Connect with us
https://aajkikhabar.com/wp-content/uploads/2020/12/Digital-Strip-Ad-1.jpg

प्रादेशिक

महाराष्ट्र: मस्जिद के 100 मीटर के दायरे में नहीं बज सकेंगे भजन: नासिक पुलिस आयुक्त

Published

on

Loading

महाराष्ट्र में धार्मिक स्थलों के पास लाउड स्पीकर के इस्तेमाल को लेकर फरमान जारी होने वाला है। अब मस्जिद के पास 100 मीटर के दायरे में हनुमान चालीसा या भजन नहीं चलाए जा सकेंगे। इसके अलावा भजन के लिए अनुमति भी लेना जरूरी है। इस बात की जनकारी नासिक उपायुक्त दीपक पांडे ने सोमवार को दी है। खास बात है कि हाल ही में महाराष्ट्र नव निर्माण सेना के प्रमुख राज ठाकरे ने मस्जिदों से लाउडस्पीकर हटाने की चेतावनी दी थी।

समाचार एजेंसी एएनआई के अनुसार, पांडे ने कहा, ‘हनुमान चालीसा या भजन चलाने से पहले अनुमति लेनी होगी। यह अजान के 15 मिनट पहले या बाद में नहीं चलाई जा सकेंगे। मस्जिद के पास 100 मीटर के दायरे में इन्हें चलाने की अनुमति नहीं होगी। इस आदेश का मकसद कानून और व्यवस्था बनाए रखना है।’ राज्य में फिलहाल अजान और लाउड स्पीकर का मुद्दा गर्माया है। पुलिस अधिकारी ने कहा, ‘सभी धार्मिक स्थलों को 3 मई तक लाउडस्पीकर के उपयोग की अनुमति लेने का निर्देश दिया गया है। 3 मई के बाद यदि कोई आदेश का उल्लंघन करता पाया जाता है तो उल्लंघन करने वालों के खिलाफ कानूनी कार्रवाई की जाएगी।’

महाराष्ट्र के गृहमंत्री दिलीप वलसे पाटिल ने कहा, ‘लाउडस्पीकर को लेकर राज्य की पुलिस और मुंबई के कमिश्नर बैठकर निर्णय लेंगे और गाउडलाइन तय करेंगे। पुलिस (धार्मिक तनाव) ऐसी परिस्थिति को संभालने के लिए तैनात है। किसी भी तरह का तनाव न पैदा हो इसपर हम ध्यान रख रहे हैं।’ वह पुलिस महानिदेशक के साथ बैठक करने वाले हैं। इसके अलावा गृहमंत्री सीएम उद्धव ठाकरे के साथ भी मीटिंग करेंगे।

उत्तर प्रदेश

हार्टफुलनेस ने आंतरिक शांति और संतुलन प्राप्ति के लिए कराया सामूहिक ध्यान

Published

on

Loading

लखनऊ। संयुक्त राष्ट्र महासभा द्वारा अभिनव पहल के रूप में घोषित प्रथम अंतर्राष्ट्रीय ध्यान दिवस के अवसर पर श्री रामचंद्र मिशन के आईआईएम रोड स्थित हार्टफुलनेस इंस्टीट्यूट में आंतरिक शांति और संतुलन प्राप्ति के लिए ध्यान एवं योग सत्र का आयोजन किया गया। योग व ध्यान का प्रकाश हर हृदय और हर घर पहुंचे, इसके लिए यहां कई कार्यक्रमों का आयोजन किया गया। इस अवसर पर मुख्य अतिथि के रूप में प्रमुख सचिच संस्कृति एवं पर्यटन श्री मुकेश मेश्राम उपस्थिति रहें। उन्होंने कहा कि युवाओं को ध्यान से जोड़ने की जरुरत है, जिससे वे जीवन में उन्नति भी कर सकते हैं।

हार्टफुलनेस संस्था अपने ग्लोबल गाइड पद्मभूषण कमलेश जी पटेल दाजी के मार्गदर्शन में प्राचीन योग परम्परा एवं ध्यान द्वारा मानवीय मूल्यों को जन-जन तक पहुंचाने हेतु दृढ़ संकल्पित है। संस्था द्वारा अंतर्राष्ट्रीय ध्यान दिवस के अवसर प्राणाहुति आधारित ध्यान, प्राणायाम, आसन, मुद्रा एवं व्यक्ति के शारीरिक एवं मानसिक विकास से जुड़े सत्र प्रशिक्षित स्वयंसेवकों द्वारा प्रस्तुत किए गए। समारोह में नारकोटिक्स विभाग, उत्तर प्रदेश की सक्रिय भागीदारी रही। ड्रग व मादक पदार्थों के दुष्परिणामों व ध्यान के माध्यम से इनसे दूर रहने के उपायों को यहां बताया गया।

संस्था की जोनल कोऑर्डिनेटर शालिनी महरोत्रा ने बताया कि हार्टफुलनेस संस्था ध्यान के प्रति जन जागरूकता के लिए समर्पित है। ध्यान हमारी भावनाओं को संतुलित कर आधुनिक जीवन की आपाधापी के बीच शांति और स्थिरता प्रदान करता है। इसके महत्व को स्वीकार कर संयुक्त राष्ट्र महासभा ने अंतर्राष्ट्रीय ध्यान दिवस घोषित किया है। उन्होंने बताया कि हार्टफुलनेस इंस्टीट्यूट में नियमित प्रात: व शाम को ध्यान सत्र का आयोजन किया जाता है। हार्टफुलनेस संस्था द्वारा पिछले वर्ष 7 से 9 अप्रैल को भारत सरकार के संस्कृति मंत्रालय के संयुक्त तत्वावधान में अलीगंज स्थित स्टेडियम में हर दिल ध्यान, हर दिन ध्यान का आयोजन किया था, जिसमें 10 हजार से अधिक लोगों ने एक साथ ध्यान व योग किया था।

अंतर्राष्ट्रीय ध्यान दिवस पर आलमबाग के फीनिक्स मॉल स्थित हार्टफुलनेस लॉन्ज में भी विशेष ध्यान सत्र का आयोजन किया गया। यहां हर दिन नि:शुल्क हार्टफुलनेस ध्यान सिखाया जाता है, जिसका लाभ युवाओं को विशेष रूप से मिलता है।

Continue Reading

Trending