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प्रादेशिक

साले को दबोचकर ले जा रहा था तेंदुआ, जीजा ने भिड़ कर मार भगाया

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मध्य प्रदेश के टूरिज्म स्पॉट पचमढ़ी में एक जीजा अपने साले को बचाने के लिए मौत से लड़ गया। साले को तेंदुआ खींच कर ले जा रहा था, लेकिन जीजा ने फुर्ती दिखाते हुए उसके जबड़े पर घूंसे मारे और उसे भगा दिया। इस लड़ाई में युवक के सिर और नाक में चोट आई है। घटना पचमढ़ी के पास नीमघान गांव में हुई। यहां मजदूरी करने वाले जीजा-साला तंबू में सो रहे थे, तब तेंदुए ने उन पर हमला कर दिया।

इस घटना की सूचना मिलते ही वन विभाग टीम मौके पर पहुंची और जख्मी युवक को पचमढ़ी ले गई। उसके बाद उसे पिपरिया अस्पताल लाया गया। जानकारी के मुताबिक, तेंदुआ गुरुवार रात करीब 12:15 बजे उनके तंबू में घुसा और हमला कर दिया। दरअसल, जो सड़क पर्यटक स्थल तक जा रहा है, उस पर पुलिया की मरम्मत की जा रही है। यहीं काम करने वाले करीब 7 मजदूर तंबू में ही सो रहे थे।

इन मजदूरों के साथ ही संदीप और उसका 20 साल का साला संजू सो रहे थे। तेंदुआ धीरे से तंबू में आया और संजू को सिर से दबाकर खींचने लगा. संजू चीखा तो संदीप की नींद खुल गई और वह तुरंत तेंदुए से भिड़ गया। संदीप ने बताया कि तेंदुए के जबड़े में संजू फंसा था, तो उसने आव देखा न ताव और उसके जबड़े पर ताबड़तोड़ मुक्के मारने शुरू कर दिए। वह एक हाथ से मुक्के मारता रहा और दूसरे से साले को खींचता रहा।

यह लड़ाई करीब 40 सेकंड तक चली. इसके बाद तेंदुआ शिकार छोड़कर भाग गया। बताया जाता है कि युवक के गले में जानवर के पंजे और खरोंच के निशान हैं। उसकी नाक पर भी गंभीर चोट है। हालांकि, युवक खतरे से बाहर है और उसकी हालत ठीक है।

उत्तर प्रदेश

सीएम योगी ने की गोसेवा, भवानी और भोलू को खूब दुलारा

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गोरखपुर। गोरखनाथ मंदिर प्रवास के दौरान गोसेवा मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ की दिनचर्या का अभिन्न हिस्सा है। इसी क्रम में शनिवार सुबह भी उन्होंने मंदिर की गोशाला में समय बिताया और गोसेवा की। मुख्यमंत्री ने गोवंश को गुड़ खिलाया और गोशाला के कार्यकर्ताओं को देखभाल के लिए जरूरी निर्देश दिए। गोसेवा के दौरान उन्होंने सितंबर माह में आंध्र प्रदेश के येलेश्वरम स्थित गोशाला से गोरखनाथ मंदिर लाए गए नादिपथि मिनिएचर नस्ल (पुंगनूर नस्ल की नवोन्नत ब्रीड) के दो गोवंश भवानी और भोलू को खूब दुलारा।

दक्षिण भारत से लाए गए गोवंश की इस जोड़ी (एक बछिया और एक बछड़ा) का नामकरण भी मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने ही किया था। उन्होंने बछिया का नाम भवानी रखा है तो बछड़े का नाम भोलू। मुख्यमंत्री जब भी गोरखनाथ मंदिर प्रवास पर होते हैं, भवानी और भोलू का हाल जरूर जानते हैं। सीएम योगी के दुलार और स्नेह से भवानी और भोलू भी उनसे पूरी तरह अपनत्व भाव से जुड़ गए हैं। शनिवार को गोशाला में सभी गोवंश की सेवा करने के साथ ही मुख्यमंत्री ने भवानी और भोलू के साथ अतिरिक्त वक्त बिताया। उन्हें खूब दुलार कर, उनसे बातें कर, गुड़ और चारा खिलाया। सीएम योगी के स्नेह से ये गोवंश भाव विह्वल दिख रहे थे।

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