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प्रादेशिक

दोस्त की ढाई साल की बेटी की रेप के बाद की हत्या, कोर्ट ने महज इतने दिनों में सुना दी फांसी की सजा

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गाजियाबाद। गाजियाबाद की पॉक्सो अदालत ने ढाई साल की मासूम से रेप और हत्या के दोषी को फांसी की सजा सुनाई है। इस घटना को फैक्टरी कर्मचारी के दोस्त चंदन पांडेय ने अंजाम दिया था। ख़ास बात है कि कोर्ट ने महज तीन महीने के सुनवाई के बाद ही सजा का एलान कर दिया। कोर्ट ने दोषी को मौत की सजा सुनाते हुए कहा कि इस मामले में न्याय सिर्फ मौत की सजा से ही हो सकता है। मामले में आरोपी के सुधार की कोई गुंजाइश नहीं है।

दरअसल गाजियाबाद में 19 अक्तूबर 2020 को कविनगर थाने में पीड़ित पिता ने सूचना दी थी कि उसकी ढाई साल की मासूम बेटी अचानक लापता हो गई थी। परिजनों के शक पर पुलिस ने पीड़ित के जिगरी दोस्त चंदन पांडेय को उसी रात हिरासत में लेकर पूछताछ की, लेकिन वह बच्ची के बारे में जानकारी न होने की बात कहते हुए गुमराह करता रहा।

दूसरे दिन दोपहर में कविनगर इंडस्ट्रियल एरिया में नाले के किनारे झाड़ियों में बच्ची का शव बरामद हुआ था। इसके बाद पुलिस की सख्ती पर चंदन ने जुर्म कबूल कर लिया था। परिजनों की तहरीर पर हत्या, दुष्कर्म व पॉक्सो एक्ट के तहत केस दर्ज कर चंदन को गिरफ्तार कर लिया गया था। विशेष लोक अभियोजक उत्कर्ष वत्स ने बताया कि उन्होंने अभियुक्त चंदन के लिए फांसी की सजा की अपील की थी। अदालत ने मासूम बच्ची के साथ जघन्य अपराध को क्रूरतम अपराध मानकर फांसी की सजा सुनाई।

उत्तर प्रदेश

हार्टफुलनेस ने आंतरिक शांति और संतुलन प्राप्ति के लिए कराया सामूहिक ध्यान

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लखनऊ। संयुक्त राष्ट्र महासभा द्वारा अभिनव पहल के रूप में घोषित प्रथम अंतर्राष्ट्रीय ध्यान दिवस के अवसर पर श्री रामचंद्र मिशन के आईआईएम रोड स्थित हार्टफुलनेस इंस्टीट्यूट में आंतरिक शांति और संतुलन प्राप्ति के लिए ध्यान एवं योग सत्र का आयोजन किया गया। योग व ध्यान का प्रकाश हर हृदय और हर घर पहुंचे, इसके लिए यहां कई कार्यक्रमों का आयोजन किया गया। इस अवसर पर मुख्य अतिथि के रूप में प्रमुख सचिच संस्कृति एवं पर्यटन श्री मुकेश मेश्राम उपस्थिति रहें। उन्होंने कहा कि युवाओं को ध्यान से जोड़ने की जरुरत है, जिससे वे जीवन में उन्नति भी कर सकते हैं।

हार्टफुलनेस संस्था अपने ग्लोबल गाइड पद्मभूषण कमलेश जी पटेल दाजी के मार्गदर्शन में प्राचीन योग परम्परा एवं ध्यान द्वारा मानवीय मूल्यों को जन-जन तक पहुंचाने हेतु दृढ़ संकल्पित है। संस्था द्वारा अंतर्राष्ट्रीय ध्यान दिवस के अवसर प्राणाहुति आधारित ध्यान, प्राणायाम, आसन, मुद्रा एवं व्यक्ति के शारीरिक एवं मानसिक विकास से जुड़े सत्र प्रशिक्षित स्वयंसेवकों द्वारा प्रस्तुत किए गए। समारोह में नारकोटिक्स विभाग, उत्तर प्रदेश की सक्रिय भागीदारी रही। ड्रग व मादक पदार्थों के दुष्परिणामों व ध्यान के माध्यम से इनसे दूर रहने के उपायों को यहां बताया गया।

संस्था की जोनल कोऑर्डिनेटर शालिनी महरोत्रा ने बताया कि हार्टफुलनेस संस्था ध्यान के प्रति जन जागरूकता के लिए समर्पित है। ध्यान हमारी भावनाओं को संतुलित कर आधुनिक जीवन की आपाधापी के बीच शांति और स्थिरता प्रदान करता है। इसके महत्व को स्वीकार कर संयुक्त राष्ट्र महासभा ने अंतर्राष्ट्रीय ध्यान दिवस घोषित किया है। उन्होंने बताया कि हार्टफुलनेस इंस्टीट्यूट में नियमित प्रात: व शाम को ध्यान सत्र का आयोजन किया जाता है। हार्टफुलनेस संस्था द्वारा पिछले वर्ष 7 से 9 अप्रैल को भारत सरकार के संस्कृति मंत्रालय के संयुक्त तत्वावधान में अलीगंज स्थित स्टेडियम में हर दिल ध्यान, हर दिन ध्यान का आयोजन किया था, जिसमें 10 हजार से अधिक लोगों ने एक साथ ध्यान व योग किया था।

अंतर्राष्ट्रीय ध्यान दिवस पर आलमबाग के फीनिक्स मॉल स्थित हार्टफुलनेस लॉन्ज में भी विशेष ध्यान सत्र का आयोजन किया गया। यहां हर दिन नि:शुल्क हार्टफुलनेस ध्यान सिखाया जाता है, जिसका लाभ युवाओं को विशेष रूप से मिलता है।

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