इसके लिए सरकार ने तेजी से कदम आगे बढ़ाए हैं। सबसे बड़ी आबादी वाले राज्य में 2017 के पहले मात्र 12 मेडिकल कॉलेज ही हुआ करते थे।

योगी सरकार के सत्ता संभालने के बाद से प्रदेश में मेडिकल कॉलेजों की संख्या बढ़कर 48 हो चुकी है। प्रदेश में 13 और मेडिकल कॉलेजों के निर्माण का काम तेज गति से किया जा रहा है। सरकार नए मेडिकल कॉलेजों में 70 प्रतिशत फैकल्टी का चयन भी कर चुकी है।

इस माह जुलाई में प्रदेश में 09 नए मेडिकल कॉलेज खुलने के बाद प्रदेश की जनता को चिकित्सा सुविधाएं मिलना और अधिक सुविधाजनक हो जाएगा। इन कॉलेजों में साढ़े 04 सौ से अधिक संकाय सदस्यों की नियुक्ति की प्रक्रिया चल रही है। मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने फैकल्टी में किये जाने वाली चयन प्रक्रिया में शुचिता और पारदर्शिता के साथ करने के निर्देश दिये हैं। मेरिट के आधार पर अच्छे शिक्षकों का चयन करने को कहा गया है।

मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ की अगुवाई में उत्तर प्रदेश स्वास्थ्य सुविधाओं में निरंतर आत्मनिर्भर बन रहा है। स्वास्थ्य सुविधाओं को चुस्त दुरुस्त करने के लिए युद्ध स्तर पर प्रदेश में कार्य किये जा रहे हैं। हेल्थ इंफ्रास्ट्रक्चर भी बढ़ता जा रहा है।

प्रदेश में 441 ऑक्सीजन प्लांट स्थापित की स्थापना की जा रही है। इनमें से लगातार प्रयासों से अब 131 ऑक्सीजन प्लांट क्रियाशील हो चुके हैं।

प्रदेश में कुल 3500 स्वास्थ्य उपकेन्द्र, 1475 प्राथमिक स्वास्थ्य केन्द्र एवं 399 नगरीय प्राथमिक स्वास्थ्य केन्द्र संचालित हो चुके हैं। 5424 हेल्थ एण्ड वेलनेस सेन्टर भी संचालित हैं। यूपी में 06 नये सुपर स्पेशियलटी ब्लाक की स्थापना और गोरखपुर व रायबरेली में एम्स की स्थापना के साथ ओपीडी प्रारंभ हो चुकी है।

उत्तर प्रदेश

शामली मुठभेड़ में घायल हुए STF इंस्पेक्टर सुनील कुमार शहीद, गुरुग्राम के मेदांता में चल रहा था इलाज

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गुरुग्राम। उत्तर प्रदेश के शामली में हुई एक मुठभेड़ के दौरान स्पेशल टास्क फोर्स ने चार कुख्यात अपराधियों को ढेर कर दिया। इस अभियान में एसटीएफ इंस्पेक्टर सुनील कुमार गंभीर रूप से घायल हो गए और बाद में गुरुग्राम के मेदांता अस्पताल में उन्होंने दम तोड़ दिया।

इस घटना में मारा गया मुख्य अपराधी अरशद जिसके सिर पर 1 लाख रुपए का इनाम था। अपने तीन साथियों के साथ मुठभेड़ में मारा गया। यह घटना कानून-व्यवस्था के लिए एक महत्वपूर्ण मोड़ साबित हुई। लेकिन एसटीएफ ने इस दौरान एक वीर अधिकारी को खो दिया।

शुरू में उन्‍हें करनाल के अस्‍पताल में भर्ती कराया गया था लेकिन बाद में हालत खराब होने पर गुरुग्राम के मेदांता में रेफर किया गया। बीते 24 घंटे खतरे से बाहर नहीं हुए थे इंस्पेक्टर सुनील कुमार। वह वहां आईसीसीयू में भर्ती थे।

बताया जा रहा है कि एक गोली इंस्‍पेक्‍टर के लिवर को पार करके पीठ में अटक गई थी। इसे निकाला संभव नहीं था, इसलिए इसे छोड़ दिया गया।इंस्‍पेक्‍टर सुनील कुमार ठोकिया एनकाउंटर में आउट ऑफ टर्न प्रमोशन पाकर हेड कांस्टेबल से सब इंस्पेक्टर बने थे। शामली में सोमवार देर रात कग्‍गा गैंग के चार बदमाशों के एनकाउंटर में इंस्पेक्टर सुनील कुमार भी शामिल थे। बदमाश एक कार में सवार थे। घेरे जाने पर उन्‍होंने पुलिस पर फायरिंग कर दी थी। इसी में सुनील कुमार घायल हुए थे। जवाबी कार्रवाई में STF ने चार बदमाशों को मार गिराया था।

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