उत्तराखंड
उत्तराखंड में एक बार फिर बीजेपी ने मारी बाज़ी, पिछले चुनाव के मुक़ाबले 10 सीटों का झेलना पड़ा नुक्सान
उत्तराखंड में फिर से भाजपा की सरकार बनने जा रही है। इसके साथ ही पिछले चार चुनावों से सरकार के रिपीट न होने का बना मिथक भी टूट गया। लेकिन निर्वाचित सरकारों में मुख्यमंत्री के चुनाव न जीत पाने का मिथक बरकरार रहा। चुनाव में दो बड़े उलटफेर हुए। पहला सीएम पुष्कर सिंह धामी खटीमा विधानसभा सीट से चुनाव हार गए। दूसरा पूर्व मुख्यमंत्री हरीश रावत को लालकुआं सीट से हार का मुंह देखना पड़ा।
हरीश रावत लालकुआं से अपनी सीट नहीं बचा सके
धामी मंत्रिमंडल के एक मंत्री हरिद्वार ग्रामीण से यतीश्वरानंद को छोड़कर बाकी सभी मंत्री चुनाव जीत गए। यतीश्वरानंद को पूर्व मुख्यमंत्री हरीश रावत की बेटी अनुपमा रावत ने हरा दिया। लेकिन हरीश रावत लालकुआं से अपनी सीट नहीं बचा सके। उन्हें कांग्रेस के मोहन सिंह बिष्ट से मात दी। भाजपा के प्रदेश अध्यक्ष मदन कौशिक हरिद्वार से जीते जबकि कांग्रेस के प्रदेश अध्यक्ष गणेश गोदियाल श्रीनगर गढ़वाल सीट से बेहद नजदीकी अंतर से पराजित हुए।
कांग्रेस को 19 सीटों पर जीत मिली
मतगणना के रुझानों के मुताबिक, प्रदेश की 70 विधानसभा सीटों में से भाजपा 47 पर आगे रही। इस हिसाब से भाजपा को 2017 के चुनाव से 10 सीटों का नुकसान हुआ जबकि कांग्रेस सिर्फ सात सीटों के फायदे रही। कांग्रेस को 19 सीटों पर जीत मिली है। बसपा ने लक्सर और मंगलौर सीट जीत ली है जबकि यमुनोत्री और खानपुर में निर्दलीय प्रत्याशी जीते हैं। पहली बार पूरे दमखम से सभी 70 सीटों पर चुनाव लड़ी आप खाता नहीं खोल पाई। आप के सीएम पद के उम्मीदवार कर्नल अजय कोठियाल गंगोत्री विस सीट पर चुनाव हार गए।
उत्तराखंड
उत्तराखंड में जनवरी 2025 से लागू होगा UCC, सीएम धामी ने किया एलान
उत्तराखंड के मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने बुधवार को ऐलान किया कि राज्य में जनवरी 2025 से समान नागरिक संहिता (UCC) लागू कर दी जाएगी। मुख्यमंत्री ने यह घोषणा देहरादून में उत्तराखंड निवेश और आधारिक संरचना विकास बोर्ड (UIIDB) की बैठक के दौरान की। उन्होंने बताया कि राज्य सरकार अपने संकल्प के अनुसार UCC को लागू करने के लिए पूरी तैयारी कर चुकी है और जनवरी 2025 से इसे राज्यभर में लागू कर दिया जाएगा।
इसके साथ ही उत्तराखंड आजादी के बाद समान नागरिक संहिता लागू करने वाला देश का पहला प्रदेश बन जाएगा। मुख्यमंत्री ने कहा कि इस संबंध में 2022 विधानसभा चुनाव के दौरान जनता से किए गए वादे को पूरा किया जा रहा है। मार्च 2022 में जब राज्य में नई सरकार बनी थी, तो पहले ही मंत्रिमंडल की बैठक में यूसीसी लागू करने के लिए एक विशेषज्ञ समिति गठित करने का निर्णय लिया गया था।
उन्होंने बताया कि इस समिति की अध्यक्षता सेवानिवृत्त न्यायाधीश रंजना प्रकाश देसाई ने की और इस समिति ने अपनी रिपोर्ट राज्य सरकार को दी। उसी रिपोर्ट के आधार पर 7 फरवरी 2024 को राज्य विधानसभा में समान नागरिक संहिता विधेयक-2024 पारित किया गया। मुख्यमंत्री धामी ने कहा कि विधेयक पर राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू की सहमति मिलने के बाद 12 मार्च 2024 को इसे अधिसूचित किया गया। सीएम धामी ने कहा कि समान नागरिक संहिता का उद्देश्य समाज में समानता लाना और खासकर देवभूमि की महिलाओं और बच्चों के सशक्तिकरण के नए द्वार खोलना है। उन्होंने इसे ‘सबका साथ, सबका विकास और सबका विश्वास’ की मूल भावना के अनुरूप बताया।
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