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उत्तराखंड

उत्तराखंड: 2023-24 का 77407.84 करोड़ का बजट पेश, रोजगार व पर्यटन पर फोकस

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77407.84 crore budget of Uttarakhand presented for 2023-24

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देहरादून। उत्तराखंड की पुष्कर सिंह धामी सरकार ने बजट सत्र के आज तीसरे दिन बुधवार को विधानसभा में वित्तीय वर्ष 2023-24 का बजट प्रस्तुत किया गया। ग्रीष्मकालीन राजधानी गैरसैंण के भराड़ीसैंण स्थित विधानभवन में वित्त मंत्री प्रेमचंद अग्रवाल ने वार्षिक बजट प्रस्तुत किया।

77407.84 करोड़ का बजट पेश

वित्त मंत्री प्रेम चंद अग्रवाल ने वित्तीय वर्ष 2023-24 के लिए सदन में 77407.84 करोड़ का नया बजट प्रस्‍तुत किया। वित्त मंत्री ने कहा कि यह बजट में हर वर्ग का ध्यान रखा गया है। बजट में रोजगार, निवेश और पर्यटन पर फोकस किया गया है।

बजट की खास बातें:

बजट में जोशीमठ भू-धंसाव क्षेत्र के लिए एक हजार करोड़ का प्राविधान किया गया है।

साइन्स सिटी व विज्ञान केन्द्रों की स्थापना के लिए 26 करोड़ 21 लाख रुपए का प्राविधान किया गया है।

देहरादून में मेट्रो रेल के लिए 101 करोड़ का प्राविधान रखा गया है।

बजट में वीरता पुरस्कार विजेताओं के लिए निशुल्क यात्रा का प्रावि‍धान।

बजट 2023 में उच्च शिक्षा छात्रवृत्ति को 10 करोड़ दिया जाएगा। आंगनबाड़ी कार्यकत्रियों का मानदेय बढ़ाने का प्राविधान भी किया गया है।

बालिका साइकिल योजना जारी रहेगी। इसके लिए 15 करोड़ रुपए का प्रावि‍धान किया गया है।

मुख्‍यमंत्री प्रतिभा प्रोत्साहन छात्रवृत्ति योजना को 11 करोड़ रुपए किया गया।

एनसीसी कैडेट का जलपान भत्ता बढ़ाया जाएगा। 15 रुपये प्रति प्लेट से बढ़ाकर भत्ता 45 रुपये प्रति प्‍लेट कर दिया गया है।

कहा कि इकोसिस्टम बनाया जाएगा, जिससे राज्‍य के युवा नौकरी मांगने के स्‍थान पर नौकरी देंगे। इसके लिए कारगर नीति बनाइ जाएगी।

वित्‍त मंत्री ने कहा कि केंद्र व राज्य की योजनाओं द्वारा राज्य के समावेशी विकास पर फोकस किया जाएगा। राज्य को सशक्त बनाने का प्रयास रहेगा। इकोलॉजी और इकोनॉमी में संतुलन को प्राथमिकता देंगे। पूंजीगत व्यय का 0.5 प्रतिशत जलवायु परिवर्तन सम्बन्धी कार्यों के लिए दिया जाएगा। सौर ऊर्जा को बढ़ावा दिया जाएगा। राज्‍य सरकार द्वारा जी20 आयोजन के लिए 100 करोड़ का प्राविधान किया जाएगा।

पहाड़ी बोली में बजट भाषण की शुरुआत

वित्त मंत्री प्रेमचंद अग्रवाल ने पहाड़ी बोली में बजट भाषण की शुरुआत की। नेता प्रतिपक्ष यशपाल आर्य ने सदन में मंगलवार की घटना के लिए खेद जताया। विधानसभा अध्यक्ष ऋतु खंडूड़ी ने कांग्रेस विधायकों का निलंबन वापस लेने के प्रस्ताव को अस्वीकार्य किया।

सत्र के तीसरे दिन बुधवार को कांग्रेसी विधायक विधानसभा पहुंचे। उन्‍होंने पेपर लीक व अंकिता हत्याकांड में सीबीआई जांच की मांग को लेकर परिसर में प्रदर्शन किया।

