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यूपी में आने वालों को होगी टेस्टिंग-ट्रेसिंग, घर-घर पहुंचेंगी निगरानी समितियां

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लखनऊ। कोरोना के तीसरी लहर की आहट को देखते हुए उत्तर प्रदेश ने सतर्कता बढ़ा दी है। मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के निर्देशानुसार शनिवार 25 दिसंबर से हर रात 11 बजे से सुबह 05 बजे तक कोरोना कर्फ्यू लागू रहेगा।

शुक्रवार को उच्चस्तरीय टीम-9 के साथ समीक्षा बैठक करते हुए मुख्यमंत्री योगी ने कहा कि देश के विभिन्न राज्यों में कोविड के केस बढ़ रहे हैं। ऐसे में सतर्कता के लिए कड़े कदम उठाना जरूरी है। सीएम ने कहा कि प्रदेश में बाहर से आने वाले हर एक यात्री की विधिवत ट्रेसिंग की जाए।

एयरपोर्ट, रेलवे स्टेशन और बस स्टेशनों पर आरटीपीसीर टेस्टिंग की जाए। कोविड प्रबंधन में इंटीग्रेटेड कोविड कमांड सेंटर और निगरानी समितियों की भूमिका की सराहना करते हुए सीएम ने कहा कि गांवों और शहरी वार्डों में निगरानी समितियों को फिर से एक्टिव किया जाए, ताकि यथाशीघ्र ट्रेसिंग, टेस्टिंग और ट्रीटमेंट कराया जा सके। आईसीसीसी 24×7 संचालित किया जाए।

उन्होंने स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा विभाग को प्रदेश के सभी सरकारी और निजी चिकित्सा संस्थानों में इलाज की सुविधाओं की समीक्षा करने के निर्देश दिए हैं। मुख्यमंत्री ने कहा कि विगत दिनों अभियान चलाकर के अस्पतालों को साधन-सुविधा संपन्न किया गया है।

अगर कहीं अतिरिक्त जरूरत हो तो तत्काल आवश्यक उपकरण-संसाधन उपलब्ध कराए जाएं। सीएम ने औद्योगिक इकाइयों में कोविड हेल्प डेस्क और डे केयर सेंटर फिर एक्टिव करने के भी निर्देश दिए हैं, साथ ही, शादी समारोह, नव वर्ष और क्रिसमस के आयोजन सहित सभी सार्वजनिक कार्यक्रमों में कोविड $?प्रोटोकॉल का अनुपालन जरूरी होगा।

‘मास्क नहीं तो सामान नहीं’

कोविड संक्रमण से बचाव के लिए मास्क की उपयोगिता की बात कहते हुए सीएम योगी ने इस बाबत व्यापक जागरूकता अभियान चलाने के निर्देश दिए हैं। सीएम के निर्देशानुसार घर से बाहर निकलने पर मास्क की अनिवार्यता कड़ाई से लागू कराई जाएगी।

वहीं, बाजारों में ‘मास्क नहीं तो सामान नहीं’ के संदेश के साथ व्यापारियों को जागरूक किया जाएगा। नई व्यवस्था के अनुसार बिना मास्क कोई भी दुकानदार ग्राहक को सामान नहीं देगा। कोविड प्रोटोकॉल का अनुपालन कराने के लिए पुलिस बल लगातार गश्त करने के निर्देश हैं।

गौतमबुद्ध नगर में 12 सहित यूपी में मिले 49 नए कोरोना मरीज
बीते 24 घंटों में यूपी में हुई 01 लाख 91 हजार 428 सैम्पल की जांच में कुल 49 नए संक्रमितों की पुष्टि हुई। इसमें गौतमबुद्ध नगर में 12, गाजियाबाद में 09, लखनऊ में 08, प्रयागराज में 03, कानपुर नगर और झांसी में 4-4, अमरोहा, देवरिया, महराजगंज, बरेली, उन्नाव, लखीमपुर खीरी, चन्दौली, ललितपुर, मुरादाबाद में 1-1 नए केस शामिल हैं।

इसी अवधि में 12 लोग उपचारित होकर कोरोना मुक्त भी हुए। वर्तमान में प्रदेश में कुल एक्टिव कोविड केस की संख्या 266 है, जबकि 16 लाख 87 हजार 657 मरीज कोरोना को मात दे चुके हैं। आज 37 जिलों में एक भी कोविड मरीज शेष नहीं है।

तेज करें कोविड वैक्सीनेशन, बगैर टीकाकरण वालों की बनाएं सूची
कोविड से बचाव में टीकाकरण की महत्ता को देखते हुए सीएम ने टीकाकरण अभियान और तेज करने के निर्देश दिए हैं। उन्होंने कहा कि अब तक जिन लोगों ने वैक्सीन नहीं लगवाई अथवा जिनकी दूसरी डोज ओवररड्यू हो गई हो, उनकी सूची बनाकर उनसे संपर्क किया जाए।

बता दें कि, 19 करोड़ 14 लाख 94 हजार से अधिक कोविड टीकाकरण और 09 करोड़ 14 लाख से अधिक टेस्टिंग करके उत्तर प्रदेश टेस्टिंग और टीकाकरण देश में प्रथम स्थान पर है। यहां 06 करोड़ 73 लाख 17 हजार से अधिक लोगों को टीके की दोनों डोज देकर कोविड का सुरक्षा कवर प्रदान कर दिया गया है।

12 करोड़ 41 लाख लोगों ने टीके की पहली डोज प्राप्त कर ली है। इस प्रकार पटीकाकरण के लिए पात्र प्रदेश की कुल आबादी में से 84.23 फीसदी को पहली और 45.66 फीसदी लोगों को दोनों डोज मिल चुकी है।

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IPS अधिकारी संजय वर्मा बने महाराष्ट्र के नए डीजीपी, रश्मि शुक्ला के ट्रांसफर के बाद मिली जिम्मेदारी

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महाराष्ट्र। महाराष्ट्र के नए डीजीपी का कार्यभार IPS संजय वर्मा को सौंपा गया है। आईपीएस संजय वर्मा को केंद्रीय चुनाव आयोग ने महाराष्ट्र के नए पुलिस महानिदेशक के रूप में नियुक्त किया है। कुछ ही दिनों में महाराष्ट्र विधानसभा चुनाव है। उससे पहले चुनाव आयोग ने राज्य कांग्रेस प्रमुख नाना पटोले की शिकायत मिलने के बाद डीजीपी रश्मि शुक्ला के तबादले का आदेश दिया था।

कौन हैं IPS संजय वर्मा?

IPS संजय वर्मा 1990 बैच के पुलिस अधिकारी हैं। वह महाराष्ट्र में वर्तमान में कानून और तकनीकी के डीजी के रूप में कार्यरत रहे। वह अप्रैल 2028 में सेवानिवृत्त पुलिस सेवा से रिटायर होंगे। दरअसल, डीजीपी रश्मि शुक्ला को लेकर सियासी दलों के बीच पिछले कुछ समय से माहौल गर्म था। कांग्रेस के बाद उद्धव गुट की शिवसेना ने भी चुनाव आयोग को पत्र लिखकर उन्हें हटाने की मांग की थी।

कांग्रेस ने रश्मि शुक्ला की निष्पक्षता पर सवाल उठाते हुए चुनाव आयोग से उन्हें महानिदेशक पद से हटाने की मांग की थी। कांग्रेस के प्रदेश अध्यक्ष नाना पटोले ने उन पर आरोप लगाया था कि वह बीजेपी के आदेश पर सरकार के लिए काम कर रही हैं।

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