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प्रादेशिक

‘3टी’ नीति के अनुरूप हमें संतोषप्रद परिणाम मिल रहे हैंः सीएम योगी

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लखनऊ। उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने मंगलवार को लोक भवन, लखनऊ में कोविड-19 के सम्बन्ध में गठित समितियों के अध्यक्षों के साथ बैठक की। मुख्यमंत्री ने टीम-9 में शामिल अधिकारियों को वृहद टीकाकरण अभियान, ब्लैक फंगस बीमारी के समुचित उपचार आदि कार्यों से सम्बंधित आवश्यक दिशा-निर्देश दिए।

सीएम योगी ने कहा कि पूरे प्रदेश में सोमवार से शुक्रवार तक सुबह 07 बजे से शाम 07 बजे तक बाजार खुलेंगे। आवागमन एवं अन्य गतिविधियां सामान्य रूप से संचालित हो सकेंगी। रात्रिकालीन बंदी और साप्ताहिक बंदी की व्यवस्था सभी जगह एक समान रूप से लागू होगी। लगातार प्रयासों से प्रदेश में कोविड संक्रमण की स्थिति नियंत्रण में है। आज प्रदेश में कोई भी ऐसा जनपद नहीं है, जहां 600 से अधिक एक्टिव कोविड केस हों। ऐसे में सभी 75 जिलों को आंशिक कोरोना कर्फ्यू से छूट दी जा रही है।

उन्होंने कहा कि प्रदेश में पॉजिटिविटी दर मात्र 0.2% रह गई है, जबकि रिकवरी दर बेहतर होकर 97.9% हो गई है। प्रदेश में कुल 14,067 कोरोना मरीजों का उपचार हो रहा है। ‘ट्रेस, टेस्ट और ट्रीट’ की नीति के अनुरूप हमें संतोषप्रद परिणाम मिल रहे हैं। उत्तर प्रदेश सर्वाधिक कोविड टेस्ट करने वाला राज्य है। अब तक 05 करोड़ 19 लाख 08 हजार 115 सैम्पल की टेस्टिंग हुई है।

सीएम ने कहा कि कोरोना से जिन बच्चों के माता-पिता का देहांत हुआ है, उनके लिए ‘मुख्यमंत्री बाल सेवा योजना’ प्रारंभ की गई है। नॉन कोविड बीमारियों से जिन बच्चों के अभिभावकों का निधन हुआ है, उनके पालन-पोषण और शिक्षा-दीक्षा का भी समुचित प्रबन्ध किया जाना आवश्यक है।

प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी जी ने आगामी 21 जून से सभी आयु वर्ग के टीकाकरण के लिए केंद्र सरकार द्वारा वैक्सीन उपलब्ध कराने की घोषणा की है। उनका यह प्रयास टीकाकरण को और गति प्रदान करने वाला है।

उत्तर प्रदेश

श्रीकृष्ण जन्मभूमि विवाद को लेकर दाखिल याचिकाओं पर सुप्रीम कोर्ट में टली सुनवाई

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नई दिल्ली। मथुरा के श्रीकृष्ण जन्मभूमि विवाद को लेकर दाखिल याचिकाओं पर सुप्रीम कोर्ट में सुनवाई टल गई है। अगली सुनवाई एक अप्रैल से शुरू होगी। अगली सुनवाई तक कृष्णजन्मभूमि सर्वे मामले पर रोक जारी रहेगी। बता दें कि मुस्लिम पक्ष की कई याचिकाएं SC में दाखिल हुई हैं। इसमें विवादित जगह पर सर्वे की इजाज़त देने, निचली अदालत में लंबित सभी मुकदमों को हाई कोर्ट के अपने पास सुनवाई के लिए ट्रांसफर करने को चुनौती देने वाली याचिकाएं भी शामिल हैं।

सुप्रीम कोर्ट ने और क्या कहा?

सुप्रीम कोर्ट ने बुधवार को इलाहाबाद हाई कोर्ट के उस आदेश पर अपनी रोक बढ़ा दी, जिसमें मथुरा में शाही ईदगाह मस्जिद परिसर के अदालत की निगरानी में सर्वेक्षण की अनुमति दी गई थी। यह परिसर कृष्ण जन्मभूमि मंदिर के निकट स्थित है, जो हिंदुओं के लिए महत्वपूर्ण धार्मिक महत्व का स्थल है। मुख्य न्यायाधीश संजीव खन्ना और न्यायमूर्ति संजय कुमार और न्यायमूर्ति केवी विश्वनाथन की पीठ ने कहा कि वह मस्जिद परिसर के अदालत की निगरानी में सर्वेक्षण के खिलाफ ‘ट्रस्ट शाही मस्जिद ईदगाह प्रबंधन समिति’ की याचिका पर सुनवाई अप्रैल से शुरू होने वाले सप्ताह के लिए टालते हैं।

पीठ ने कहा कि इस बीच, शाही ईदगाह मस्जिद परिसर के अदालत की निगरानी में सर्वेक्षण पर रोक लगाने वाला इलाहाबाद हाई कोर्ट का अंतरिम आदेश जारी रहेगा। शीर्ष अदालत ने पिछले साल 16 जनवरी को सबसे पहले हाई कोर्ट के 14 दिसंबर, 2023 के आदेश के क्रियान्वयन पर रोक लगा दी थी। हाई कोर्ट ने शाही ईदगाह मस्जिद परिसर के अदालत की निगरानी में सर्वेक्षण की अनुमति दी थी और इसकी देखरेख के लिए एक अदालत आयुक्त की नियुक्ति पर सहमति व्यक्त की थी।

हिंदू पक्ष का दावा है कि परिसर में ऐसे संकेत हैं जो बताते हैं कि इस स्थान पर कभी मंदिर हुआ करता था। हिंदू पक्षों की ओर से पेश वकील विष्णु शंकर जैन ने कहा था कि मस्जिद समिति की अपील हाई कोर्ट के 14 दिसंबर, 2023 के आदेश के खिलाफ दायर की गई थी और मामले से जुड़े आदेश निष्फल हो गए हैं।

 

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