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हार के बाद कांग्रेस का अलर्ट मोड, हिमाचल और गुजरात के लिए हुई सक्रीय, सोनिया गांधी ने दिल्ली बुलाये नेता

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पांच राज्यों में विधानसभा चुनाव में निराशाजनक परिणाम के बाद कांग्रेस अलर्ट हो गई है। कांग्रेस की अंतरिम अध्यक्ष सोनिया गांधी ने गुजरात और हिमाचल प्रदेश के नेताओं को दिल्ली बुलाया है। 2022 में ही गुजरात में भी विधानसभा चुनाव होने हैं। इसके अलावा अगले साल हिमाचल प्रदेश में भी विधानसभा के चुनाव होने हैं। सोनिया गांधी ने हिमाचल के 12 नेताओं को दिल्ली बुलाया है।

पार्टी के वरिष्ठ नेताओं के मुताबिक गुजरात प्रदेश कांग्रेस कमिटी के अध्यक्ष जगदीश ठाकुर, सुखराम राथवा, विपक्ष के नेता अर्जुल मोधवाड़िया समेत अन्य नेताओं को दिल्ली बुलाया गया है। वे सोनिया गांधी के साथ बैठक में शामिल होंगे।

दरअसल सोनिया गांधी को भनक लगी थी कि गुजरात में कुछ नेता भाजपा की ओर रुख कर रहे हैं। बीते दिनों राजस्थान के मुख्यमंत्री के सलाहकार और निर्दलीय विधायक संयम लोढ़ा ने एक ट्वीट किया था जिसमें लिखा था कि गुजरात भाजपा कांग्रेस के 10 विधायकों को लालच देने की कोशिश कर रही है।

बता दें कि 2017 में गुजरात में विधानसभा चुनाव हुए थे और कांग्रेस ने 77 सीटों पर जीत हासिल की थी। हालांकि अब कांग्रेस के पास केवल 65 ही विधायक हैं। गुजरात कांग्रेस ने बताया है कि सोनिया गांधी के साथ यह बैठक स्वतंत्रता के 75 साल पूरे होने और आने वाले विधानसभा चुनाव की तैयारियों को लेकर है।

सूत्रों के मुताबिक राहुल गांधी देवभूमि द्वारका के शिविर में शामिल हुए थे। वहां कई विधायकों ने राहुल गांधी और सोनिया गांधी से सीधे बात करने की इच्छा जताई थी। शिविर के दौरान यह संभव नहीं था इसलिए नेताओं को दिल्ली बुलाया गया है। इस बीच रथवा ने दावा किया था कि जो कांग्रेस नेता भाजपा में गए हैं वे वहां संतुष्ट नहीं हैं और दोबारा कांग्रेस में आने की इच्छा जता रहे हैं।

नेशनल

ऑनलाइन फूड ऑर्डरिंग ऐप को मनमानी करने पर 103 के बदले देने पड़ेंगे 35,453 रु, जानें क्या है पूरा मामला

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हैदराबाद। ऑनलाइन फूड ऑर्डरिंग ऐप स्विगी को ग्राहक के साथ मनमानी करना भारी पड़ गया। कंपनी की इस मनमानी पर एक कोर्ट ने स्विगी पर तगड़ा जुर्माना ठोक दिया। हैदराबाद के निवासी एम्माडी सुरेश बाबू की शिकायत पर उपभोक्ता आयोग ने बड़ा फैसला सुनाया है। बाबू ने आरोप लगाया था कि स्विगी ने उनके स्विगी वन मेंबरशिप के लाभों का उल्लंघन किया और डिलीवरी Food Delivery की दूरी को जानबूझकर बढ़ाकर उनसे अतिरिक्त शुल्क वसूला

क्या है पूरा मामला ?

सुरेश बाबू ने 1 नवंबर, 2023 को स्विगी से खाना ऑर्डर किया था। सुरेश के लोकेशन और रेस्टॉरेंट की दूरी 9.7 किमी थी, जिसे स्विगी ने बढ़ाकर 14 किमी कर दिया था। दूरी में बढ़ोतरी की वजह से सुरेश को स्विगी का मेंबरशिप होने के बावजूद 103 रुपये का डिलीवरी चार्ज देना पड़ा। सुरेश ने आयोग में शिकायत दर्ज कराते हुए कहा कि स्विगी वन मेंबरशिप के तहत कंपनी 10 किमी तक की रेंज में फ्री डिलीवरी करने का वादा किया था।कोर्ट ने बाबू द्वारा दिए गए गूगल मैप के स्क्रीनशॉट्स और बाकी सबूतों की समीक्षा की और पाया कि दूरी में काफी बढ़ोतरी की गई है।

कोर्ट ने स्विगी को अनुचित व्यापार व्यवहार का दोषी पाया और कंपनी को आदेश दिया कि वे सुरेश बाबू को 9 प्रतिशत ब्याज के साथ 350.48 रुपये के खाने का रिफंड, डिलीवरी के 103 रुपये, मानसिक परेशानी और असुविधा के लिए 5000 रुपये, मुकदमे की लागत के लिए 5000 रुपए समेत कुल 35,453 रुपये का भुगतान करे।

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