उत्तर प्रदेश
उप्र: मदरसों का सर्वे 15 अक्तूबर तक पूरा करने के निर्देश, जानिए क्या है मकसद
लखनऊ। उप्र के अल्पसंख्यक कल्याण, मुस्लिम वक्फ एवं हज विभाग के कैबिनेट मंत्री धर्मपाल सिंह ने राज्य के गैर मान्यता प्राप्त मदरसों के सर्वे का काम 15 अक्तूबर तक करने को कहा है। इसके लिए मंत्री ने अधिकारियों को 10 सितम्बर तक सर्वे टीम गठित करने के निर्देश दिए हैं।
अल्पसंख्यक कल्याण विभाग की उच्चस्तरीय बैठक में धर्मपाल सिंह ने कहा कि गैर मान्यता प्राप्त मदरसों के सर्वे के लिए गठित टीम में संबंधित तहसील के उप-जिलाधिकारी, जिला बेसिक शिक्षा अधिकारी व जिला अल्पसंख्यक कल्याण अधिकारी शामिल होंगे।
यह टीम अपर जिलाधिकारी (प्रशासन) के निर्देशन में सर्वे कर जिलाधिकारी को रिपोर्ट प्रस्तुत करेगी। जिलाधिकारी सर्वे की रिपोर्ट 25 अक्तूबर 2022 तक सरकार को सौंपें।
सर्वे में यह सूचनाएं होंगी शामिल
गैर मान्यता प्राप्त मदरसों के विवरण में सर्वे टीम द्वारा मदरसे का नाम, मदरसे का संचालन करने वाली संस्था का नाम, स्थापना वर्ष, मदरसे की अवस्थिति का सम्पूर्ण विवरण, मदरसे में छात्र-छात्राओं के लिए आवश्यक बुनियादी अवस्थापना सुविधाओं की सूचनाएं इकट्ठा करेगी।
इसके साथ ही वहां पढ़ने वाले छात्र-छात्राओं की कुल संख्या, मदरसों में शिक्षकों की कुल संख्या, मदरसों में लागू पाठ्यक्रम, मदरसे की आय का स्रोत और मदरसों में पढ़ रहे छात्र किसी अन्य विद्यालय में नामांकित हैं, आदि का विवरण संबंधी जानकारी भी जुटाएगी। साथ ही किसी गैर सरकारी समूह/संस्था से मदरसे की संबद्धता का विवरण भी लिया जाएगा।
यह है सर्वे करवाए जाने का मकसद
अल्पसंख्यक कल्याण मंत्री ने कहा कि सरकार का उद्देश्य है कि अल्पसंख्यक समाज के बच्चों एवं युवाओं को गुणवत्तायुक्त एवं उत्कृष्ट शिक्षा दी जाए ताकि उनका सर्वांगीण विकास सुनिश्चित हो सके।
उन्होंने कहा कि मदरसों में आवश्यक अवस्थापना संबंधी बुनियादी सुविधाएं और उत्कृष्ट शैक्षणिक परिवेश उपलब्ध कराने का मकसद है। इसके लिए गुणवत्तायुक्त एवं आधुनिक शिक्षा प्रदान करते हुए मदरसों में पढ़ने वाले छात्र एवं छात्राओं को अंग्रेजी, विज्ञान, गणित, कम्प्यूटर एवं अन्य तकनीकी शिक्षा उपलब्ध कराते हुए उनका कौशल विकास करना और समाज की मुख्यधारा में शामिल करना सरकार की प्राथमिकता है।
बैठक में अल्पसंख्यक कल्याण, मुस्लिम वक्फ एवं हज विभाग की अपर मुख्य सचिव मोनिका एस गर्ग, निदेशक अल्पसंख्यक कल्याण विभाग इन्दुमति, मदरसा बोर्ड के रजिस्ट्रार जगमोहन सहित वरिष्ठ विभागीय अधिकारी उपस्थित थे।
उत्तर प्रदेश
सीएम योगी ने की गोसेवा, भवानी और भोलू को खूब दुलारा
गोरखपुर। गोरखनाथ मंदिर प्रवास के दौरान गोसेवा मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ की दिनचर्या का अभिन्न हिस्सा है। इसी क्रम में शनिवार सुबह भी उन्होंने मंदिर की गोशाला में समय बिताया और गोसेवा की। मुख्यमंत्री ने गोवंश को गुड़ खिलाया और गोशाला के कार्यकर्ताओं को देखभाल के लिए जरूरी निर्देश दिए। गोसेवा के दौरान उन्होंने सितंबर माह में आंध्र प्रदेश के येलेश्वरम स्थित गोशाला से गोरखनाथ मंदिर लाए गए नादिपथि मिनिएचर नस्ल (पुंगनूर नस्ल की नवोन्नत ब्रीड) के दो गोवंश भवानी और भोलू को खूब दुलारा।
दक्षिण भारत से लाए गए गोवंश की इस जोड़ी (एक बछिया और एक बछड़ा) का नामकरण भी मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने ही किया था। उन्होंने बछिया का नाम भवानी रखा है तो बछड़े का नाम भोलू। मुख्यमंत्री जब भी गोरखनाथ मंदिर प्रवास पर होते हैं, भवानी और भोलू का हाल जरूर जानते हैं। सीएम योगी के दुलार और स्नेह से भवानी और भोलू भी उनसे पूरी तरह अपनत्व भाव से जुड़ गए हैं। शनिवार को गोशाला में सभी गोवंश की सेवा करने के साथ ही मुख्यमंत्री ने भवानी और भोलू के साथ अतिरिक्त वक्त बिताया। उन्हें खूब दुलार कर, उनसे बातें कर, गुड़ और चारा खिलाया। सीएम योगी के स्नेह से ये गोवंश भाव विह्वल दिख रहे थे।
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