सदन के पटल पर रखे गए नकलरोधी समेत छह विधेयक

मंगलवार को सदन के पटल पर उत्तराखंड प्रतियोगी परीक्षा (भर्ती में अनुचित साधनों की रोकथाम व निवारण के उपाय) समेत कुछ छह विधेयक प्रस्तुत किए गए। अब बुधवार को इन सभी विधेयकों पर चर्चा के बाद इन्हें पारित किया प्रदेश सरकार ने भर्ती परीक्षाओं में नकल रोकने के लिए सख्त कानून बनाने की दिशा में कदम उठाए हैं।

इसके तहत नकल करने अथवा कराने पर 10 करोड़ रुपये तक के जुर्माने व आजीवन कारावास तक की सजा का प्रविधान किया गया है। इससे कानूनी रूप देने के लिए सोमवार को इस विधेयक को सदन पटल पर रखा गया।

ये विधेयक भी किए गए पेश

– उत्तराखंड राजकोषीय उत्तरदायित्व और बजट प्रबंधन (संशोधन) विधेयक

– यूनिवर्सिटी आफ इंजीनियरिंग एंड टेक्नाेलाजी रुड़की (संशोधन) विधेयक

– उत्तराखंड सेवा का अधिकार (संशोधन) विधेयक

– सरकारी अनुदान अधिनियम 1895 (उत्तराखंड संशोधन) विधेयक

– उत्तराखंड (उत्तर प्रदेश जमींदारी विनाश और भूमि व्यवस्था अधिनियम 1950) (संशोधन) विधेयक

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उत्तराखंड

मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने राष्ट्रीय कौशल एवं रोजगार सम्मेलन का किया उद्घाटन

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देहरादून। मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने मंगलवार को राष्ट्रीय कौशल एवं रोजगार सम्मेलन का उद्घाटन किया। नीति आयोग, सेतु आयोग और राज्य सरकार के संयुक्त प्रयासों से राजधानी देहरादून में दून विश्वविद्यालय में राष्ट्रीय कौशल एवं रोज़गार सम्मलेन का आयोजन किया गया। कार्यक्रम का उद्घाटन करने के बाद मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने कहा कि इस तरह की कार्यशालाएं प्रदेश के युवाओं के बेहतर भविष्य के लिए बेहद महत्वपूर्ण साबित होंगी। उन्होंने कहा कि प्रदेश सरकार युवाओं को बेहतर रोजगार मुहैया कराने की दिशा में सकारात्मक कदम उठा रही है।

कार्यक्रम में कौशल विकास मंत्री सौरभ बहुगुणा ने इसे सरकार की ओर से युवाओं के लिए महत्वपूर्ण कदम बताया। उन्होंने कहा कि कार्यक्रम का मुख्य उद्देश्य उत्तराखंड के तमाम बेरोजगार युवाओं को रोजगार देना है। मुख्यमंत्री ने कहा, “निश्चित तौर पर इस कार्यशाला में जिन विषयों पर भी मंथन होगा, उससे बहुत ही व्यावहारिक चीजें निकलकर सामने आएंगी, जो अन्य युवाओं के लिए समृद्धि के मार्ग प्रशस्त करेगी। हमें युवाओं को प्रशिक्षण देना है, जिससे उनके लिए रोजगार की संभावनाएं प्रबल हो सकें, ताकि उन्हें बेरोजगारी से निजात मिल सके।

उन्होंने कहा, “प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने 2015 में स्किल डेवलपमेंट का विभाग खोला था, ताकि अधिक से अधिक युवाओं को रोजगार मिल सके। इसके अलावा, वो रोजगार खोजने वाले नहीं, बल्कि रोजगार देने वाले बनें। अगर प्रदेश के युवा रोजगार देने वाले बनेंगे, तो इससे बेरोजगारी पर गहरा अघात पहुंचेगा। ” उन्होंने कहा, “हम आगामी दिनों में अन्य रोजगारपरक प्रशिक्षण युवाओं को मुहैया कराएंगे, जो आगे चलकर उनके लिए सहायक साबित होंगे।

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